धर्मेंद्र प्रधान ने कहा कि मेरे भाई या किसी अन्य ने गलती की है, तो कार्रवाई होनी चाहिए (फाइल फोटो)
भुवनेश्वर:
ओडिशा पुलिस की सतर्कता शाखा ने केंद्रीय पेट्रोलियम मंत्री धर्मेंद्र प्रधान के भाई सौमेंद्र प्रधान के खिलाफ घरेलू गैस (एलपीजी) की कालाबाजारी के सिलसिले में केस दर्ज किया गया है. सतर्कता विभाग ने सोमवार को इस मामले में सौमेंद्र और तीन अन्य लोगों लोगों के खिलाफ भारतीय दंड संहिता और भारतीय विस्फोट कानून के तहत मामला दर्ज किया.
अपने भाई के खिलाफ आपराधिक मामला दर्ज किए जाने के बाद धर्मेंद्र प्रधान ने मंगलवार को कहा कि उनका भाई कानून से ऊपर नहीं है और इस मामले में कानून को अपना काम करना चाहिए. यह रेखांकित करते हुए कि पेट्रोल पंप और गैस एजेंसी मूल-भूत जरूरत की चीजों का काम करते हैं और मूल आवश्यकता वस्तु कानून के तहत आते हैं, ऐसे में इसका क्रियान्यवयन सरकार की जिम्मेदारी है.
प्रधान ने कहा, 'राज्य सरकार को छापेमारी करने का अधिकार है. पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस विभाग का मंत्री होने के नाते, मैं कहना चाहूंगा कि यदि ऐसा लगता है कि मेरे भाई या किसी अन्य ने गलती की है, तो कार्रवाई होनी चाहिए.'
खबरों के अनुसार, सतर्कता विभाग द्वारा मामला दर्ज किए जाने के बाद सौमेंद्र प्रधान ने अग्रिम जमानत के लिए ओडिशा हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया है.
यह पूछने पर कि क्या सतर्कता विभाग की छापेमारी सत्तारूढ़ बीजद नेताओं के मकानों पर चिटफंड मामले हुई सीबीआई की छापेमारी को लेकर हुए हैं, प्रधान ने कहा, 'चिटफंड घोटाले में गरीबों का बहुत धन लूटा गया है. सीबीआई जांच की निगरानी सुप्रीम कोर्ट कर रहा है. जांच एजेंसी अपना काम कर रही है.' उन्होंने कहा, 'कोई इसे प्रभावित नहीं कर सकता, रोक नहीं सकता. यदि कोई यह मानता है कि जांच एजेंसियों को प्रभावित किया जा सकता है तो उन्हें बड़ी गलतफहमी है.'
(इनपुट भाषा से)
अपने भाई के खिलाफ आपराधिक मामला दर्ज किए जाने के बाद धर्मेंद्र प्रधान ने मंगलवार को कहा कि उनका भाई कानून से ऊपर नहीं है और इस मामले में कानून को अपना काम करना चाहिए. यह रेखांकित करते हुए कि पेट्रोल पंप और गैस एजेंसी मूल-भूत जरूरत की चीजों का काम करते हैं और मूल आवश्यकता वस्तु कानून के तहत आते हैं, ऐसे में इसका क्रियान्यवयन सरकार की जिम्मेदारी है.
प्रधान ने कहा, 'राज्य सरकार को छापेमारी करने का अधिकार है. पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस विभाग का मंत्री होने के नाते, मैं कहना चाहूंगा कि यदि ऐसा लगता है कि मेरे भाई या किसी अन्य ने गलती की है, तो कार्रवाई होनी चाहिए.'
खबरों के अनुसार, सतर्कता विभाग द्वारा मामला दर्ज किए जाने के बाद सौमेंद्र प्रधान ने अग्रिम जमानत के लिए ओडिशा हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया है.
यह पूछने पर कि क्या सतर्कता विभाग की छापेमारी सत्तारूढ़ बीजद नेताओं के मकानों पर चिटफंड मामले हुई सीबीआई की छापेमारी को लेकर हुए हैं, प्रधान ने कहा, 'चिटफंड घोटाले में गरीबों का बहुत धन लूटा गया है. सीबीआई जांच की निगरानी सुप्रीम कोर्ट कर रहा है. जांच एजेंसी अपना काम कर रही है.' उन्होंने कहा, 'कोई इसे प्रभावित नहीं कर सकता, रोक नहीं सकता. यदि कोई यह मानता है कि जांच एजेंसियों को प्रभावित किया जा सकता है तो उन्हें बड़ी गलतफहमी है.'
(इनपुट भाषा से)
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