बेंगलुरु के अस्पताल में विचाराधीन कैदी ने की फायरिंग
बेंगलुरु:
मानसिक रोगों के इलाज के लिए दुनिया में अपनी अलग पहचान रखने वाले बेंगलुरु के निमहांस (NIMHANS) अस्पताल के एक वार्ड में शाम को दोपहर में 3 बजे अधाधुंध गोली चलने की आवाज से दहशत फैल गई। एक विचाराधीन कैदी ने पुलिस की राइफल छीनकर अंधाधुंध फायरिंग की। बाद में कमांडो दस्ते ने उस पर काबू पाया। हालांकि कमांडो कार्रवाई में वो बुरी तरह जख्मी हो गया अौर बाद में इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई। बेंगलुरु के पुलिस कमिश्नर ने ट्विटर पर इसकी जानकारी दी।
प्रत्यक्षदर्शियों के मुताबिक इसके बाद विश्वा ने राइफल से लगभग 25 राउंड गोलियां चलाईं। पुलिस कमिश्नर मेगारिक ने फौरन कमांडो कार्रवाई का आदेश दिया, क्योंकि विश्वा राइफल के साथ रूम में बंद था और इससे अन्य मरीजों को भी खतरा था।
राज्य पुलिस के गरुडा कमांडो के एक दस्ते को कार्रवाई का जिम्मा सौंपा गया। उसने पहले विश्वा को समझा बुझाकर सरेंडर करने को कहा, लेकिन उसने फायरिंग शुरू कर दी। बेंगलुरु के अतिरिक्त आयुक्त विधि व्यवस्था प्रताप रेड्डी के मुताबिक जवाबी कार्रवाई के बाद विश्वा पर काबू पा लिया गया है। बाद में उसकी मौत हो गई। एक कमांडो भी इस कार्रवाई में घायल हुआ है।
विश्वा को हत्या के मामले में 2012 में गिरफ्तार किया गया था और पुलिस रिकॉर्ड में उसकी पहचान एक हिस्ट्री शीटर की थी।
Injured #NIMHANSprisoner operated upon. Despite the best efforts, he succumbed to the injuries sustained during commando operation. @CPBlr
— Pratap Reddy, IPS (@AddlCPWest) August 16, 2015
दरअसल तकरीबन 22 साल के विचाराधीन कैदी विश्वा को मेडिकल जांच के लिए अस्पताल लाया गया था। वह अस्पताल में शौचालय गया और वापस लौटते समय उसने एस्कॉर्ट पार्टी की राइफल छीन ली। वहां मौजूद पुलिस कर्मियों और 3 अन्य कैदियों ने उससे राइफल छीनने की कोशिश की लेकिन वे नाकामयाब रहे।प्रत्यक्षदर्शियों के मुताबिक इसके बाद विश्वा ने राइफल से लगभग 25 राउंड गोलियां चलाईं। पुलिस कमिश्नर मेगारिक ने फौरन कमांडो कार्रवाई का आदेश दिया, क्योंकि विश्वा राइफल के साथ रूम में बंद था और इससे अन्य मरीजों को भी खतरा था।
राज्य पुलिस के गरुडा कमांडो के एक दस्ते को कार्रवाई का जिम्मा सौंपा गया। उसने पहले विश्वा को समझा बुझाकर सरेंडर करने को कहा, लेकिन उसने फायरिंग शुरू कर दी। बेंगलुरु के अतिरिक्त आयुक्त विधि व्यवस्था प्रताप रेड्डी के मुताबिक जवाबी कार्रवाई के बाद विश्वा पर काबू पा लिया गया है। बाद में उसकी मौत हो गई। एक कमांडो भी इस कार्रवाई में घायल हुआ है।
विश्वा को हत्या के मामले में 2012 में गिरफ्तार किया गया था और पुलिस रिकॉर्ड में उसकी पहचान एक हिस्ट्री शीटर की थी।
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