
कश्मीर घाटी के कुछ अलगाववादी नेता सोमवार को एनआईए की पूछताछ में शामिल हुए...
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एनआईए ने अलगाववादी गुटों के सक्रिय कार्यकर्ताओं से पूछताछ की
वित्तीय मदद का ईमेल के जरिये भेजा जा रहा ब्योरा एनआईए के हाथ
कश्मीर में हवाला के जरिये आतंकवादी संगठन को मदद
पकड़े गये ईमेल संदेशों से साफ है कि कश्मीर में पाकिस्तान द्वारा हवाला के जरिये आतंकवादी संगठन हिजबुल मुजाहिद्दीन को वित्तीय मदद मिल रही है. इसमें पता चला है कि हवाला से कश्मीर में भेजे जाने वाली वित्तीय मदद कहां और किस मद में खर्च की जानी है, इसका भी पूरा हिसाब रखा जाता है.
वित्तीय मदद मुहैया कराने की इस व्यवस्था के तहत अलागाववादी संगठनों की ओर से पाकिस्तान में सक्रिय संगठनों से जरूरत के मुताबिक पैसे की मांग की जाती है. पकड़े गये ईमेल संदेश में अलगावादी गुटों द्वारा आईएसआई को इलाके में संगठन के लिये काम करने वाले विवाहित और अविवाहित कार्यकतार्ओं की संख्या, फरार और जेल में बंद आतंकवादियों की सूची और इनके परिजनों का ब्यौरा दिया गया है.
इतना ही नहीं मांगी गई राशि की आईएसआई से मंजूरी लेने के लिये कश्मीर में सक्रिय संगठनों को प्रत्येक इलाके में अलगाववादियों और आतंकवादियों की संख्या, शिक्षा और उम्र का भी ब्यौरा देना होता है. एक अन्य ईमेल संदेश में आईएसआई द्वारा कश्मीर में सक्रिय 30 विवाहित आतंकवादियों को प्रति व्यक्ति दस हजार रपये की दर से 3 लाख रुपये की राशि जारी करने की मंजूरी दी गयी है जबकि 37 अविवाहित आतंकवादियों को 2.96 लाख रुपये जारी करते हुये प्रति व्यक्ति 8 हजार रुपये और फरार 23 आतंकवादियों के परिजनों को एक एक हजार रुपये मंजूर किये गये हैं.
सूत्रों के मुताबिक अलगाववादियों को हवाला के जरिये दी जा रही वित्तीय मदद पर भारतीय जांच एजेंसियों की सख्ती के मद्देनजर अब सक्रिय गुटों को श्रीनगर और आसपास के इलाकों में संपत्ति के कारोबार में निवेश करने के निर्देश मिलने का भी खुलासा हुआ है. इस खुलासे के बाद एनआईए ने कश्मीर में अलगावादियों के संपत्ति में निवेश की पड़ताल शुरू कर दी है.
(हेडलाइन के अलावा, इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है, यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
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