महिला आईपीएस डी रूपा.
बेंगलुरू:
सिद्धारमैया के नेतृत्व वाली कर्नाटक सरकार ने बेंगलुरू के केंद्रीय कारागार में बड़े पैमाने पर भ्रष्टाचार और भारी अनियमितताओं का पदार्फाश करने वाली भारतीय पुलिस सेवा की अधिकारी डी रूपा का सोमवार को तबादला कर दिया. राज्य के कार्मिक विभाग द्वारा जारी आदेश के अनुसार, डी रूपा आईपीएस (कर्नाटक 2000 बैच), पुलिस उप महानिरीक्षक (डीआईजी) को तत्काल प्रभाव से ट्रैफिक और सड़क सुरक्षा के आयुक्त आईपीएस एएसएन मूर्ति के स्थान पर अगले आदेश तक पुलिस महानिरीक्षक (आईजीपी) के रूप में स्थानांतरित किया जाता है. सरकार ने रूपा के साथ ही चार अन्य वरिष्ठ अधिकारियों का भी तबादला किया है.
बता दें कि अन्नाद्रमुक (अम्मा) नेता वीके शशिकला के साथ जेल में कथित तौर पर 'विशेष सलूक' किए जाने पर विवादास्पद रिपोर्ट देने वाली वरिष्ठ पुलिस अधिकारी डी रूपा को राज्य सरकार ने नोटिस जारी किया है. साथ ही सरकार ने उनसे यह स्पष्ट करने को कहा है कि उन्होंने मीडिया को इसकी जानकारी क्यों दी. वहीं, अधिकारी डी रूपा अपनी बातों पर कायम हैं और उन्होंने कहा है कि उन्होंने किसी भी आचरण नियम का उल्लंघन नहीं किया.
डीआईजी (कारागार) डी रूपा की रिपोर्ट को लेकर बड़ा विवाद होने से शर्मसार सरकार ने उनसे अपने आचरण के बारे में स्पष्टीकरण देने को कहा.
मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने कहा, 'यह एकदम नियमों के खिलाफ है'. सिद्धारमैया ने उप महानिरीक्षक (कारागार) डी रूपा के अपनी रिपोर्ट पर सार्वजनिक टिप्पणी करने को लेकर खुलेआम नाराजगी जताई. रूपा की रिपोर्ट ने उनके वरिष्ठ और अन्य कारागार अधिकारियों को रिश्वतखोरी के आरोपों के घेरे में ला दिया था.
(पढ़ें : बेंगलुरु : सज़ायाफ्ता शशिकला की मुश्किलें और बढ़ीं, मुलाकातियों पर लगी रोक)
सिद्धारमैया ने कहा कि वह वरिष्ठ अधिकारियों के खिलाफ अपने आरोपों के संबंध में अपने किसी भी वरिष्ठ से संपर्क कर सकती थीं. मुख्यमंत्री ने मैसुरू में मीडिया से कहा, 'मीडिया के साथ विवरण साझा करना उनकी तरफ से अनुचित है'. उन्होंने कहा कि मुख्यधारा और सोशल मीडिया पर आरोपों से पुलिस विभाग शर्मसार हुआ है. मुख्यमंत्री ने कहा कि रूपा से उन्हें दिए गए नोटिस का जवाब देने को कहा गया है. उन्होंने यह भी कहा कि डीजीपी (कारा) एचएन सत्यनारायण राव के खिलाफ रूपा ने जो आरोप लगाए हैं उनकी जांच के आदेश दिए गए हैं. उन्होंने कहा कि एक सेवानिवृत्त अधिकारी को रिश्वतखोरी के आरोपों की जांच के लिये नियुक्त किया गया है.
बता दें कि अन्नाद्रमुक (अम्मा) नेता वीके शशिकला के साथ जेल में कथित तौर पर 'विशेष सलूक' किए जाने पर विवादास्पद रिपोर्ट देने वाली वरिष्ठ पुलिस अधिकारी डी रूपा को राज्य सरकार ने नोटिस जारी किया है. साथ ही सरकार ने उनसे यह स्पष्ट करने को कहा है कि उन्होंने मीडिया को इसकी जानकारी क्यों दी. वहीं, अधिकारी डी रूपा अपनी बातों पर कायम हैं और उन्होंने कहा है कि उन्होंने किसी भी आचरण नियम का उल्लंघन नहीं किया.
डीआईजी (कारागार) डी रूपा की रिपोर्ट को लेकर बड़ा विवाद होने से शर्मसार सरकार ने उनसे अपने आचरण के बारे में स्पष्टीकरण देने को कहा.
मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने कहा, 'यह एकदम नियमों के खिलाफ है'. सिद्धारमैया ने उप महानिरीक्षक (कारागार) डी रूपा के अपनी रिपोर्ट पर सार्वजनिक टिप्पणी करने को लेकर खुलेआम नाराजगी जताई. रूपा की रिपोर्ट ने उनके वरिष्ठ और अन्य कारागार अधिकारियों को रिश्वतखोरी के आरोपों के घेरे में ला दिया था.
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सिद्धारमैया ने कहा कि वह वरिष्ठ अधिकारियों के खिलाफ अपने आरोपों के संबंध में अपने किसी भी वरिष्ठ से संपर्क कर सकती थीं. मुख्यमंत्री ने मैसुरू में मीडिया से कहा, 'मीडिया के साथ विवरण साझा करना उनकी तरफ से अनुचित है'. उन्होंने कहा कि मुख्यधारा और सोशल मीडिया पर आरोपों से पुलिस विभाग शर्मसार हुआ है. मुख्यमंत्री ने कहा कि रूपा से उन्हें दिए गए नोटिस का जवाब देने को कहा गया है. उन्होंने यह भी कहा कि डीजीपी (कारा) एचएन सत्यनारायण राव के खिलाफ रूपा ने जो आरोप लगाए हैं उनकी जांच के आदेश दिए गए हैं. उन्होंने कहा कि एक सेवानिवृत्त अधिकारी को रिश्वतखोरी के आरोपों की जांच के लिये नियुक्त किया गया है.
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