
हैदराबाद:
आतंकी हमले की आशंका को लेकर केन्द्र सरकार की खुफिया जानकारी पर कोई कदम नहीं उठाने वाली आंध्र प्रदेश सरकार को आलोचनाओं का सामना करना पड़ा।
दिलसुखनगर में हुए दो बम विस्फोटों में 16 लोगों की मौत हुई जबकि 117 घायल हो गए थे।
राज्य सरकार ने बृहस्पतिवार को कहा था कि अलर्ट जारी किया गया था लेकिन केन्द्र की चेतावनी की गंभीरता ‘स्पष्ट नहीं’ थी।
तेलुगू देशम पार्टी के अध्यक्ष एन चंद्रबाबू नायडू ने कहा कि दोहरे बम विस्फोट निश्चित रूप से राज्य सरकार की नाकामी का नतीजा है। केन्द्र की चेतावनी के बावजूद सरकार नरम बनी रही।
पूर्व मुख्यमंत्री विस्फोट स्थलों के निरीक्षण के लिए गुंटूर जिले से सुबह हैदराबाद पहुंचे और बाद में वह घायलों से मिलने ओमनी अस्पताल गए। उन्होंने कहा कि आतंकवादियों ने योजनाबद्ध तरीके से विस्फोट को अंजाम दिया।
चंद्रबाबू ने विस्फोट मामले में मारे गए लोगों के परिजनों को 10-10 लाख रुपये का मुआवजा देने की मांग करते हुए कहा कि यह दुख की बात है कि राज्य सरकार ने केन्द्र की चेतावनी को गंभीरता से नहीं लिया। कम से कम अब सरकार को अलर्ट हो जाना चाहिए और इस तरह की दर्दनाक घटनाओं को फिर से होने से रोकना चाहिए।
दिलसुखनगर में हुए दो बम विस्फोटों में 16 लोगों की मौत हुई जबकि 117 घायल हो गए थे।
राज्य सरकार ने बृहस्पतिवार को कहा था कि अलर्ट जारी किया गया था लेकिन केन्द्र की चेतावनी की गंभीरता ‘स्पष्ट नहीं’ थी।
तेलुगू देशम पार्टी के अध्यक्ष एन चंद्रबाबू नायडू ने कहा कि दोहरे बम विस्फोट निश्चित रूप से राज्य सरकार की नाकामी का नतीजा है। केन्द्र की चेतावनी के बावजूद सरकार नरम बनी रही।
पूर्व मुख्यमंत्री विस्फोट स्थलों के निरीक्षण के लिए गुंटूर जिले से सुबह हैदराबाद पहुंचे और बाद में वह घायलों से मिलने ओमनी अस्पताल गए। उन्होंने कहा कि आतंकवादियों ने योजनाबद्ध तरीके से विस्फोट को अंजाम दिया।
चंद्रबाबू ने विस्फोट मामले में मारे गए लोगों के परिजनों को 10-10 लाख रुपये का मुआवजा देने की मांग करते हुए कहा कि यह दुख की बात है कि राज्य सरकार ने केन्द्र की चेतावनी को गंभीरता से नहीं लिया। कम से कम अब सरकार को अलर्ट हो जाना चाहिए और इस तरह की दर्दनाक घटनाओं को फिर से होने से रोकना चाहिए।
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