विज्ञापन
This Article is From Jan 10, 2018

अंतरिक्ष क्षेत्र में देश का पहला स्‍टार्टअप टीमइंडस, चंद्रमा पर यान भेजने की रेस से पीछे हटा

अंतरिक्ष क्षेत्र में सक्रिय भारतीय स्टार्ट अप टीम इंडस को तकनीक और फंड की कमी के कारण चंद्रमा पर अंतरिक्ष यान भेजने के पहले निजी प्रयास से पीछे हटना पड़ा है. वहीं साथ ही उनका गूगल लूनर एक्स प्रतिस्पर्धा जीतने का सपना भी टूट गया है.

अंतरिक्ष क्षेत्र में देश का पहला स्‍टार्टअप टीमइंडस, चंद्रमा पर यान भेजने की रेस से पीछे हटा
अंतरिक्ष क्षेत्र में देश का पहला स्‍टार्टअप टीमइंडस, चंद्रमा पर यान भेजने की रेस से पीछे हटा (फाइल फोटो)
नई दिल्ली: अंतरिक्ष क्षेत्र में सक्रिय भारतीय स्टार्ट अप टीम इंडस को तकनीक और फंड की कमी के कारण चंद्रमा पर अंतरिक्ष यान भेजने के पहले निजी प्रयास से पीछे हटना पड़ा है. वहीं साथ ही उनका गूगल लूनर एक्स प्रतिस्पर्धा जीतने का सपना भी टूट गया है.

अंतरिक्ष में बृहस्पति ग्रह पर आया तूफान, देखें नासा की भेजी हुई फोटो

इसरो का कहना है कि वो टीम इंडस को पीएसएलवी रॉकेट देने को तैयार है लेकिन टीम इंडस रॉकेट के लिए इंस्टॉलमेंट तक देने में असफल रहा है. हालांकि इसरो को उम्मीद है कि 2018 में चंद्रमा पर भारतीय झंडा चंद्रयान-2 मिशन के तहत फहराया जाएगा. चंद्रयान-2 इसरो का मिशन है.

नासा ने 37 साल में पहली बार किया कुछ यूं, Voyager 1 को ले आया सही ट्रैक पर

आपको बता दें कि टी इंडस में इसरो में काम कर चुके जेडी कमांडर (हेड) स्ट्रक्चर्स डॉ पी. एस. नायर भी टीम में शामिल थे, जिन्‍होंने देश की पहली सैटेलाइट आर्यभट्ट 1975 में की थी. टीमइंडस के लूनर स्पेसक्राफ्ट और रोवर को 100 से ज्यादा इंजीनियरों की टीम काम किया था. इनमें इसरो से सेवानिवृत हुए 20 वैज्ञानिक भी थे. स्पेसक्राफ्ट और रोवर का नाम ईसीए यानी 'एक छोटी सी आशा' रखा गया था. 

VIDEO: मंगलयान ने 2014 में भेजी थी लाल ग्रह के चंद्रमा की पहली तस्वीर
 

NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं

फॉलो करे:
Listen to the latest songs, only on JioSaavn.com