यूपीए अध्यक्ष सोनिया गांधी द्वारा दिए गए डिनर में 20 विपक्षी दलों के नेता शामिल हुए.
नई दिल्ली:
यूपीए अध्यक्ष सोनिया गांधी ने साल 2019 के आम चुनाव से पहले भाजपा नीत राजग के विरुद्ध व्यापक मोर्चा बनाने की चर्चा के बीच बुधवार को एक रात्रिभोज दिया. इसमें 20 विपक्षी दलों के नेता पहुंचे.
सोनिया गांधी के आवास पर हुए विपक्षी दलों के रात्रिभोज में सीपीआई-एम, सीपीआई, तृणमूल कांग्रेस, बसपा, सपा, जद-एस, आरजेडी और कांग्रेस सहित 20 विपक्षी दलों के नेताओं ने हिस्सा लिया. इस रात्रिभोज में एनसीपी के शरद पवार, सपा के रामगोपाल यादव, बसपा के सतीशचंद्र मिश्र, राजद से मीसा भारती और तेजस्वी यादव, माकपा से मोहम्मद सलीम, द्रमुक से कनिमोझी, और शरद यादव आदि ने हिस्सा लिया.
कांग्रेस सूत्रों के मुताबिक आंध्रप्रदेश की सत्तारुढ़ तेलुगू देशम पार्टी (तेदेपा), बीजद और टीआरएस के नेताओं को निमंत्रित नहीं किया गया. तेदेपा ने हाल ही में अपने मंत्रियों को नरेंद्र मोदी सरकार से हटा लिया है लेकिन वह राजग का घटक बनी हुई है. बीजद और टीआरएस का क्रमश: ओडिशा और तेलंगाना में शासन है. माना जा रहा है कि इस डिनर के बाद आगामी लोकसभा चुनाव में विपक्षी दलों की एकता को बल मिल सकता है. यूपीए अध्यक्ष पहले ही आम चुनाव को लेकर विपक्षी दलों से मतभेद भुलाकर साथ आने की अपील कर चुकी हैं.
20 पार्टियों के नेता डिनर में हुए शामिल
कांग्रेस से सोनिया गांधी के अलावा, अध्यक्ष राहुल गांधी, डॉ मनमोहन सिंह, गुलाम नबी आजाद, मल्लिकार्जुन खड़गे, अहमद पटेल, एके एंटोनी और रणदीप सिंह सुरजेवाला इस डिनर में शामिल हुए.
सोनिया गांधी के इस डिनर को लोकसभा चुनाव में एनडीए के खिलाफ एक मजबूत मोर्चा खड़ा करने की कोशिश के रूप में देखा जा रहा है. 2004 के चुनाव में भी कांग्रेस ने सहयोगी दलों को मिलाकर एक यूपीए बनाया था और राज्यों में साझेदारी करके बीजेपी की अगुवाई वाले गठबंधन एनडीए को हरा दिया था.
सोनिया गांधी के आवास पर हुए विपक्षी दलों के रात्रिभोज में सीपीआई-एम, सीपीआई, तृणमूल कांग्रेस, बसपा, सपा, जद-एस, आरजेडी और कांग्रेस सहित 20 विपक्षी दलों के नेताओं ने हिस्सा लिया. इस रात्रिभोज में एनसीपी के शरद पवार, सपा के रामगोपाल यादव, बसपा के सतीशचंद्र मिश्र, राजद से मीसा भारती और तेजस्वी यादव, माकपा से मोहम्मद सलीम, द्रमुक से कनिमोझी, और शरद यादव आदि ने हिस्सा लिया.
कांग्रेस सूत्रों के मुताबिक आंध्रप्रदेश की सत्तारुढ़ तेलुगू देशम पार्टी (तेदेपा), बीजद और टीआरएस के नेताओं को निमंत्रित नहीं किया गया. तेदेपा ने हाल ही में अपने मंत्रियों को नरेंद्र मोदी सरकार से हटा लिया है लेकिन वह राजग का घटक बनी हुई है. बीजद और टीआरएस का क्रमश: ओडिशा और तेलंगाना में शासन है. माना जा रहा है कि इस डिनर के बाद आगामी लोकसभा चुनाव में विपक्षी दलों की एकता को बल मिल सकता है. यूपीए अध्यक्ष पहले ही आम चुनाव को लेकर विपक्षी दलों से मतभेद भुलाकर साथ आने की अपील कर चुकी हैं.
20 पार्टियों के नेता डिनर में हुए शामिल
- रामगोपाल यादव, समाजवादी पार्टी
- बदरुद्दीन अजमल, आईएयूडीएफ
- शरद पवार, एनसीपी
- तेजस्वी यादव, मीसा भारती, आरजेडी
- उमर अब्दुल्ला, एनसीपी
- हेमंत सोरेन- जेएमएम
- अजित सिंह, जयंत सिंह, आरएलडी
- डी. राजा, सीपीआई
- मोहम्मद सलीम, सीपीआईएम
- कनिमोई, डीएमके
- इंडियन यूनियन मुस्लिम लीग
- सतीश चंद्र मिश्रा, बीएसपी
- केरल कांग्रेस पार्टी
- बाबूलाल मरांडी, झारखंड मुक्ति मोर्चा
- रामचंद्रन-आएसपी
- शरद यादव, हिंदुस्तान ट्राइबल पार्टी
- सुदीप बंधोपाध्याय, तृणमूल कांग्रेस
- जीतनराम मांझी, हिंदुस्तान आवाम मोर्चा
- कुपेंद्र रेड्डी, जेडी-एस
- कांग्रेस
कांग्रेस से सोनिया गांधी के अलावा, अध्यक्ष राहुल गांधी, डॉ मनमोहन सिंह, गुलाम नबी आजाद, मल्लिकार्जुन खड़गे, अहमद पटेल, एके एंटोनी और रणदीप सिंह सुरजेवाला इस डिनर में शामिल हुए.
सोनिया गांधी के इस डिनर को लोकसभा चुनाव में एनडीए के खिलाफ एक मजबूत मोर्चा खड़ा करने की कोशिश के रूप में देखा जा रहा है. 2004 के चुनाव में भी कांग्रेस ने सहयोगी दलों को मिलाकर एक यूपीए बनाया था और राज्यों में साझेदारी करके बीजेपी की अगुवाई वाले गठबंधन एनडीए को हरा दिया था.
NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं