श्रीनगर:
कश्मीर घाटी में आज तीसरे दिन भी कर्फ्यू जारी है, मोबाइल इंटरनेट सेवाएं निलंबित हैं और समाचार पत्र स्टैंड तक नहीं पहुंच सके।
गौरतलब है कि संसद पर हमला मामले के दोषी अफजल गुरु को 9 फरवरी को फांसी दिए जाने के बाद कानून व्यवस्था की स्थिति बनाए रखने के लिए घाटी में कर्फ्यू लगा दिया गया था।
जम्मू-कश्मीर लिबरेशन फ्रंट के संस्थापक मोहम्मद मकबूल भट की 29वीं बरसी मनाए जाने के लिए राज्य में व्यापक प्रदर्शन होने की आशंका के मद्देनजर आज सुबह से ही घाटी में सुरक्षा कड़ी कर दी गई और लोगों की गतिविधियों पर रोक लगा दी गई है।
एक पुलिस अधिकारी की हत्या के जुर्म में भट को मौत की सजा सुनाई गई थी। 11 फरवरी 1984 को उसे तिहाड़ जेल में फांसी दे दी गई थी।
अफजल गुरु को फांसी दिए जाने के विरोध में रविवार को घाटी में कई हिस्सों में प्रदर्शन किया गया, जिसके बाद सुरक्षा बलों ने नागरिकों की आवाजाही पर रोक लगा दी।
केवल एम्बुलेन्स और आवश्यक सेवा विभाग के कर्मियों को ही कर्फ्यू पास जारी किए गए हैं, जिससे उनकी गतिविधियां चल रही हैं।
शनिवार को प्रदर्शनकारियों और सुरक्षाकर्मियों के बीच घाटी में हुई झड़पों में दो व्यक्तियों की मौत हो गई और 23 पुलिसकर्मियों सहित कम से कम 50 लोग घायल हो गए। कानून व्यवस्था की समस्या को रोकने के लिए घाटी के सभी संवेदनशील इलाकों में पुलिस और सीआरपीएफ के जवान तैनात हैं।
आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि घाटी में आज स्थिति शांत है और कहीं से भी किसी अवांछित घटना की सूचना नहीं है।
एहतियात के तौर पर आज तीसरे दिन भी मोबाइल इंटरनेट सेवाएं बंद पड़ी हैं। कर्फ्यू के कारण आज सुबह अखबार स्टैंड तक नहीं पहुंच सके।
गौरतलब है कि संसद पर हमला मामले के दोषी अफजल गुरु को 9 फरवरी को फांसी दिए जाने के बाद कानून व्यवस्था की स्थिति बनाए रखने के लिए घाटी में कर्फ्यू लगा दिया गया था।
जम्मू-कश्मीर लिबरेशन फ्रंट के संस्थापक मोहम्मद मकबूल भट की 29वीं बरसी मनाए जाने के लिए राज्य में व्यापक प्रदर्शन होने की आशंका के मद्देनजर आज सुबह से ही घाटी में सुरक्षा कड़ी कर दी गई और लोगों की गतिविधियों पर रोक लगा दी गई है।
एक पुलिस अधिकारी की हत्या के जुर्म में भट को मौत की सजा सुनाई गई थी। 11 फरवरी 1984 को उसे तिहाड़ जेल में फांसी दे दी गई थी।
अफजल गुरु को फांसी दिए जाने के विरोध में रविवार को घाटी में कई हिस्सों में प्रदर्शन किया गया, जिसके बाद सुरक्षा बलों ने नागरिकों की आवाजाही पर रोक लगा दी।
केवल एम्बुलेन्स और आवश्यक सेवा विभाग के कर्मियों को ही कर्फ्यू पास जारी किए गए हैं, जिससे उनकी गतिविधियां चल रही हैं।
शनिवार को प्रदर्शनकारियों और सुरक्षाकर्मियों के बीच घाटी में हुई झड़पों में दो व्यक्तियों की मौत हो गई और 23 पुलिसकर्मियों सहित कम से कम 50 लोग घायल हो गए। कानून व्यवस्था की समस्या को रोकने के लिए घाटी के सभी संवेदनशील इलाकों में पुलिस और सीआरपीएफ के जवान तैनात हैं।
आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि घाटी में आज स्थिति शांत है और कहीं से भी किसी अवांछित घटना की सूचना नहीं है।
एहतियात के तौर पर आज तीसरे दिन भी मोबाइल इंटरनेट सेवाएं बंद पड़ी हैं। कर्फ्यू के कारण आज सुबह अखबार स्टैंड तक नहीं पहुंच सके।
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