गुरुवार को छत्तीसगढ़ से 40 किलोमीटर दूर स्थित मोहदा गांव में एक महिला का सगे भाई ने कुल्हाड़ी मारकर बेरहमी से कत्ल कर दिया। गीता वर्मा नामक इस महिला से उसका भाई बुरी तरह नाराज था और उसका कारण महज यह था कि गीता ने अपनी मां का अंतिम संस्कार किया था। गीता अपने गांव की सरपंच भी थी।
गीता का कत्ल करने वाले उसके सगे भाई को इस बात से नाराजगी थी। गीता और उसकी बहन सीता ने गुरुवार 31 मार्च को दोपहर बाद गांव के ताल में अंतिम संस्कार से जुड़े कर्मकांड किए थे। इसके बाद संतोष नामक गीता के भाई ने अपने बेटे समते गीता पर कुल्हाड़ी से हमला कर दिया। गीता की मौत मौके पर ही हो गई जबकि सीता उसे बचाने के चक्कर में बुरी तरह से जख्मी हो गई।
संतोष उसके बेटे पीयूष को गांव वालों ने पकड़कर पुलिस के हवाले कर दिया है। इलाके के एसीपी सीडी टंडन ने NDTV को बताया, 'वे लोग चार बहन भाई थे। गीता के भाई ने मां को त्याग रखा था। तब से सूरजभाई गीता के साथ रह रहा था। जब उनकी मां की मृत्यु हुई तब गीता ने ही अंतिम संस्कार से जुड़े सभी संस्कार किए। जिससे नाराज होकर संतोष ने गीता को मार डाला।'
संतोष ने मीडिया से कहा कि अपनी मां का अंतिम संस्कार करना मेरा अधिकार था। गीता ने यह कैसे किया! मुझे उसकी हत्या करने का कोई अफसोस नहीं है। संतोष का बेटा 25 साल का है और ये दोनों लोग आज लोकल कोर्ट में पेश किए जाने हैं।
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