
सू ची ने लेडी श्रीराम कॉलेज में कहा, मैं खुद को आंशिक रूप से भारतीय नागरिक महसूस करती हूं। सू ची ने 60 के दशक में इस कॉलेज में राजनीति विज्ञान की पढ़ाई की थी।
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सू ची ने 60 के दशक में इस कॉलेज में राजनीति विज्ञान की पढ़ाई की थी। उन्होंने कहा, मैं हमेशा से जानती थी कि मैं इस हॉल में लौटूंगी, जहां मैंने गांधी का पसंदीदा भजन 'रघुपति राघव राजा राम' गाना सीखा था। मैं खुद को आंशिक रूप से भारतीय नागरिक महसूस करती हूं।
नोबेल पुरस्कार विजेता सू ची ने अपना बचपन व किशोरावस्था के शुरुआती दिन दिल्ली में गुजारे हैं, जबकि उनकी मां भारत में बर्मा की राजदूत थीं। वह छह दिवसीय यात्रा पर भारत आई हैं। इस दौरान वह भारतीय नेताओं व अपने स्कूल-कॉलेज के मित्रों से मुलाकात करेंगी।
उन्होंने कहा, अपने कॉलेज लौटना सिर्फ अपने घर लौटना नहीं है, बल्कि एक ऐसे स्थान पर वापसी है, जहां मैं जानती हूं कि मेरी आकांक्षाएं गलत नहीं थीं। मैंने जाना है कि मानव आकांक्षाओं की एकता का मेरा विश्वास जायज है। मैं एक ऐसे स्थान पर आई हूं, जहां मुझे लगता है कि मेरी उम्मीदें व्यर्थ नहीं गईं।" करिश्माई नेता सू ची काफी अर्से तक नजरबंद रही हैं। उन्हें म्यांमार में शक्तिशाली जुंटा के खिलाफ संघर्ष के लिए जाना जाता है।
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