भाजपा का मुख्यमंत्री केजरीवाल से जवाब मांगता हुआ पोस्टर
नई दिल्ली:
दिल्ली में पोस्टर वॉर खत्म होने का नाम नहीं ले रहा है। अब भाजपा के दिल्ली कार्यालय ने आम आदमी पार्टी के 'प्रधानमंत्री जी' वाले पोस्टर का जवाब ढूंढ निकाला है। वैसे इन नए पोस्टरों से किसी भी तरह की कलात्मकता की उम्मीद मत कीजिएगा। दिल्ली भाजपा के उपाध्यक्ष कुलजीत सिंह चहल के हस्ताक्षर के साथ जारी किया गया ये पोस्टर सीधे सीधे आप सरकार के उस विज्ञापन को चुनौती दे रहा है जो पिछले हफ्ते तक दिल्ली में चारों और लगे हुए थे।
पोस्टर में लिखा है 'केजरीवाल सर, जवाब दो' और फिर उन सब मुद्दों की लिस्ट है जिस पर दिल्ली सरकार विज्ञापन के लिए रखे गए 526 करोड़ रुपयों को खर्च कर सकती थी। चहल ने विज्ञापन में लिखा है कि उस पैसे को सरकार, पांच लाख कैमरे खरीदने में लगा सकती थी जो राजधानी में महिला सुरक्षा के लिए जरुरी है। या फिर 200 नए स्कूल और 50 नए कॉलेज खोले जा सकते थे। साथ ही लिखा है कि 2000 नई बसें, 1000 अनाधिकृत कॉलोनी के लिए साफ पानी या फिर पांच लाख लोगों के लिए पेंशन का इंतज़ाम भी किया जा सकता था।
भाजपा नेता ने इतनी सारी सलाह दी है कि पोस्टर पर जगह कम पड़ गई । वहीं आप सरकार के पोस्टर सीधे सीदे प्रधानमंत्री मोदी पर निशाना साधते हुए कहते हैं "प्रधानमंत्री जी, प्लीज़ दिल्ली सरकार को काम करने दीजिए। दिल्ली सरकार अच्छा काम कर रही है।" ये पोस्टर उस बिंदू पर केंद्रित है जिसमें मुख्यमंत्री केजरीवाल ने केंद्रीय सरकार पर दिल्ली के एलजी का इस्तेमाल करके राज्य के काम काज में रोड़े डालने का आरोप लगाया है।
यही नहीं, दूसरे विज्ञापनों में भी दिल्ली सरकार ने राजधानी में 19 साल की लड़की की हत्या के मामले में दिल्ली पुलिस और पीएम मोदी पर धावा बोला है। हालांकि इस हफ्ते इन विज्ञापनों को पूर्व राष्ट्रपति एपीजे अब्दुल कलाम के सम्मान में हर जगह से अस्थायी रूप से हटा दिया गया। इसी हफ्ते की शुरुआत में दिल्ली हाई कोर्ट ने केजरीवाल सरकार की निंदा करते हुए कहा कि विज्ञापनों पर इतना ज्यादा खर्च सुप्रीम कोर्ट के उस नियम का उल्लंघन है जो नेताओं को करदाताओं के पैसे का बेजा इस्तेमाल करने की इजाज़त नहीं देता।
पोस्टर में लिखा है 'केजरीवाल सर, जवाब दो' और फिर उन सब मुद्दों की लिस्ट है जिस पर दिल्ली सरकार विज्ञापन के लिए रखे गए 526 करोड़ रुपयों को खर्च कर सकती थी। चहल ने विज्ञापन में लिखा है कि उस पैसे को सरकार, पांच लाख कैमरे खरीदने में लगा सकती थी जो राजधानी में महिला सुरक्षा के लिए जरुरी है। या फिर 200 नए स्कूल और 50 नए कॉलेज खोले जा सकते थे। साथ ही लिखा है कि 2000 नई बसें, 1000 अनाधिकृत कॉलोनी के लिए साफ पानी या फिर पांच लाख लोगों के लिए पेंशन का इंतज़ाम भी किया जा सकता था।
भाजपा नेता ने इतनी सारी सलाह दी है कि पोस्टर पर जगह कम पड़ गई । वहीं आप सरकार के पोस्टर सीधे सीदे प्रधानमंत्री मोदी पर निशाना साधते हुए कहते हैं "प्रधानमंत्री जी, प्लीज़ दिल्ली सरकार को काम करने दीजिए। दिल्ली सरकार अच्छा काम कर रही है।" ये पोस्टर उस बिंदू पर केंद्रित है जिसमें मुख्यमंत्री केजरीवाल ने केंद्रीय सरकार पर दिल्ली के एलजी का इस्तेमाल करके राज्य के काम काज में रोड़े डालने का आरोप लगाया है।
यही नहीं, दूसरे विज्ञापनों में भी दिल्ली सरकार ने राजधानी में 19 साल की लड़की की हत्या के मामले में दिल्ली पुलिस और पीएम मोदी पर धावा बोला है। हालांकि इस हफ्ते इन विज्ञापनों को पूर्व राष्ट्रपति एपीजे अब्दुल कलाम के सम्मान में हर जगह से अस्थायी रूप से हटा दिया गया। इसी हफ्ते की शुरुआत में दिल्ली हाई कोर्ट ने केजरीवाल सरकार की निंदा करते हुए कहा कि विज्ञापनों पर इतना ज्यादा खर्च सुप्रीम कोर्ट के उस नियम का उल्लंघन है जो नेताओं को करदाताओं के पैसे का बेजा इस्तेमाल करने की इजाज़त नहीं देता।
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