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One Year Of Note Ban

'One Year Of Note Ban' - 2 News Result(s)
  • नोटबंदी का एक साल : पीएम मोदी पेश कर सकते हैं भ्रष्टाचार से लड़ाई का प्लान-2

    नोटबंदी का एक साल : पीएम मोदी पेश कर सकते हैं भ्रष्टाचार से लड़ाई का प्लान-2

    पिछले साल 8 नवंबर को पीएम नरेंद्र मोदी ने नोटबंदी का ऐलान किया और एक साल होने जा रहे हैं. बीते एक साल में विपक्ष से लेकर सरकार तक नोटबंदी की कामयाबी या कहें कि आए परिणाम को जांचने परखने और अपना निर्णय देने में लगा है. सरकार जहां इसे सफल और कारगर बताने में लगे हैं वहीं विपक्ष इस सदी का सबसे बड़ा घोटाला, आदि उपनामों से सुशोभित कर रहा है. अब जब नोटबंदी के एक साल पूरे हो रहे हैं ऐसे में आम नागरिक से लेकर सरकार के ही लोग और विपक्षी दल सभी की निगाहें इस बात पर टिकी हुई हैं कि आखिर इस बार पीएम मोदी क्या करने जा रहे हैं. 

  • पिंड नहीं छूट रहा नोटबंदी कांड से

    पिंड नहीं छूट रहा नोटबंदी कांड से

    सालभर होने को आया लेकिन अब तक पुराने नोटों की गिनती का काम चालू बताना पड़ रहा है. पुराने नोटों के असली नकली होने के सत्यापन का काम भी अधूरा है. जब आंकड़े ही न हों तो नोटबंदी की सफलता विफलता की बात कैसे हो? सरकार अपने फैसले के सही होने का प्रचार कर रही है. और विपक्ष इस फैसले के भयावह असर होने के तर्क दे रही है. नोटबंदी के एक साल गुज़रने के दिन यानी आठ नवंबर को विपक्ष काला दिवस मनाएगी और सरकार जश्न. जनता इस विवाद की चश्मदीद बनेगी. वैसे शुरू से ही भुक्तभोगी जनता इस प्रकरण में मुख्य पक्ष है. सो उसे नोटबंदी के फायदे और नुकसान का हिसाब लगाने में ज्यादा दिक्कत आएगी नहीं. मसला इतना लंबा चौड़ा है कि जनता लाखों करोड़ की संख्या का अनुमान तक नहीं लगा सकती. इसीलिए इस हफ्ते कालादिवस और जश्न के दौरान होने वाले तर्क वितर्क के दौरान उसे जागरूक होने का मौका एकबार फिर मिलेगा.

'One Year Of Note Ban' - 2 News Result(s)
  • नोटबंदी का एक साल : पीएम मोदी पेश कर सकते हैं भ्रष्टाचार से लड़ाई का प्लान-2

    नोटबंदी का एक साल : पीएम मोदी पेश कर सकते हैं भ्रष्टाचार से लड़ाई का प्लान-2

    पिछले साल 8 नवंबर को पीएम नरेंद्र मोदी ने नोटबंदी का ऐलान किया और एक साल होने जा रहे हैं. बीते एक साल में विपक्ष से लेकर सरकार तक नोटबंदी की कामयाबी या कहें कि आए परिणाम को जांचने परखने और अपना निर्णय देने में लगा है. सरकार जहां इसे सफल और कारगर बताने में लगे हैं वहीं विपक्ष इस सदी का सबसे बड़ा घोटाला, आदि उपनामों से सुशोभित कर रहा है. अब जब नोटबंदी के एक साल पूरे हो रहे हैं ऐसे में आम नागरिक से लेकर सरकार के ही लोग और विपक्षी दल सभी की निगाहें इस बात पर टिकी हुई हैं कि आखिर इस बार पीएम मोदी क्या करने जा रहे हैं. 

  • पिंड नहीं छूट रहा नोटबंदी कांड से

    पिंड नहीं छूट रहा नोटबंदी कांड से

    सालभर होने को आया लेकिन अब तक पुराने नोटों की गिनती का काम चालू बताना पड़ रहा है. पुराने नोटों के असली नकली होने के सत्यापन का काम भी अधूरा है. जब आंकड़े ही न हों तो नोटबंदी की सफलता विफलता की बात कैसे हो? सरकार अपने फैसले के सही होने का प्रचार कर रही है. और विपक्ष इस फैसले के भयावह असर होने के तर्क दे रही है. नोटबंदी के एक साल गुज़रने के दिन यानी आठ नवंबर को विपक्ष काला दिवस मनाएगी और सरकार जश्न. जनता इस विवाद की चश्मदीद बनेगी. वैसे शुरू से ही भुक्तभोगी जनता इस प्रकरण में मुख्य पक्ष है. सो उसे नोटबंदी के फायदे और नुकसान का हिसाब लगाने में ज्यादा दिक्कत आएगी नहीं. मसला इतना लंबा चौड़ा है कि जनता लाखों करोड़ की संख्या का अनुमान तक नहीं लगा सकती. इसीलिए इस हफ्ते कालादिवस और जश्न के दौरान होने वाले तर्क वितर्क के दौरान उसे जागरूक होने का मौका एकबार फिर मिलेगा.