
मंकीपॉक्स (Monkeypox) को WHO ने ग्लोबल हेल्थ इमरजेंसी घोषित कर दिया है. इनमें से अधिकतर मामले ऐसे समूह से हैं जिसमें पुरुषों ने पुरुषों के साथ सेक्स (MSM) किया. लेकिन सभी मामले ऐसे नहीं हैं. द लेंसेट पत्रिका के अनुसार, पश्चिमी और केंद्रीय अफ्रीकी देशों में मंकीपॉक्स के मामले पिछले 20 सालों से बढ़ रहे थे. इन देशों से बाहर मंकीपॉक्स का फैलना कम फैलने की अपेक्षा नहीं की जा रही थी. क्योंकि अधिकतर ऐसा पाया गया था कि मंकीपॉक्स का प्रसार खुद ही रुक जाता है. तकनीकी शब्दों में कहा जाए तो इसकी आर वैल्यू या कहें कि बेसिक रिप्रोडक्शन नंबर (R0) 1 से भी कम था.
मंकीपॉक्स की आर वैल्यू
आर वैल्यू एक समुदाय में एक संक्रमण से फैलने वाले दूसरे संक्रमण की औसत संख्या होती है. लेकिन इसकी प्रसार की दर मौजूदा मामले बढ़ने के दौरान बढ़ी होगी. क्या यह बदलाव वायरस में हुए म्यूटेशन की वजह से है या फिर किसी और वजह से यह साफ नहीं हो पाया है. लेकिन अब महत्वपूर्ण यह है कि मंकीपॉक्स के प्रसार को रोका कैसे जाए?
पहला प्रश्न यह है कि कैसे मंकीपॉक्स की आर वैल्यू 1 से नीचे रखी जाए. इस मामले में यह भी महत्वपूर्ण नहीं है कि यह मुख्यतौर से MSM समुदाय में फैला या इसने जनसंख्या के दूसरे समूहों में अपनी पैठ बना ली. हम फिलहाल मंकीपॉक्स की आर वैल्यू के बारे में अटकलें ही लगा सकते हैं.
मंकीपॉक्स पहले कभी इतना नहीं फैला
मंकीपॉक्स स्मॉलपॉक्स की तुलना में काफी कम संक्रामक था. स्मॉलपॉक्स की आर वैल्यू 3.5 से 6.4 के बीच रहती है. पश्चिमी अफ्रीका के मंकीपॉक्स की आर वैल्यू का आंकलन नहीं हुआ है लेकिन कॉन्गो बेसिन में उससे अधिक फैलने वाले मंकीपॉक्स के प्रकार में आर वैल्यू 0.3 थी. फिर मंकीपॉक्स की आर वैल्यू का आंकलन 1.46 से 2.67 के बीच हुआ लेकिन अब नए आंकलन की गणना तुरंत ज़रूरी है क्योंकि यह आंकड़े उस समय के हैं जब स्मॉलपॉक्स का वैक्सीनेशन बड़ी संख्या में होता था. जिसके कारण मंकीपॉक्स की आर वैल्यू उस समय कम आई. अब अगर मंकीपॉक्स की आर वैल्यू 3 रखे तो यह काफी निराशाजनक बड़ी संख्या होगी.
मंकीपॉक्स की रोकथाम कैसे मुश्किल?
ऐसे लोग जो संक्रमित हैं और जिन्हें लक्षण आने में समय लगा अगर उनकी तुलना इंफ्लूएंजा या सार्स कोव 2 से की जाए जिसका बड़ा इंफेक्शन पीरियड होता है. इस वजह से कह सकते हैं कि मंकीपॉक्स का शरीर में शांत रह कर बढ़ने का समय कोविड19 से भी अधिक है. करीब 20 दिन. इस वजह से कह सकते हैं कि मंकीपॉक्स की रोकथाम मुश्किल है. आर वैल्यू 3 के साथ भी इसके असल रूप के सामने आने में महीनों लग जाते हैं और तब तक हजारों संक्रमण हो चुके होते हैं. जागरुकता बढ़ने के साथ इसकी पहचान जल्द हो पाएगी.
अगर लक्षण सामने आने के बाद मामले को पहचानने और उसे आइसोलेट करने में 1 हफ्ता भी लगता है तो इसके 15 - 27 दिन के संक्रामक समय को 50% तक कम किया जा सकता है. इसका मतलब अगर शुरुआती समय में मंकीपॉक्स की आर वैल्यू 3 थी तो यह घट कर 1.5 पर आ सकती है.
बिना लक्षण के नहीं फैलता मंकीपॉक्स
कोविड की तरह इसमें बिना लक्षण के संक्रमण मौजूद होने का कोई सबूत नहीं है या कहें कि स्मॉलपॉक्स में ऐसा नहीं होता था. मंकीपॉक्स पर अभी भी स्टडी चल रही हैं. लेकिन मंकीपॉक्स के किसी भी संक्रमण के सामने आने से संक्रमित व्यक्ति के संपर्क में आने वाले लोगों का जल्द क्वारेंटीन किया जा सकता है. इससे मंकीपॉक्स की आर वैल्यू को 1 पर नियंत्रित किया जा कसता है. 1980 के दशक का डेटा बताता है कि स्मॉलपॉक्स वैक्सीन मंकीपॉक्स से 85% तक सुरक्षा प्रदान करता है.
1970 के दशक में स्मॉलपॉक्स वैक्सी कार्यक्रम खत्म करने शुरू किए गए और 1984 तक सभी देशों ने स्मॉलपॉक्स की वैक्सीन देना बंद कर दिया. अब मंकीपॉक्स की नई मौजूद वैक्सीन के प्रयोग से संक्रमण के बाद भी वैक्सीनेशन किया जा सकता है उन लोगों का जो उस संक्रामित व्यक्ति के संपर्क में आए. इसे रिंग वैक्सीनेशन (ring vaccination) कहा जाता है. अगर यह संक्रमण के तुरंत बाद लगा दिया जाए तो इससे संक्रमित व्यक्ति को सुरक्षा दी जा सकती है.
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