विज्ञापन
This Article is From Dec 11, 2017

क्‍या एक प्रत्‍याशी दो जगहों से चुनाव लड़ सकता है, सुप्रीम कोर्ट ने अटॉर्नी जनरल से मांगी मदद

एक प्रत्याशी के दो जगहों से चुनाव लड़ने पर रोक लगाने वाली याचिका पर सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने अटॉर्नी जनरल से सहयोग मांग है. इस मामले की सुनवाई के दौरान चुनाव आयोग ने सुप्रीम कोर्ट से कहा कि 2004, 2016 में हमनें इसको लेकर प्रस्ताव दिया था.

क्‍या एक प्रत्‍याशी दो जगहों से चुनाव लड़ सकता है, सुप्रीम कोर्ट ने अटॉर्नी जनरल से मांगी मदद
क्‍या एक प्रत्‍याशी दो जगहों से चुनाव लड़ सकता है, सुप्रीम कोर्ट ने अटॉर्नी जनरल से मांगी मदद (फाइल फोटो)
नई दिल्ली: एक प्रत्याशी के दो जगहों से चुनाव लड़ने पर रोक लगाने वाली याचिका पर सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने अटॉर्नी जनरल से सहयोग मांग है. इस मामले की सुनवाई के दौरान चुनाव आयोग ने सुप्रीम कोर्ट से कहा कि 2004, 2016 में हमनें इसको लेकर प्रस्ताव दिया था. चुनाव आयोग ने ये प्रस्ताव इसलिए दिया था कि दो जगहों से चुनाव लड़ने के बाद अगर उम्मीदवार दोनों सीट जीतता है तो एक सीट छोड़नी पड़ती है जिससे अतरिक्त खर्च बढ़ता है.

'मुजफ्फरनगर द बर्निंग लव' की रिलीज को लेकर दी गई याचिका का SC में निपटारा, यूपी सरकार ने कहा- नहीं की गया है बैन

चुनाव आयोग ने कहा कि इससे मैनपावर और दोबारा चुनाव के खर्च का बोझ पड़ता है. सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र सरकार के वकील अटॉर्नी जनरल के के वेणुगोपाल को कहा कि वह कोर्ट का सहयोग करें. कोर्ट तीन हफ्ते बाद मामले की सुनवाई करेगा.

याचिकाकर्ता का कहना है कि एक आदमी एक वोट की तरह एक कैंडिडेट एक सीट का फॉर्मूले होना चाहिए. लोकतंत्र का यही तकाजा है कि एक कैंडिडेट एक जगह से चुनाव लड़े क्योंकि दो जगहों से चुनाव जीतने के  बाद एक सीट खाली करना होता है और उप चुनाव होने पर सरकारी खजाने पर बोझ पड़ता है और ऐसे में जनप्रतिनिधित्व कानून के उस प्रावधान को गैर संवैधानिक घोषित किया जाए, जिसके तहत एक कैंडिडेट को दो सीटों से चुनाव लड़ने की इजाजत दी जाती है. उपचुनाव के कारण पब्लिक मनी पर बोझ पड़ता है. 

VIDEO: NGT में दोषी पाया गया आर्ट ऑफ़ लिविंग सुप्रीम कोर्ट जाएगा


सुप्रीम कोर्ट में याचिकाकर्ता व बीजेपी नेता अश्विनी उपाध्याय की ओर से अर्जी दाखिल कर कहा गया है कि रिप्रजेंटेशन ऑफ पीपुल एक्ट (जन प्रतिनिधित्व कानून) की धारा-33 (7) के तहत प्रावधान है कि एक कैंडिडेट दो सीटों से चुनाव लड़ सकता है. वहीं धारा-70 कहता है कि दो सीटों से चुनाव लड़ने के बाद अगर कैंडिडेट दोनों सीटें जीत लेता है तो उसे एक सीट पर इस्तीफा देना होता है क्योंकि वह एक ही सीट अपने पास रख सकता है याचिकाकर्ता ने कहा कि हर नागरिक का मौलिक अधिकार है कि वह कैंडिडेट का रिकॉर्ड देखे और उसके योग्यता को देखे और वोटिंग करे. अगर दो जगह से कैंडिडेट जीतता है तो उसे एक सीट छोड़ना होता है और उस सीट पर दोबारा चुनाव होता है. दोबारा उपचुनाव होने से सरकार पर आर्थिक बोझ पड़ता है.
 

NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं

फॉलो करे:
डार्क मोड/लाइट मोड पर जाएं
Previous Article
PM मोदी जन्मदिन विशेष: जब नरेंद्र मोदी ने मां से नजदीकियों और अपने बचपन को याद कर सबको कर दिया था भावुक
क्‍या एक प्रत्‍याशी दो जगहों से चुनाव लड़ सकता है, सुप्रीम कोर्ट ने अटॉर्नी जनरल से मांगी मदद
"तरंग शक्ति" मित्र देशों के बीच सहयोग और आपसी विश्वास बनाने का एक माध्यम : राजनाथ सिंह
Next Article
"तरंग शक्ति" मित्र देशों के बीच सहयोग और आपसी विश्वास बनाने का एक माध्यम : राजनाथ सिंह
Listen to the latest songs, only on JioSaavn.com