
प्रतीकात्मक तस्वीर
नई दिल्ली:
शराब पीकर ड्राइव करना भारत सहित पूरे विश्व में एक बड़ी समस्या है। भारत में आए दिन शराब के नशे में ड्राइव करने की वजह से ना जानें कितने लोगों को अपनी जान गंवानी पड़ती है। खासतौर पर देश के बड़े शहरों में ऐसी घटनाएं हर रोज़ देखने को मिल रही हैं। सरकार ऐसे लोगों खिलाफ लगातार मुहिम चलाती रही है लेकिन, सख्त नियम-कानून के बावजूद लोग कानून की धज्जियां उड़ाने में देर नहीं लगाते और अपनी जान के साथ साथ दूसरों की जान भी खतरे में डाल देते हैं।
हाल ही में सरकार द्वारा जारी किए गए एक आंकड़े में ये पाया गया है कि करीब 400 लोग हर रोज सड़क हादसे में अपनी जान गंवाते हैं। ये आंकड़ा वाकई दिल-दहलाने वाला है। हर रोज हो रहे इन हादसों में कई ऐसे मामले भी होते हैं जो शराब पीकर गाड़ी चलाने की वजह से होते हैं। हम आपको बताते हैं कि शराब पीकर गाड़ी चलाना किस हद तक खतरनाक हो सकता है और सरकार ने ऐसे लोगों से निपटने के लिए क्या कानून बनाए हैं।
1. शराब पीकर गाड़ी चलाने के खतरे
- शराब में मौजूद अल्कोहल की वजह से इंसान अपने होश खो देता है। ऐसे में शराब पिए हुए व्यक्ति का रिएक्शन टाइम धीमा हो जाता है। जिसकी वजह से सड़क पर किसी खतरनाक परिस्थिति में ड्राइवर गाड़ी पर नियंत्रण नहीं रख पाता।
- शराब पीकर गाड़ी चलाना मतलब हादसे को न्योता देना। इस हादसे में कार में सवार लोगों को गंभीर चोट लग सकती है या फिर जान भी जा सकती है।
- शराब पीकर गाड़ी चलाने से आपको तो खतरा है ही, साथ में उन लोगों को भी खतरा है जो सड़क पर चल रहे हैं या गाड़ी चला रहे हैं। शराब के नशे में हो सकता है आपकी टक्कर दूसरी गाड़ी या सड़क पर घूम रहे लोगों से हो जाए। ऐसे हादसों में उनकी जान भी जा सकती है।
2. क्या है BAC (Blood Alcohol Content)
- अगर आपके प्रति 100ml खून में अल्कोहल की मात्रा 20mg से ज्यादा पाई जाती है तो इससे आपकी आंखों की रोशनी पर बुरा प्रभाव पड़ सकता है।
- अगर आपके प्रति 100mg खून में अल्कोहल की मात्रा 50mg से ज्यादा पाई गई तो आपकी बॉडी का रिएक्शन टाइम धीमा हो जाएगा और ऐसे में ड्राइविंग करना बेहद खतरनाक है।
- अगर खून में BAC का लेवल 0.08 है तो ऐसी स्थिति में ड्राइविंग के दौरान ध्यान भटकना, स्पीड पर कंट्रोल ना होना जैसी समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है जो खतरनाक है।
- BAC लेवल 0.10 हो तो ड्राइवर की ब्रेक लगाने की क्षमता बुरी तरह प्रभावित हो जाती है।
- BAC लेवल 0.15 या उससे ज्यादा होने पर ड्राइवर की ड्राइविंग करने की क्षमता पूरी तरह खत्म हो जाती है और ऐसे में कार को हाथ ना लगाने में भी भलाई है।
3. क्या कहता है कानून
- शराब पीकर गाड़ी चलाने के मामलों पर रोक लगाने के लिए भारत में कानून बनाया गया है। कानून के मुताबिक अल्कोहल की अनुमेय सीमा 30mg अल्कोहल प्रति 100ml खून है। अगर किसी ड्राइवर के खून में अल्कोहल की मात्रा इस तय सीमा से ज्यादा पाई गई तो उसे जेल हो सकती है या जुर्माना लगाया जा सकता है।
- अगर आप पहली बार शराब पीकर गाड़ी चलाते पकड़े गए तब आपके ड्राइविंग लाइसेंस पर कोई खतरा नहीं है। लेकिन, अगर ये हरकत लगातार जारी रही तो अगली बार पकड़े जाने पर आपका ड्राइविंग लाइसेंस कैंसिल भी किया जा सकता है।
- हालांकि दिल्ली में एक नए नियम के मुताबिक अगर आप शराब पीकर गाड़ी चलाते पकड़े गए तो पहली बार में ही आपका ड्राइविंग लाइसेंस कैंसिल किया जा सकता है।
हाल ही में सरकार द्वारा जारी किए गए एक आंकड़े में ये पाया गया है कि करीब 400 लोग हर रोज सड़क हादसे में अपनी जान गंवाते हैं। ये आंकड़ा वाकई दिल-दहलाने वाला है। हर रोज हो रहे इन हादसों में कई ऐसे मामले भी होते हैं जो शराब पीकर गाड़ी चलाने की वजह से होते हैं। हम आपको बताते हैं कि शराब पीकर गाड़ी चलाना किस हद तक खतरनाक हो सकता है और सरकार ने ऐसे लोगों से निपटने के लिए क्या कानून बनाए हैं।
1. शराब पीकर गाड़ी चलाने के खतरे
- शराब में मौजूद अल्कोहल की वजह से इंसान अपने होश खो देता है। ऐसे में शराब पिए हुए व्यक्ति का रिएक्शन टाइम धीमा हो जाता है। जिसकी वजह से सड़क पर किसी खतरनाक परिस्थिति में ड्राइवर गाड़ी पर नियंत्रण नहीं रख पाता।
- शराब पीकर गाड़ी चलाना मतलब हादसे को न्योता देना। इस हादसे में कार में सवार लोगों को गंभीर चोट लग सकती है या फिर जान भी जा सकती है।
- शराब पीकर गाड़ी चलाने से आपको तो खतरा है ही, साथ में उन लोगों को भी खतरा है जो सड़क पर चल रहे हैं या गाड़ी चला रहे हैं। शराब के नशे में हो सकता है आपकी टक्कर दूसरी गाड़ी या सड़क पर घूम रहे लोगों से हो जाए। ऐसे हादसों में उनकी जान भी जा सकती है।
2. क्या है BAC (Blood Alcohol Content)
- अगर आपके प्रति 100ml खून में अल्कोहल की मात्रा 20mg से ज्यादा पाई जाती है तो इससे आपकी आंखों की रोशनी पर बुरा प्रभाव पड़ सकता है।
- अगर आपके प्रति 100mg खून में अल्कोहल की मात्रा 50mg से ज्यादा पाई गई तो आपकी बॉडी का रिएक्शन टाइम धीमा हो जाएगा और ऐसे में ड्राइविंग करना बेहद खतरनाक है।
- अगर खून में BAC का लेवल 0.08 है तो ऐसी स्थिति में ड्राइविंग के दौरान ध्यान भटकना, स्पीड पर कंट्रोल ना होना जैसी समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है जो खतरनाक है।
- BAC लेवल 0.10 हो तो ड्राइवर की ब्रेक लगाने की क्षमता बुरी तरह प्रभावित हो जाती है।
- BAC लेवल 0.15 या उससे ज्यादा होने पर ड्राइवर की ड्राइविंग करने की क्षमता पूरी तरह खत्म हो जाती है और ऐसे में कार को हाथ ना लगाने में भी भलाई है।
3. क्या कहता है कानून
- शराब पीकर गाड़ी चलाने के मामलों पर रोक लगाने के लिए भारत में कानून बनाया गया है। कानून के मुताबिक अल्कोहल की अनुमेय सीमा 30mg अल्कोहल प्रति 100ml खून है। अगर किसी ड्राइवर के खून में अल्कोहल की मात्रा इस तय सीमा से ज्यादा पाई गई तो उसे जेल हो सकती है या जुर्माना लगाया जा सकता है।
- अगर आप पहली बार शराब पीकर गाड़ी चलाते पकड़े गए तब आपके ड्राइविंग लाइसेंस पर कोई खतरा नहीं है। लेकिन, अगर ये हरकत लगातार जारी रही तो अगली बार पकड़े जाने पर आपका ड्राइविंग लाइसेंस कैंसिल भी किया जा सकता है।
- हालांकि दिल्ली में एक नए नियम के मुताबिक अगर आप शराब पीकर गाड़ी चलाते पकड़े गए तो पहली बार में ही आपका ड्राइविंग लाइसेंस कैंसिल किया जा सकता है।
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