प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (फाइल फोटो)
नई दिल्ली:
कावेरी जल विवाद को लेकर कर्नाटक में सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद विरोध प्रदर्शन लगातार जारी है और लोग हिंसा पर उतर आए. राज्य की संपत्ति को नुकसान के साथ-साथ मारपीट के बाद कई जिलों में दहशत का माहौल है. ऐसे में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय मंत्री एम वेंकैया नायडू ने लोगों से शांति बनाए रखने की अपील की है.
प्रधानमंत्री मोदी ने अपने बयान में कहा, ''कावेरी पानी के बंटवारे पर जिस तरह के हालात कर्नाटक-तमिलनाडु में बने हैं, वो बहुत दुखद हैं. मुझे व्यक्तिगत पीड़ा है. किसी भी समस्या का हल हिंसा के द्वारा नहीं निकाला जा सकता. लोकतंत्र में समाधान संयम और आपसी बातचीत से ही निकलता है. इस विवाद का हल कानून की परिधि में ही संभव है. कानून तोड़ना विकल्प नहीं है. पिछले दो दिन से जिस तरह की हिंसा और आगजनी हो रही है उसमें नुकसान किसी गरीब का ही हो रहा है, हमारे देश की ही संपत्ति का हो रहा है. देश के सामने आई विपरीत परिस्थितियों में, पूरे देश के लोगों की तरह, कर्नाटक और तमिलनाडु के लोगों ने हमेशा पूरी संवेदनशीलता का परिचय दिया है. मेरी कर्नाटक और तमिलनाडु की जनता से अपील है कि संवेदनशीलता दिखाने के साथ ही अपने नागरिक कर्तव्यों को भी याद रखें. मुझे भरोसा है कि आप राष्ट्रहित और राष्ट्रनिर्माण को सर्वोपरि समझेंगे और हिंसा, तोड़फोड़-आगजनी के बजाय संयम, सद्भावना और समाधान को प्राथमिकता देंगे."
इससे पहले केंद्रीय मंत्री एम वेंकैया नायडू ने इस संबंध में एक अपील जारी की है. उन्होंने कहा सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद इस प्रकार की हिंसा ठीक नहीं है. इस प्रकार की हिंसा कानून व्यवस्था के हिसाब से ठीक नहीं है और यह कानून व्यवस्था पर सवालिया निशान लगाता है.
उन्होंने कहा कि कोर्ट ने दोनों पक्षों को सुनने के बाद कोई अंतरिम आदेश दिया है. इसके बाद भी कोई समस्या है तो दोनों राज्यों के लीडर इस मुद्दे पर बातचीत कर सकते हैं और किसी समाधान पर पहुंच सकते हैं. दोनों राज्यों से संबद्ध लोग एक दूसरे राज्य में रहते हैं और ऐसे माहौल में उनकी सुरक्षा की चिंताएं गहरा जाती हैं.
उधर, बेंगलुरु के 16 पुलिस थानों में कर्फ्यू लगा दिया गया है. हालात संभालने के लिए 15000 पुलिसकर्मियों को तैनात किया गया है. इससे पहले कल बेंगलुरु के राजगोपाल नगर में पुलिस फायरिंग में एक शख्स की मौत हो गई. प्रदर्शनकारियों ने सोमवार को शहर के केपीएन डिपो में खड़ी 20 से ज़्यादा बसों में आग लगा दी थी.
प्रधानमंत्री मोदी ने अपने बयान में कहा, ''कावेरी पानी के बंटवारे पर जिस तरह के हालात कर्नाटक-तमिलनाडु में बने हैं, वो बहुत दुखद हैं. मुझे व्यक्तिगत पीड़ा है. किसी भी समस्या का हल हिंसा के द्वारा नहीं निकाला जा सकता. लोकतंत्र में समाधान संयम और आपसी बातचीत से ही निकलता है. इस विवाद का हल कानून की परिधि में ही संभव है. कानून तोड़ना विकल्प नहीं है. पिछले दो दिन से जिस तरह की हिंसा और आगजनी हो रही है उसमें नुकसान किसी गरीब का ही हो रहा है, हमारे देश की ही संपत्ति का हो रहा है. देश के सामने आई विपरीत परिस्थितियों में, पूरे देश के लोगों की तरह, कर्नाटक और तमिलनाडु के लोगों ने हमेशा पूरी संवेदनशीलता का परिचय दिया है. मेरी कर्नाटक और तमिलनाडु की जनता से अपील है कि संवेदनशीलता दिखाने के साथ ही अपने नागरिक कर्तव्यों को भी याद रखें. मुझे भरोसा है कि आप राष्ट्रहित और राष्ट्रनिर्माण को सर्वोपरि समझेंगे और हिंसा, तोड़फोड़-आगजनी के बजाय संयम, सद्भावना और समाधान को प्राथमिकता देंगे."
इससे पहले केंद्रीय मंत्री एम वेंकैया नायडू ने इस संबंध में एक अपील जारी की है. उन्होंने कहा सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद इस प्रकार की हिंसा ठीक नहीं है. इस प्रकार की हिंसा कानून व्यवस्था के हिसाब से ठीक नहीं है और यह कानून व्यवस्था पर सवालिया निशान लगाता है.
(लोगों से शांति बनाए रखने की अपील करते हुए केंद्रीय मंत्री एम वेंकैया नायडू)
उन्होंने कहा कि कोर्ट ने दोनों पक्षों को सुनने के बाद कोई अंतरिम आदेश दिया है. इसके बाद भी कोई समस्या है तो दोनों राज्यों के लीडर इस मुद्दे पर बातचीत कर सकते हैं और किसी समाधान पर पहुंच सकते हैं. दोनों राज्यों से संबद्ध लोग एक दूसरे राज्य में रहते हैं और ऐसे माहौल में उनकी सुरक्षा की चिंताएं गहरा जाती हैं.
उधर, बेंगलुरु के 16 पुलिस थानों में कर्फ्यू लगा दिया गया है. हालात संभालने के लिए 15000 पुलिसकर्मियों को तैनात किया गया है. इससे पहले कल बेंगलुरु के राजगोपाल नगर में पुलिस फायरिंग में एक शख्स की मौत हो गई. प्रदर्शनकारियों ने सोमवार को शहर के केपीएन डिपो में खड़ी 20 से ज़्यादा बसों में आग लगा दी थी.
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