कुंभ मेले में यात्रियों की निःशुल्क सेवा के लिए लगाई गईं 500 से अधिक शटल बसों ने 28 फरवरी को एक साथ परेड कर विश्व रिकॉर्ड बनाया. इससे पहले सबसे बड़े बेड़े का रिकॉर्ड अबु धाबी के नाम था जहां दिसंबर, 2010 में 390 बसों ने परेड कर रिकॉर्ड बनाया था.
गिनीज वर्ल्ड रिकॉर्ड के अधिनिर्णायक (एडजुटीकेटर) ऋषि नाथ ने यहां मेला क्षेत्र स्थित आईसीसीसी सभागार में बताया कि परेड के लिए 510 बसें लगाई गई थीं जिसमें सात बसें मानक के अनुरूप नहीं चल सकीं. 503 बसें मानक के अनुरूप चलीं.
उत्तर प्रदेश राज्य परिवहन निगम ने 28 फरवरी की सुबह सहसों बाइपास से नवाबगंज तक इन 510 बसों का एक साथ संचालन किया और इसे गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड में दर्ज करने के लिए नाथ सहित उनकी टीम के सदस्य मौजूद थे. उन्होंने बताया कि यह बसों की सबसे बड़ी परेड का गिनीज बुक का नया रिकॉर्ड है.
कुम्भ 2019 के अवसर पर आज प्रयागराज में UPSRTC की 500 बसों ने 3.2 किलोमीटर की श्रृंखला के साथ गिनीज बुक में एक नया रिकॉर्ड स्थापित किया। #Kumbh2019 pic.twitter.com/oboM2tFwxb
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इन बसों ने 2 मील की दूरी तय की. यह आधिकारिक रिकॉर्ड है और अगले सात दिनों में इसे आधिकारिक वेबसाइट पर अपलोड कर दिया जाएगा. उत्तर प्रदेश राज्य परिवहन निगम के महाप्रबंधक पी.आर. बेलवरियार ने बताया कि कुंभ मेले में शहर को भीड़ से मुक्त करने के लिए पार्किंग क्षेत्र नगर से बाहर बनाने का निर्णय किया गया था और श्रद्धालुओं को लाने-ले जाने के लिए 510 शटल बसें चलाई गई थीं.
उन्होंने बताया कि परिवहन निगम ने इन नई बसों की ब्रांडिंग की थी. एक शहर में इतनी बड़ी संख्या में बसों का संचालन करना भी एक रिकॉर्ड है. परिवहन निगम के क्षेत्रीय प्रबंधक तरुण कुमार सिंह ने बताया कि एक जनवरी से 25 फरवरी तक लगभग 60 लाख श्रद्धालुओं को शटल बस सुविधा प्रदान की गई. इसके अलावा, मेला क्षेत्र में संचालित सांस्कृतिक कार्यक्रमों व अन्य आयोजनों में भी श्रद्धालुओं को शटल बसों की निःशुल्क सुविधा प्रदान की गई.
इनपुट - भाषा
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