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Explainer: Russia-Ukraine War के बीच PM मोदी का Europe दौरा India के लिए क्यों है अहम?
- Tuesday May 3, 2022
- Reported by: वर्तिका
रूस-यूक्रेन युद्ध (Russia Ukraine War) के मद्देनज़र अमेरिका (US) और यूरोप (Europe) लगातार लोकतंत्रिक देशों के एक साथ खड़े होने की ज़रूरत बता रहे हैं. इनका मकसद रूस (Russia) को वैश्विक मंच पर अलग-थलग करना है. रूस को वैश्विक व्यवस्था से काटने के लिए यूरोप चाहता है कि भारत (India) रूस (Russia) से दूरी बना ले. भारत ने काफी दबाव के बावजूद यूक्रेन पर आक्रमण के लिए रूस के राष्ट्रपति व्लादिमिर पुतिन (Vladimir Putin) की अभी तक सीधी निंदा नहीं की है.
- ndtv.in
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'पहले भी साफ कह चुके हैं, हम नहीं चाहते कि भारत रूस पर निर्भर रहे..': अमेरिका
- Saturday April 23, 2022
- Reported by: भाषा
पेंटागन के प्रेस सचिव जॉन किर्बी ने संवाददाताओं से कहा, ‘हम भारत समेत अन्य देशों को लेकर बहुत स्पष्ट हैं. हम नहीं चाहते कि ये देश रक्षा जरूरतों के लिए रूस पर निर्भर रहें. हम ईमानदारी से इसका विरोध करते हैं.’
- ndtv.in
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हथियार खरीदने में भारत की मदद के लिए तैयार अमेरिका, पर रखी एक खास शर्त
- Friday June 14, 2019
- ख़बर न्यूज़ डेस्क
‘एस-400’ रूस का सबसे आधुनिक सतह से हवा तक लंबी दूरी वाला मिसाइल रक्षा तंत्र है. चीन 2014 में इस तंत्र की खरीद के लिए सरकार से सरकार के बीच करार करने वाला पहला देश बन गया था. प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और रूस के राष्ट्रपति ब्लादिमीर पुतिन के बीच पिछले वर्ष अक्टूबर में अनेक मुद्दों पर विचार विमर्श के बाद भारत और रूस के बीच पांच अरब डॉलर में ‘एस-400’ हवाई रक्षा तंत्र खरीद सौदे पर हस्ताक्षर हुए थे. विदेश मंत्रालय की विशेष अधिकारी एलिस जी वेल्स ने एशिया, प्रशांत एवं परमाणु अप्रसार के लिए विदेश मामलों में सदन की उपसमिति को बताया कि अमेरिका अब किसी अन्य देश के मुकाबले भारत के साथ सबसे अधिक सैन्य अभ्यास करता है.
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- Tuesday May 3, 2022
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रूस-यूक्रेन युद्ध (Russia Ukraine War) के मद्देनज़र अमेरिका (US) और यूरोप (Europe) लगातार लोकतंत्रिक देशों के एक साथ खड़े होने की ज़रूरत बता रहे हैं. इनका मकसद रूस (Russia) को वैश्विक मंच पर अलग-थलग करना है. रूस को वैश्विक व्यवस्था से काटने के लिए यूरोप चाहता है कि भारत (India) रूस (Russia) से दूरी बना ले. भारत ने काफी दबाव के बावजूद यूक्रेन पर आक्रमण के लिए रूस के राष्ट्रपति व्लादिमिर पुतिन (Vladimir Putin) की अभी तक सीधी निंदा नहीं की है.
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'पहले भी साफ कह चुके हैं, हम नहीं चाहते कि भारत रूस पर निर्भर रहे..': अमेरिका
- Saturday April 23, 2022
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पेंटागन के प्रेस सचिव जॉन किर्बी ने संवाददाताओं से कहा, ‘हम भारत समेत अन्य देशों को लेकर बहुत स्पष्ट हैं. हम नहीं चाहते कि ये देश रक्षा जरूरतों के लिए रूस पर निर्भर रहें. हम ईमानदारी से इसका विरोध करते हैं.’
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हथियार खरीदने में भारत की मदद के लिए तैयार अमेरिका, पर रखी एक खास शर्त
- Friday June 14, 2019
- ख़बर न्यूज़ डेस्क
‘एस-400’ रूस का सबसे आधुनिक सतह से हवा तक लंबी दूरी वाला मिसाइल रक्षा तंत्र है. चीन 2014 में इस तंत्र की खरीद के लिए सरकार से सरकार के बीच करार करने वाला पहला देश बन गया था. प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और रूस के राष्ट्रपति ब्लादिमीर पुतिन के बीच पिछले वर्ष अक्टूबर में अनेक मुद्दों पर विचार विमर्श के बाद भारत और रूस के बीच पांच अरब डॉलर में ‘एस-400’ हवाई रक्षा तंत्र खरीद सौदे पर हस्ताक्षर हुए थे. विदेश मंत्रालय की विशेष अधिकारी एलिस जी वेल्स ने एशिया, प्रशांत एवं परमाणु अप्रसार के लिए विदेश मामलों में सदन की उपसमिति को बताया कि अमेरिका अब किसी अन्य देश के मुकाबले भारत के साथ सबसे अधिक सैन्य अभ्यास करता है.
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