Pind Daan In Gayaji
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पितृपक्ष 2025: राष्ट्रपति मुर्मू ने गयाजी में पुरखों की आत्मा की शांति और मोक्ष प्राप्ति के लिए किया पिंडदान
- Saturday September 20, 2025
- Reported by: आईएएनएस
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने अपने पूर्वजों की आत्मा की शांति और मोक्ष प्राप्ति की कामना के साथ गयाजी में पिंडदान किया. राष्ट्रपति के आगमन को लेकर विष्णुपद मंदिर और आसपास के इलाकों में कड़ी सुरक्षा व्यवस्था की गई थी.
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ndtv.in
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राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू पितरों के पिंडदान के लिए आएंगी गयाजी, जानें की जा रही क्या तैयारियां
- Friday September 19, 2025
- Reported by: NDTV इंडिया, Edited by: पीयूष जयजान
राष्ट्रपति गयाजी एयरपोर्ट से होते हुए 5 नंबर गेट, घुघड़ीटाड़ बाईपास, नारायणी पुल, बंगाली आश्रम होते हुए विष्णुपद मंदिर पहुंचेंगी.
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ndtv.in
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बिहार के गयाजी में दिखा अद्भुत नजारा, रूस-यूक्रेन के श्रद्धालु एक साथ कर रहे पिंडदान
- Friday September 19, 2025
- Reported by: बिमलेंदु चैतन्य, Edited by: पीयूष जयजान
पितरों के उद्धार और श्राद्ध कर्म के लिए देशभर में कई तीर्थस्थल हैं, लेकिन बिहार का गयाजी हमेशा से ही मोक्षस्थली के रूप में पूजनीय रहा है. ऐसी मान्यता है कि यहां पिंडदान करने से 108 कुल और सात पीढ़ियों का उद्धार होता है और मोक्ष की प्राप्ति होती है.
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पितृपक्ष 2025: राष्ट्रपति मुर्मू ने गयाजी में पुरखों की आत्मा की शांति और मोक्ष प्राप्ति के लिए किया पिंडदान
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राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने अपने पूर्वजों की आत्मा की शांति और मोक्ष प्राप्ति की कामना के साथ गयाजी में पिंडदान किया. राष्ट्रपति के आगमन को लेकर विष्णुपद मंदिर और आसपास के इलाकों में कड़ी सुरक्षा व्यवस्था की गई थी.
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राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू पितरों के पिंडदान के लिए आएंगी गयाजी, जानें की जा रही क्या तैयारियां
- Friday September 19, 2025
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राष्ट्रपति गयाजी एयरपोर्ट से होते हुए 5 नंबर गेट, घुघड़ीटाड़ बाईपास, नारायणी पुल, बंगाली आश्रम होते हुए विष्णुपद मंदिर पहुंचेंगी.
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बिहार के गयाजी में दिखा अद्भुत नजारा, रूस-यूक्रेन के श्रद्धालु एक साथ कर रहे पिंडदान
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- Reported by: बिमलेंदु चैतन्य, Edited by: पीयूष जयजान
पितरों के उद्धार और श्राद्ध कर्म के लिए देशभर में कई तीर्थस्थल हैं, लेकिन बिहार का गयाजी हमेशा से ही मोक्षस्थली के रूप में पूजनीय रहा है. ऐसी मान्यता है कि यहां पिंडदान करने से 108 कुल और सात पीढ़ियों का उद्धार होता है और मोक्ष की प्राप्ति होती है.
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