नई दिल्ली:
आईपीएल स्पॉट फिक्सिंग मामले में तिहाड़ जेल में 27 दिन बिताने के बाद जमानत पर रिहा हुए भारतीय तेज गेंदबाज एस श्रीसंत ने कहा कि वह इस प्रकरण को कभी भूलना नहीं चाहते हैं, क्योंकि इसने उन्हें कई चीजें सिखाई हैं।
दिल्ली पुलिस की विशेष शाखा ने श्रीसंत को 16 मई को आईपीएल के छठे सत्र के दौरान स्पॉट फिक्सिंग के आरोप में गिरफ्तार किया था। श्रीसंत ने अपने वकील के आवास पर संवाददाताओं से कहा, मैं इस (प्रकरण) को भूलना नहीं चाहता, लेकिन मुझे लगता है कि इसने मुझे कई सारी चीजें सिखाई हैं।
थके हुए और भावुक नजर आ रहे श्रीसंत ने कहा कि उन्होंने खेल को हमेशा सही भावना से खेला है। उन्होंने कहा, मैं सिर्फ इतना कह सकता हूं कि मैंने सही भावना के साथ खेल खेला है। मैंने खेल के लिए हमेशा अपनी जी-जान लगाई है।
केरल के इस गेंदबाज ने न्यायपालिका में अपना पूरा भरोसा जताया और भारतीय क्रिकेट को झकझोर देने वाले इस प्रकरण में निर्दोष साबित होने की उम्मीद जताई। उन्होंने कहा, मैं कहना चाहता हूं कि मेरा न्यायपालिका और भारतीय न्यायिक प्रणाली में पूरा भरोसा है।
श्रीसंत की आंखों के चारों ओर नींद की कमी के कारण काले घेरे देखे गए और उनकी दाढ़ी भी बढ़ी हुई थी। यह पूछे जाने पर कि अगर वह दोषी ठहराए गए, तो वह क्या करेंगे, उन्होंने कहा, मैं देश के कानून का निश्चित रूप से पालन करूंगा। जेल से रिहा होने के बाद श्रीसंत ने उनके जीवन के इस संघषर्पूर्ण दौर में समर्थन के लिए सभी का आभार व्यक्त किया।
उन्होंने कहा, मैं बहुत खुश और चिंतामुक्त हूं। भगवान ने मुझ पर दया की। मैं पहले भगवान और फिर मेरे प्रशंसकों, परिवार, दोस्तों, वकील और सभी शुभचिंतकों को धन्यवाद दूंगा, जो इस मुश्किल समय में मेरे साथ खड़े हुए। श्रीसंत और अंकित चव्हाण मंगलवार शाम को जेल से रिहा हुए। हालांकि उनके एक अन्य साथी क्रिकेटर अजित चंदीला ने जमानत के लिए आवेदन नहीं किया है।
दिल्ली पुलिस की विशेष शाखा ने श्रीसंत को 16 मई को आईपीएल के छठे सत्र के दौरान स्पॉट फिक्सिंग के आरोप में गिरफ्तार किया था। श्रीसंत ने अपने वकील के आवास पर संवाददाताओं से कहा, मैं इस (प्रकरण) को भूलना नहीं चाहता, लेकिन मुझे लगता है कि इसने मुझे कई सारी चीजें सिखाई हैं।
थके हुए और भावुक नजर आ रहे श्रीसंत ने कहा कि उन्होंने खेल को हमेशा सही भावना से खेला है। उन्होंने कहा, मैं सिर्फ इतना कह सकता हूं कि मैंने सही भावना के साथ खेल खेला है। मैंने खेल के लिए हमेशा अपनी जी-जान लगाई है।
केरल के इस गेंदबाज ने न्यायपालिका में अपना पूरा भरोसा जताया और भारतीय क्रिकेट को झकझोर देने वाले इस प्रकरण में निर्दोष साबित होने की उम्मीद जताई। उन्होंने कहा, मैं कहना चाहता हूं कि मेरा न्यायपालिका और भारतीय न्यायिक प्रणाली में पूरा भरोसा है।
श्रीसंत की आंखों के चारों ओर नींद की कमी के कारण काले घेरे देखे गए और उनकी दाढ़ी भी बढ़ी हुई थी। यह पूछे जाने पर कि अगर वह दोषी ठहराए गए, तो वह क्या करेंगे, उन्होंने कहा, मैं देश के कानून का निश्चित रूप से पालन करूंगा। जेल से रिहा होने के बाद श्रीसंत ने उनके जीवन के इस संघषर्पूर्ण दौर में समर्थन के लिए सभी का आभार व्यक्त किया।
उन्होंने कहा, मैं बहुत खुश और चिंतामुक्त हूं। भगवान ने मुझ पर दया की। मैं पहले भगवान और फिर मेरे प्रशंसकों, परिवार, दोस्तों, वकील और सभी शुभचिंतकों को धन्यवाद दूंगा, जो इस मुश्किल समय में मेरे साथ खड़े हुए। श्रीसंत और अंकित चव्हाण मंगलवार शाम को जेल से रिहा हुए। हालांकि उनके एक अन्य साथी क्रिकेटर अजित चंदीला ने जमानत के लिए आवेदन नहीं किया है।
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