सुबोध कुमार सिंह के परिवार के साथ योगी आदित्यनाथ
नई दिल्ली:
उत्तर प्रदेश के बुलंदशहर में बीते दिनों हुई घटना को भीड़ की हिंसा यानी मॉब लिंचिंग की घटना मानने से यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इनकार कर दिया है. बुलंदशहर हिंसा में पुलिस इंस्पेक्टर सुबोध सिंह की हत्या पर शुक्रवार को चुप्पी तोड़ते हुए सीएम योगी आदित्यनाथ ने बुलंदशहर की घटना को महज एक दुर्घटना करार दिया. बता दें कि बुलंदशहर में गोकशी के शक में भड़की भीड़ की हिंसा में पुलिस इंस्पेक्टर सुबोध कुमार सिंह और एक आम युवक सुमित की जान चली गई थी.
दैनिक अखबार दैनिक जागरण के एक कार्यक्रम जागरण फोरम में यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि 'उत्तर प्रदेश में कोई मॉब लिंचिंग नहीं है, बुलंदशहर की घटना एक दुर्घटना है.'' इससे पहले सीएम योगी ने इंस्पेक्टर सुबोध सिंह के परिवार से गुरुवार को मुलाकात की और उन्होंने उचित न्याय दिलाने का भरोसा दिया.
VIDEO : बंदूक छीनो...मारो...मारो - बुलंदशहर में इंस्पेक्टर सुबोध सिंह की हत्या से पहले का वीडियो वायरल
पुलिस में अलग-अलग दो मामले दर्ज हुए हैं. एक मामला हिंसा और इंस्पेक्टर की मौत का है और दूसरा गोकशी का. गोकशी का मामला बजरंग दल के जिला संयोजक योगेश राज ने दर्ज कराया है, जो हिंसा और इंस्पेक्टर की मौत मामले में पुलिस की एफआईआर में मुख्य आरोपी है. हालांकि, अब पुलिस को शक है कि इंस्पेक्टर सुनील सिंह की हत्या जितेंद्र मलिक ने की है.
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दैनिक अखबार दैनिक जागरण के एक कार्यक्रम जागरण फोरम में यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि 'उत्तर प्रदेश में कोई मॉब लिंचिंग नहीं है, बुलंदशहर की घटना एक दुर्घटना है.'' इससे पहले सीएम योगी ने इंस्पेक्टर सुबोध सिंह के परिवार से गुरुवार को मुलाकात की और उन्होंने उचित न्याय दिलाने का भरोसा दिया.
दरअसल, सोमवार को बुलंदशहर में गाय के अवशेष मिलने से इलाके में तनाव का माहौल बन गया था. सूचना पाकर स्थानीय लोगों के साथ-साथ बजरंग दल के कार्यकर्ता भी मौके पर पहूंच गए थे. पुलिस प्रशासन ने मामले को शांत करने की कोशिश की, मगर भीड़ उग्र हो गई और हिंसा फैल गई. इस भीड़ की हिंसा में इंस्पेक्टर सुबोध कुमार सिंह की गोली लगने से मौत हो गई और सुमित नाम का एक युवक भी मारा गया.उत्तर प्रदेश में कोई मॉब लिंचिंग नहीं है, बुलंदशहर की घटना एक दुर्घटना है - योगी आदित्यनाथ#JagranForum @myogiadityanath @CMOfficeUP
— Dainik jagran (@JagranNews) December 7, 2018
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पुलिस में अलग-अलग दो मामले दर्ज हुए हैं. एक मामला हिंसा और इंस्पेक्टर की मौत का है और दूसरा गोकशी का. गोकशी का मामला बजरंग दल के जिला संयोजक योगेश राज ने दर्ज कराया है, जो हिंसा और इंस्पेक्टर की मौत मामले में पुलिस की एफआईआर में मुख्य आरोपी है. हालांकि, अब पुलिस को शक है कि इंस्पेक्टर सुनील सिंह की हत्या जितेंद्र मलिक ने की है.
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