पणजी:
गोवा में लगातार हो रही बारिश की वजह से वास्को स्थित मोरमुगाओ पोर्ट ट्रस्ट के पास खड़े एक पोत में पानी जाने पर यह खतरनाक ढंग से एक ओर झुक गया। इसके बाद भारतीय तटरक्षक और पुलिस समेत कई एजेंसियां इसे बचाने के काम में लग गईं।
पोत एजेंट सुनील प्रभु ने संवाददाताओं को बताया, 'सहारा इंडिया कंपनी का पोत एमवी क्विंग मरम्मत के लिए और एक तैरते हुए होटल में तब्दीली के लिए पिछले दो साल से पश्चिम भारत में लंगर डाले खड़ा था।' उन्होंने कहा कि राज्य में लगातार बारिश के बाद पोत में पानी भर गया, जिसके कारण मंगलवार रात को यह एक ओर झुकना शुरू हो गया।
शिपयार्ड के अधिकारियों ने भारतीय तटरक्षक, पुलिस, जिला प्रशासन और मोरमुगाओ पोर्ट ट्रस्ट के साथ मिलकर इस पोत को डूबने से बचाने की कोशिश शुरू कर दी है।
प्रभु ने कहा कि यह पोत पिछले दो साल से मरम्मत का इंतजार कर रहा था, क्योंकि काम का ठेका लेने वाला वेस्टर्न इंडिया शिपयार्ड संकट में चला गया है। उन्होंने कहा, 'हम इस पोत को मरम्मत के लिए और तैरते हुए होटल में तब्दील करने के लिए इस मानसून के बाद किसी दूसरे शिपयार्ड में भेजने वाले हैं।' उन्होंने कहा कि सहारा इंडिया द्वारा अधिगृहित किए जाने से पहले यह पोत क्रूज के रूप में इस्तेमाल किया जाता था।
तटरक्षक डीआईजी मनोज बडकर ने कहा कि यह पोत वर्ष 2014 से वेस्टर्न इंडिया शिपयार्ड लिमिटेड में खड़ा था। उन्होंने कहा कि बुधवार सुबह हम थोड़ा चिंतित थे क्योंकि हमें शक था कि पोत एक ओर लुढ़क सकता है और इससे पास के पोर्ट को नुकसान पहुंच सकता है। हम हालात पर नजर बनाए हुए हैं और पोत पर चालक दल का कोई सदस्य न होने के कारण हमें थोड़ी राहत भी है।
(हेडलाइन के अलावा, इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है, यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
पोत एजेंट सुनील प्रभु ने संवाददाताओं को बताया, 'सहारा इंडिया कंपनी का पोत एमवी क्विंग मरम्मत के लिए और एक तैरते हुए होटल में तब्दीली के लिए पिछले दो साल से पश्चिम भारत में लंगर डाले खड़ा था।' उन्होंने कहा कि राज्य में लगातार बारिश के बाद पोत में पानी भर गया, जिसके कारण मंगलवार रात को यह एक ओर झुकना शुरू हो गया।
शिपयार्ड के अधिकारियों ने भारतीय तटरक्षक, पुलिस, जिला प्रशासन और मोरमुगाओ पोर्ट ट्रस्ट के साथ मिलकर इस पोत को डूबने से बचाने की कोशिश शुरू कर दी है।
प्रभु ने कहा कि यह पोत पिछले दो साल से मरम्मत का इंतजार कर रहा था, क्योंकि काम का ठेका लेने वाला वेस्टर्न इंडिया शिपयार्ड संकट में चला गया है। उन्होंने कहा, 'हम इस पोत को मरम्मत के लिए और तैरते हुए होटल में तब्दील करने के लिए इस मानसून के बाद किसी दूसरे शिपयार्ड में भेजने वाले हैं।' उन्होंने कहा कि सहारा इंडिया द्वारा अधिगृहित किए जाने से पहले यह पोत क्रूज के रूप में इस्तेमाल किया जाता था।
तटरक्षक डीआईजी मनोज बडकर ने कहा कि यह पोत वर्ष 2014 से वेस्टर्न इंडिया शिपयार्ड लिमिटेड में खड़ा था। उन्होंने कहा कि बुधवार सुबह हम थोड़ा चिंतित थे क्योंकि हमें शक था कि पोत एक ओर लुढ़क सकता है और इससे पास के पोर्ट को नुकसान पहुंच सकता है। हम हालात पर नजर बनाए हुए हैं और पोत पर चालक दल का कोई सदस्य न होने के कारण हमें थोड़ी राहत भी है।
(हेडलाइन के अलावा, इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है, यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
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