दक्षिण कश्मीर के अनंतनाग स्थित जाहिद के गांव में उसके जनाज़े में सैकड़ों लोग शामिल हुए
श्रीनगर:
उधमपुर में पेट्रोल बम हमले में गंभीर रूप से घायल होने के बाद जान गंवाने वाले खलासी को आज दक्षिण कश्मीर स्थित पैतृक गांव बातेनगू में सुपुर्द-ए-ख़ाक़ कर दिया गया। उनके पार्थिव शरीर को कब्रिस्तान तक ले जाए जाते समय सुरक्षा व्यवस्था बेहद कड़ी थी और इस दौरान प्रदर्शनकारियों की सुरक्षाबलों से मामूली भिड़ंत भी हुई।
इससे पहले गोहत्या की अफवाह के बाद हुए हमले में घायल जाहिद की दिल्ली के सफदरजंग अस्पताल में मौत हो गई थी। इस वजह से श्रीनगर सहित राज्य के कई हिस्सों में तनाव का माहौल है और कई जगहों पर कर्फ्यू लगा है। वहीं आज अलगाववादियों ने बंद भी बुला रखा है।
उधमपुर में एक ट्रक पर हुए पेट्रोल बम हमले में बुरी तरह झुलसे जाहिद के रविवार को दम तोड़ देने के बाद घाटी के कुछ इलाकों में ताजा विरोध प्रदर्शन भड़क उठा। इस मामले में गिरफ्तार सात में से पांचों आरोपियों पर कड़े प्रावधान वाला जन सुरक्षा कानून लगा दिया गया है।
पुलिस एव अस्पताल सूत्रों ने बताया कि 74 प्रतिशत झुलसने के बाद सफदरजंग अस्पताल में भर्ती कराए गए जाहिद ने रविवार सुबह साढ़े ग्यारह बजे अंतिम सांस ली। पिछले 12 घंटे से उसकी हालत बिगड़ती जा रही थी। वहीं ट्रक के ड्राइवर शौकत अहमद को भी अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
पेट्रोल बमों से हमला
दक्षिण कश्मीर के अनंतनाग का निवासी जाहिद उस ट्रक पर सवार था जो कश्मीर जा रहा था और 9 अक्टूबर को रास्ते में भीड़ ने उस पर पेट्रोल बमों से हमला किया। दरअसल इलाके में तीन गायों को मारे जाने की अफवाह थी, जिससे गुस्साई भीड़ के निशाने पर यह ट्रक आ गया। हालांकि अधिकारियों के मुताबिक, जांच में पता चला है कि उन गायों की मौत फूड प्वाइज़निंग से हुई थी और हिन्दू बहुल इलाकों में सांप्रदायिक तनाव बनाने के मकसद से उनकी हत्या की अफवाह फैलाई गई।
जाहिद के पैतृक गांव में प्रदर्शन
जाहिद के पैतृक गांव बातेनगू में उसकी मौत की खबर पहुंचने के बाद तनाव पैदा हो गया। एक पुलिस अधिकारी ने बताया कि इस गांव एवं आसपास के क्षेत्र कुलगाम में प्रदर्शनकारियों एवं पुलिसकर्मियों के बीच झड़प शुरू हो गई। पुलिस को स्थिति को नियंत्रित करने के लिए बल का प्रयोग करना पड़ा, लेकिन किसी के घायल होने की सूचना नहीं है।
जाहिद के शव को राज्य सरकार के विमान से रविवार शाम दिल्ली से श्रीनगर लाया गया। शव को लेने के लिए श्रीनगर हवाई अड्डे पर सत्तारूढ़ पीडीपी प्रमुख एवं अनंतनाग की सांसद महबूबा मुफ्ती, राज्य के वित्तमंत्री हसीब ए द्राबू और कानून मंत्री बशरत बुखारी मौजूद थे।
मुख्यमंत्री मुफ्ती मोहम्मद सईद ने जताया दुख
राज्य के मुख्यमंत्री मुफ्ती मोहम्मद सईद ने जाहिद की मौत पर गहरा शोक जताया। उन्होंने घृणा और असहिष्णुता की राजनीति को दोषी ठहराते हुए कहा कि इससे देश के लिए गंभीर चुनौती उत्पन्न हुई है। उन्होंने दावा किया कि इस बर्बर हत्या के लिए दोषी लोग किसी भी स्थिति में दंडित हुए बिना नहीं रहेंगे।
मौत पर उमर अब्दुल्ला का पीएम मोदी से सवाल
उप-मुख्यमंत्री तथा जम्मू क्षेत्र के वरिष्ठ बीजेपी नेता निर्मल सिंह ने भी घटना की निंदा की और कहा कि इसे अंजाम देने वालों को बख्शा नहीं जाना चाहिए। कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने इस घटना को लेकर बीजेपी एवं उसके सहयोगियों पर हमला बोला और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से सवाल किया कि जाहिद अहमद की मौत के लिए कौन जिम्मेदार है। उन्होंने ट्वीट किया, 'माननीय प्रधानमंत्री ने दादरी के लिए अखिलेश यादव और यूपी सरकार को जिम्मेदार ठहराया। जाहिद की मौत के लिए किस पर दोष मढ़ा जाए।
जानिये क्या हुआ था 9 अक्टूबर को
9 अक्टूबर की रात दो लोगों ने ट्रक का सीसा तोड़ दिया और उसके भीतर पेट्रोल बम फेंक दिया था। ट्रक के भीतर क्लीनर के साथ सो रहे शौकत और जाहिद झुलस गए तथा क्लीनर रमीज ट्रक से कूद कर बाहर निकल गया, जिससे वह बाल-बाल बच गया। ट्रक जम्मू से श्रीनगर जा रहा था, इसी बीच जिले में जानवरों के तीन कंकाल मिलने के बाद विभिन्न हिन्दू संगठनों की ओर से आहूत बंद के मद्देनजर जम्मू-श्रीनगर राजमार्ग पर यातायात बाधित होने के कारण यह शिवनगर इलाके में ठहरा हुआ था।
इससे पहले गोहत्या की अफवाह के बाद हुए हमले में घायल जाहिद की दिल्ली के सफदरजंग अस्पताल में मौत हो गई थी। इस वजह से श्रीनगर सहित राज्य के कई हिस्सों में तनाव का माहौल है और कई जगहों पर कर्फ्यू लगा है। वहीं आज अलगाववादियों ने बंद भी बुला रखा है।
उधमपुर में एक ट्रक पर हुए पेट्रोल बम हमले में बुरी तरह झुलसे जाहिद के रविवार को दम तोड़ देने के बाद घाटी के कुछ इलाकों में ताजा विरोध प्रदर्शन भड़क उठा। इस मामले में गिरफ्तार सात में से पांचों आरोपियों पर कड़े प्रावधान वाला जन सुरक्षा कानून लगा दिया गया है।
पेट्रोल बमों से हमला
दक्षिण कश्मीर के अनंतनाग का निवासी जाहिद उस ट्रक पर सवार था जो कश्मीर जा रहा था और 9 अक्टूबर को रास्ते में भीड़ ने उस पर पेट्रोल बमों से हमला किया। दरअसल इलाके में तीन गायों को मारे जाने की अफवाह थी, जिससे गुस्साई भीड़ के निशाने पर यह ट्रक आ गया। हालांकि अधिकारियों के मुताबिक, जांच में पता चला है कि उन गायों की मौत फूड प्वाइज़निंग से हुई थी और हिन्दू बहुल इलाकों में सांप्रदायिक तनाव बनाने के मकसद से उनकी हत्या की अफवाह फैलाई गई।
जाहिद के पैतृक गांव में प्रदर्शन
जाहिद के पैतृक गांव बातेनगू में उसकी मौत की खबर पहुंचने के बाद तनाव पैदा हो गया। एक पुलिस अधिकारी ने बताया कि इस गांव एवं आसपास के क्षेत्र कुलगाम में प्रदर्शनकारियों एवं पुलिसकर्मियों के बीच झड़प शुरू हो गई। पुलिस को स्थिति को नियंत्रित करने के लिए बल का प्रयोग करना पड़ा, लेकिन किसी के घायल होने की सूचना नहीं है।
जाहिद के शव को राज्य सरकार के विमान से रविवार शाम दिल्ली से श्रीनगर लाया गया। शव को लेने के लिए श्रीनगर हवाई अड्डे पर सत्तारूढ़ पीडीपी प्रमुख एवं अनंतनाग की सांसद महबूबा मुफ्ती, राज्य के वित्तमंत्री हसीब ए द्राबू और कानून मंत्री बशरत बुखारी मौजूद थे।
मुख्यमंत्री मुफ्ती मोहम्मद सईद ने जताया दुख
राज्य के मुख्यमंत्री मुफ्ती मोहम्मद सईद ने जाहिद की मौत पर गहरा शोक जताया। उन्होंने घृणा और असहिष्णुता की राजनीति को दोषी ठहराते हुए कहा कि इससे देश के लिए गंभीर चुनौती उत्पन्न हुई है। उन्होंने दावा किया कि इस बर्बर हत्या के लिए दोषी लोग किसी भी स्थिति में दंडित हुए बिना नहीं रहेंगे।
मौत पर उमर अब्दुल्ला का पीएम मोदी से सवाल
उप-मुख्यमंत्री तथा जम्मू क्षेत्र के वरिष्ठ बीजेपी नेता निर्मल सिंह ने भी घटना की निंदा की और कहा कि इसे अंजाम देने वालों को बख्शा नहीं जाना चाहिए। कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने इस घटना को लेकर बीजेपी एवं उसके सहयोगियों पर हमला बोला और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से सवाल किया कि जाहिद अहमद की मौत के लिए कौन जिम्मेदार है। उन्होंने ट्वीट किया, 'माननीय प्रधानमंत्री ने दादरी के लिए अखिलेश यादव और यूपी सरकार को जिम्मेदार ठहराया। जाहिद की मौत के लिए किस पर दोष मढ़ा जाए।
जानिये क्या हुआ था 9 अक्टूबर को
9 अक्टूबर की रात दो लोगों ने ट्रक का सीसा तोड़ दिया और उसके भीतर पेट्रोल बम फेंक दिया था। ट्रक के भीतर क्लीनर के साथ सो रहे शौकत और जाहिद झुलस गए तथा क्लीनर रमीज ट्रक से कूद कर बाहर निकल गया, जिससे वह बाल-बाल बच गया। ट्रक जम्मू से श्रीनगर जा रहा था, इसी बीच जिले में जानवरों के तीन कंकाल मिलने के बाद विभिन्न हिन्दू संगठनों की ओर से आहूत बंद के मद्देनजर जम्मू-श्रीनगर राजमार्ग पर यातायात बाधित होने के कारण यह शिवनगर इलाके में ठहरा हुआ था।
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