महाराष्ट्र : अब हर कहीं थूकने वालों की खैर नहीं!

महाराष्ट्र : अब हर कहीं थूकने वालों की खैर नहीं!

प्रतीकात्मक चित्र

मुंबई:

महाराष्ट्र सरकार इन दिनों जोर-शोर से विज्ञापन दे रही है- एंटी स्पिट एक्ट के लिए। यानी थूक पाबंदी कानून। सरकार सार्वजनिक जगहों पर थूकने की आदत खत्म कर देना चाहती है। इसलिए इस बार कानून लेकर आ रही है। वैसे अमूमन हर नगरपालिका के पास कानून है, जिसमें थूकने और गंदगी को एक मान कर जुर्माना लगाने की व्यवस्था है, लेकिन स्थानीय निकायों के ये कानून बड़े लचर हैं। इसलिए अरसे से इस कानून की जरूरत महसूस हो रही थी। मुंबई में थूक पाबंदी कानून इसलिए भी बेहद अहम है, क्योंकि शहर में बड़े पैमाने पर ट्यूबरक्लूसिस (टीबी) यानी तपेदिक की बीमारी फैली हुई है। खुले में थूकने से ये और फैलती है।

सरकार ने फेसबुक और दूसरे मंचों से जनता से अपील की है कि वे अपने सुझाव सरकार को दें, ताकि थूकने वालों को कैसे सजा दी जाए और इसे अमल में कैसे लाया जाए इस पर मानक तय किए जा सकें। अब तक सरकार ने मन बनाया है कि पहली बार थूकते हुए पकड़े जाने पर 1000 रुपए का जुर्माना और 1 दिन की अनिवार्य सामाजिक सेवा करनी होगी। इस सामाजिक सेवा में सार्वजनिक जगहों की गंदगी को साफ करना भी शामिल है। दूसरी बार थूकते पकड़े गए तो 3000 रुपए जुर्माना और 3 दिन की कम्यूनिटी सर्विस और तीसरी बार पकड़े जाने पर 5000 रुपए का जुर्माना और पांच दिन की कम्यूनिटी सर्विस करनी होगी।

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थूकने वालों के खिलाफ यह मुहिम तब ज्यादा रंग दिखाएगी जब कानून पारित हो जाएगा, लेकिन बड़ा सवाल यह है कि इसे लागू कैसे किया जाएगा। कौन-सी एजेंसी होगी जो इन थूकने वालों को पकड़ेगी और जुर्माना लगाएगी?