कश्मीर के कुलगाम के कतारसू में आतंकियों ने मंगलवार रात 8:45 बजे कश्मीर से बाहर के पांच मजदूरों की हत्या कर दी. जम्मू कश्मीर पुलिस के मुताबिक आतंकी हमले में एक अन्य मजदूर जख्मी है जिसको अनंतनाग के जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया है. आतंकियों ने इस हमले को अंजाम तब दिया जब यूरोपीय सांसदों का एक 27 सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल जम्मू-कश्मीर के दौरे पर है. पुलिस के मुताबिक कुलगाम में पांच गैर कश्मीरी मजदूरों के शव बरामद किए जाने के बाद इलाके में तलाशी अभियान छेड़ा गया है. सेना, सीआरपीएफ और पुलिस के अतिरिक्त जवानों को भी इलाके में भेजा गया है.
गौरतलब है कि पांच अगस्त को जम्मू कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटाये जाने के बाद यह पहली घटना है जिसमें आतंकियों ने एक साथ इतने प्रवासी श्रमिकों को मार डाला हो. मारे गए श्रमिक पश्चिम बंगाल के मुर्शिदाबाद के बताए जा रहे हैं. जम्मू कश्मीर का विशेष दर्जा खत्म किए जाने के बाद से ही बौखलाए आतंकी ट्रक ड्राइवरों, कारोबारियों और दूसरे राज्यों से आए मजदूरों को निशाना बना रहे है. इससे पहले भी आतंकियों ने एक नॉन-कश्मीरी मजदूर की हत्या कर दी थी. पिछले 15 दिनों में आतंकवादियों ने 6 ट्रक ड्राइवरों, एक सेब कारोबारी और दूसरे राज्य से आए 6 मजदूरों की हत्या कर चुके हैं.
सोमवार को ही दहशत फैलाने के लिये आतंकवादियों ने अनंतनाग में उधमपुर का रहने वाला नारायण दत्त नाम के ट्रक ड्राइवर की हत्या कर दी थी. सोमवार को ही आतंकवादियों ने सोपोर में बस स्टैंड पर ग्रेनेड हमला किया था जिसमें एक आम नागरिक की मौत हुई थी और साथ घायल हुए थे.
पुलवामा में आतंकवादियों ने सीआरपीएफ के बुलेट प्रूफ बंकर पर किया हमला
इससे पहले मंगलवार को ही पुलवामा में आतंकवादियों ने सीआरपीएफ की एक बुलेट प्रूफ चौकी पर हमला किया. हालांकि इसमें किसी के हताहत की खबर नहीं है. अर्धसैनिक बल के अधिकारियों ने बताया कि केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) की 72वीं बटालियन की एक चौकी पर आतंकवादियों ने अपराह्न तीन बजकर 30 मिनट पर कई गोलियां चलाईं. यह चौकी राजपोरा क्षेत्र के द्रबगाम क्षेत्र में है. उन्होंने बताया कि अज्ञात आतंकवादियों ने सीआरपीएफ चौकी पर छह से आठ गोलियां चलाईं. जवाबी कार्रवाई करते हुए सीआरपीएफ के जवानों ने भी गोलियां चलाईं. दोनों ही तरफ से किसी के हताहत होने की खबर नहीं है. गोलीबारी की यह घटना एक स्कूल के निकट हुई जहां 10वीं बोर्ड की परीक्षा हो रही थी. लेकिन अधिकारियों का कहना है कि शैक्षणिक संस्थान निशाने पर नहीं था. एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि अतिरिक्त बल की तैनाती के बाद तलाश अभियान शुरू किया गया. हालांकि हमले के तत्काल बाद स्थानीय पुलिस ने प्रारंभिक जानकारी के आधार पर बताया था कि यह हमला सेना के गश्ती दल पर हुआ है.
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