इस वायरल वीडियो में देखें कैसे तैयार होता है आपकी पसंदीदा मिठाई का स्वाद बढ़ाने वाला गुलाब जल

'गुलाब' शब्द  फारसी शब्द गुल (फूल) और आब (पानी) से लिया गया है, गुलाब-सुगंधित चीनी सिरप का जिक्र करते हुए तली हुई खोया गेंदों को भिगोया जाता है.

इस वायरल वीडियो में देखें कैसे तैयार होता है आपकी पसंदीदा मिठाई का स्वाद बढ़ाने वाला गुलाब जल

खास बातें

  • गुलाब की सुगंध गुलाब जल या गुलाब के उपयोग से आती है.
  • गुलाब जल की कुछ बूंदें एक डिश बेहतरीन स्वाद देती हैं.
  • स्वादिष्ट एसेंस को देने के लिए सिम्पल मैकेनाइज का उपयोग करती है.

क्या आपने कभी सोचा है कि हमारी कुछ पसंदीदा मिठाइयों को उनका गुलाबी स्वाद कैसे मिलता है? गुलाब जामुन का ही उदाहरण लें, भारतीयों के बीच सबसे प्रिय मिठाई में से एक का नाम गुलाब के नाम पर ही रखा गया है! 'गुलाब' शब्द  फारसी शब्द गुल (फूल) और आब (पानी) से लिया गया है, गुलाब-सुगंधित चीनी सिरप का जिक्र करते हुए तली हुई खोया गेंदों को भिगोया जाता है. गुलाब की सुगंध गुलाब जल या गुलाब के उपयोग से आती है. इस एसेंस की कुछ बूंदों को मिलाकर एक डिश को और ज्यादा स्वादिष्ट बना सकते है! लेकिन क्या आप जानते हैं कि इसे कैसे बनाया जाता है? इंस्टाग्राम फूड ब्लॉगर @foodie_incarnate द्वारा शेयर किया गया एक वायरल वीडियो इस फूल एसेंस कैसे बनाया जाता है, इसकी एक झलक देता है. वीडियो को 4.8 मिलियन से ज्यादा बार देखा गया है और 349k से ज्यादा लाइक्स हैं.

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कैसे बनता है गुलाब जल | कैसे तैयार किया जाता है रोज वॉटर

यह बहुत ही बढ़िया प्रक्रिया इस स्वादिष्ट एसेंस को देने के लिए सिम्पल मैकेनाइज का उपयोग करती है. सबसे पहले, 40-50 किलोग्राम सर्वोत्तम गुणवत्ता वाले गुलाबों को खेतों से ताजा तोड़ा जाता है. फूलों को  मैन साइज पॉट्स में डाला जाता है, जिसे हिंदी में देघ भी कहा जाता है. बर्तनों को ऊपर तक तब तक भरा जाता है जब तक कि वह फूलों से न भर जाए. बर्तन में कसट्रेंटिड गुलाब जल और थोड़ा पानी डाला जाता है. इसके बाद, बर्तनों को बंद कर दिया जाता है ताकि एसेंस कंटेनर से बाहर न निकले. अब गाय के उपले से बर्तनों के नीचे आग लगा दी जाती है. सीलबंद बर्तन के भीतर एक छेद से एक विशेष कोंटरापशन जुड़ा होता है ताकि गुलाब से जुड़ी भाप दूसरे छोटे कंटेनर में कैद हो जाए, यह दूसरा कंटेनर कुकिंग प्रक्रिया के दौरान पानी में तैरता रहता है. फूलों को कम से कम 4-5 घंटे तक उबाला जाता है.

इसके बाद, छोटे कंटेनर को डेघ से अलग कर पानी में डाल दें ताकि कंडेंशन हो सके और गुलाब की भाप गुलाब जल में बदल जाए. ठंडा होने पर गुलाब जल तैयार है! फिर इसे बोतलों में पैक किया जाता है और व्यावसायिक रूप से बेचा जाता है.

हर 40-50 किलोग्राम से, सिर्फ कुछ ग्राम गुलाब एसेंस (रूह गुलाब) का शुद्धतम रूप मिलता है, जिसकी कीमत 15-20 लाख प्रति किलोग्राम तक होती है! गुलाब जल रूह गुलाब का बाइप्रोडक्ट है.

लोग इस प्रक्रिया को देखकर हैरान रह गए, यहां उन्होंने कमेंट में क्या उल्लेख किया है:

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"वाह ये तो कमाल है"

"ये तो बहुत ज्यादा शानदार है"

"यह खस बनाने की प्रक्रिया के समान है"

"वाह!"

"शानदार"

आपने इस प्रक्रिया के बारे में क्या सोचा? हमें नीचे कमेंट सेक्शन में बताएं!

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