नई दिल्ली:
इटली की अदालत ने वीवीआईपी हेलीकाप्टर सौदे में भारत के साथ दस्तावेजों को साझा करने से इनकार कर दिया है। जज ने कहा कि चूंकि यह जांच अभी शुरुआती चरण में है, इसलिए इससे जुड़े कागजात सिर्फ आरोपियों और उनके वकीलों को ही दिए जा सकते हैं। भारत की मांग पर बाद में विचार किया जा सकता है।
इस बीच, रक्षा मंत्रालय और सीबीआई की एक संयुक्त टीम रविवार को इटली जा रही है। सीबीआई के सूत्रों ने कहा कि मामले की विस्तृत जानकारी के लिए दल इटली के अभियोजकों से मुलाकात करेगा। सूत्रों ने कहा कि सीबीआई के डीआईजी स्तर के दो सदस्य और एक कानून अधिकारी के अलावा रक्षा मंत्रालय के अधिकारी इस दल के सदस्य होंगे।
उल्लेखनीय है कि रक्षा मंत्रालय ने सौदे को रद्द करने और सौदे की अन्य शर्तों के मुताबिक अन्य कार्रवाई करने के लिए ऑगस्टा वेस्टलैंड को औपचारिक कारण बताओ नोटिस जारी किया है। कंपनी से कहा गया है कि वह रिश्वत के आरोपों पर सात सात दिनों के भीतर स्पष्टीकरण दे और यह बताए कि वर्ष 2010 में किए गए इस सौदे को रद्द क्यों न कर दिया जाए।
इस बीच, रक्षा मंत्रालय और सीबीआई की एक संयुक्त टीम रविवार को इटली जा रही है। सीबीआई के सूत्रों ने कहा कि मामले की विस्तृत जानकारी के लिए दल इटली के अभियोजकों से मुलाकात करेगा। सूत्रों ने कहा कि सीबीआई के डीआईजी स्तर के दो सदस्य और एक कानून अधिकारी के अलावा रक्षा मंत्रालय के अधिकारी इस दल के सदस्य होंगे।
उल्लेखनीय है कि रक्षा मंत्रालय ने सौदे को रद्द करने और सौदे की अन्य शर्तों के मुताबिक अन्य कार्रवाई करने के लिए ऑगस्टा वेस्टलैंड को औपचारिक कारण बताओ नोटिस जारी किया है। कंपनी से कहा गया है कि वह रिश्वत के आरोपों पर सात सात दिनों के भीतर स्पष्टीकरण दे और यह बताए कि वर्ष 2010 में किए गए इस सौदे को रद्द क्यों न कर दिया जाए।
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