हिमाचल प्रदेश में भारी बारिश के कारण 260 से अधिक सड़कें बंद, तीन जिलों के लिए ‘रेड अलर्ट’ जारी
- हिमाचल प्रदेश के मंडी में बादल फटने से भारी तबाही मची है.
- सबसे ज्यादा असर मंडी में देखने को मिला है. इस आपदा की चपेट में आकर 78 लोगों की मौत हो गई और 37 लोग लापता हो गए. जबकि 115 लोग घायल हैं.
- मंडी में के थुनांग कस्बे में इकलौता हिमाचल को-ऑरपरेटिव बैंक तबाह हो गया.
- मौसम विभाग ने सिरमौर, कांगड़ा और मंडी में बारिश का रेड अलर्ट जारी किया है.
हिमाचल प्रदेश के मंडी में भारी बारिश तबाही मचा रही है. मंडी से करीब 60 किलोमीटर दूर थुनांग कस्बे में बादल फटने से सब कुछ बह गया है. जो लोग इस आपदा में बचे हैं, वो बस अपने रिश्तेदारों की तलाश में जुटे हुए हैं. थुनांग के बाजार में घूम-घूम कर लोगों से अपनी परेशानी बता रही हैं 75 साल की किनारी देवी… उनका चेहरा बदहवास और जबान कांप रही है. किनारी देवी को जैसे ही एक नेता मिला तो उन्होंने उसे रोक लिया और पकड़ कर कहती रही मेरी मदद करो...

NDTV ने किनारी देवी से बात की. अपनी आपबीती सुनाते हुए वो रो पड़ी. रोते हुए किनारी देवी बोलीं जब बादल फटा तो वो और उनकी 100 साल की मां घर पर थे. पानी जैसे ही बढ़ा तो वो अपनी मां को उठाकर किसी तरह सुरक्षित स्थान पर पहुंची लेकिन देवर का कुछ पता नहीं चल पा रहा है.
स्थानीय लोगों का सबकुछ हुआ तबाह
किनारी देवी के अनुसार जब देवर हमें बचाने नए घर से पुराने घर आ रहा था तब वो बह गया. उसकी कोई खोज खबर नहीं मिली. बादल फटने के बाद केवल शरीर के कपड़े बचे हैं बाक़ी सब बर्बाद हो गया. 5 किलो राशन के लिए किनारी देवी थुनांग बाजार में भटक रही है. किनारी देवी जैसे कई लोग थुनांग राशन और तिरपाल लेने के लिए पहुंच रहे हैं. बहुत सारे लोगों के मकान बह गए या घर कमजोर हो चुके हैं. जिसेस की रहने लायक़ तक नहीं बचे हैं. जिंदगी भर की जमा पूंजी सब बह चुकी है.

बता दें कि मंडी जिले में सबसे अधिक नुकसान दर्ज किया गया है. बादल फटने, अचानक बाढ़ आने और भूस्खलन की कई घटनाएं सामने आईं हैं. वहीं मौसम विभाग ने राज्य के कई जिलों में सोमवार और मंगलवार को भारी से बहुत भारी बारिश की संभावना के मद्देनजर अलर्ट जारी किया है.
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