दूल्हे सत्यव्रत के लग्न टीका में महज चांदी का एक सिक्का स्वीकार किया....
नई दिल्ली:
रियो ओलंपिक में कांस्य पदक जीतकर देश का नाम रोशन करने वाली रेसलर साक्षी मलिक और अंतरराष्ट्रीय पहलवान सत्यव्रत कादियान रविवार को शादी के बंधन में बंध गए. शादी का कार्यक्रम रोहतक के नांदल भवन में देर रात तक चला. शादी में खेल से लेकर राजनीतिक, फिल्म और अन्य क्षेत्रों की हस्तियों का जमावड़ा रहा. सुबह से ही साक्षी और सत्यव्रत के घर पर शादी के लिए रस्में शुरू हुईं. वहीं दिन में हरियाणा के कृषि मंत्री ओमप्रकाश धनखड़ साक्षी के घर पहुंचे.
शाम करीब साढ़े बजे सत्यव्रत रोहतक की नई अनाज मंडी के सामने स्थित अपने आवास से बरात लेकर पहुंचे. साक्षी वहां तक सिंड्रेला बग्घी में बैठकर आईं. वरमाला की रस्म अदा की गई. इससे पहले दिन में सत्यव्रत के अखाड़े में संपन्न हुई टीके की रस्म में सबसे खास बात है कि इसमें किसी तरह दहेज या लेनदेन नहीं हुआ है. दूल्हे सत्यव्रत के लग्न टीका में महज चांदी का एक सिक्का स्वीकार किया. वहीं साक्षी और सत्यव्रत ने मंगलगीत के बीच अपने घरों पर परंपरागत रस्में निभाई. विवाह स्थल नांदल भवन बिटिया की शादी के लिए सज-धजकर तैयार था, जहां बारात के स्वागत से फेरों और विदाई तक की सभी रस्में निभाई गई.
मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक जयमाला के दौरान साक्षी और सत्यव्रत कादियान ने एक-दूजे को बेंगलुरु में बनाई गई माला पहनाई. जयमाला के लिए मुख्य स्टेज को खास तौर पर तैयार किया गया. वहीं कार्यक्रम के दौरान पुलिस और प्रशासन की पूरी सुरक्षा रही. सुरक्षा के लिहाज से पूरे कार्यक्रम की तैयारियों से जुड़ी रोहतक की सिक्योरिटी एजेंसी की सेवाएं ली गईं.
शाम करीब साढ़े बजे सत्यव्रत रोहतक की नई अनाज मंडी के सामने स्थित अपने आवास से बरात लेकर पहुंचे. साक्षी वहां तक सिंड्रेला बग्घी में बैठकर आईं. वरमाला की रस्म अदा की गई. इससे पहले दिन में सत्यव्रत के अखाड़े में संपन्न हुई टीके की रस्म में सबसे खास बात है कि इसमें किसी तरह दहेज या लेनदेन नहीं हुआ है. दूल्हे सत्यव्रत के लग्न टीका में महज चांदी का एक सिक्का स्वीकार किया. वहीं साक्षी और सत्यव्रत ने मंगलगीत के बीच अपने घरों पर परंपरागत रस्में निभाई. विवाह स्थल नांदल भवन बिटिया की शादी के लिए सज-धजकर तैयार था, जहां बारात के स्वागत से फेरों और विदाई तक की सभी रस्में निभाई गई.
मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक जयमाला के दौरान साक्षी और सत्यव्रत कादियान ने एक-दूजे को बेंगलुरु में बनाई गई माला पहनाई. जयमाला के लिए मुख्य स्टेज को खास तौर पर तैयार किया गया. वहीं कार्यक्रम के दौरान पुलिस और प्रशासन की पूरी सुरक्षा रही. सुरक्षा के लिहाज से पूरे कार्यक्रम की तैयारियों से जुड़ी रोहतक की सिक्योरिटी एजेंसी की सेवाएं ली गईं.
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