किसान बिल को लेकर राज्यसभा (Farm Bills in Rajyasabha) में हंगामा करने के बाद निलंबित हुए 8 सांसदों के समर्थन में नेशनलिस्ट कांग्रेस पार्टी के चीफ शरद पवार (NCP Chief Sharad Pawar) एक दिन के उपवास पर गए हैं. पवार ने कहा कि उन्होंने कभी भी कोई बिल ऐसे पास होते हुए नहीं देखा है. उन्होंने कहा कि 'सदस्यों को अपने विचार सामने रखने के लिए निलंबित किया गया है, मैं उनके समर्थन में एक दिन का उपवास रख रहा हूं.'
शरद पवार मंगलवार को मराठा आरक्षण को लेकर महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे से मुलाकात करने पहुंचे थे. मुलाकात के बाद उन्होंने मीडिया से राज्यसभा में चल रहे हंगामे पर भी बयान दिया. उन्होने कहा कि 'किसान बिल पर राज्यसभा में चर्चा होनी थी. वो (केंद्र सरकार) बिल जल्द से जल्द पास कराना चाहती थी. सदस्यों के पास बिल पर कुछ सवाल थे. पहली नज़र में लगता है कि सरकार बहस नहीं कराना चाहती थी. जब सदस्यों को कोई जवाब नहीं मिला तो वो वेल में आ गए. वो जानना चाहते थे कि उपसभापति किस नियम के तहत कार्यवाही कर रहे थे. बिल पास कराने के लिए ध्वनि मत का इस्तेमाल किया गया और इसे पास कर दिया गया, जिसके खिलाफ प्रतिक्रिया देखी गई.'
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पवार ने कहा कि 'मैंने कभी कोई बिल इस तरीके से पास होते हुए नहीं देखा है. इन सांसदों को अपना विचार रखने के लिए निलंबित कर दिया गया. उपसभापति ने नियमों को प्राथमिकता नहीं दी.' उन्होंने आगे कहा, 'उनके प्रदर्शन के दौरान वो उन्हें चाय देने के लिए आए. इन सासंदों के अधिकार छीने जा रहे हैं. मैं उनके साथ एका दिखाने के लिए आज कुछ नहीं खाऊंगा. मैं भी सदन का सदस्य हूं. मैं उनके साथ खड़ा हूं.'
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