
नई दिल्ली:
निजी क्षेत्र द्वारा नई नियुक्तियों की संभावनाएं चालू वित्तवर्ष के शेष महीनों में अच्छी नजर नहीं आतीं. उद्योग मंडल एसोचैम ने रविवार को कहा कि भारतीय उद्योग जगत के लिए इस समय प्रमुख प्राथमिकता वेतन लागत पर नियंत्रण करना है. उद्योग मंडल ने कहा कि सार्वजनिक क्षेत्र के बैंक सरकार द्वारा पुन: पूंजीकरण के बाद अपने कर्मचारियों की लागत को परिचालन अनुपात पर लाएंगे. ऐसे में वहां भी नई नियुक्तियां घट सकती हैं. एसोचैम ने यह आकलन अपने सदस्यों से मिली जानकारी के आधार पर किया है.
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एसोचैम ने कहा कि आगे चलकर कम से कम अगली एक डेढ़ तिमाहियों तक कंपनियां अपने मार्जिन में सुधार करने और ऋण की लागत घटाने पर ध्यान केंद्रित करेंगी. ऐसे में कंपनियों का कारोबार पीछे रह जाएगा। हालांकि, एसोचैम का मानना है कि अगले वित्त वर्ष से चीजें सुधरेंगी. एसोचैम के महासचिव डी एस रावत ने कहा, मूडीज द्वारा रेटिंग में सुधार से धारणा को बल मिला है, लेकिन निजी क्षेत्र के लिए अगली दो तिमाहियां चुनौतीपूर्ण होंगी.
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(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
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