'3 ईडियट' फिल्‍म के लिए प्रेरणा बने सोनम वांगचुक ने चीन को सुनाई खरी-खोटी, देश के लोगों से की खास अपील, VIDEO

वांगचुक कहते हैं, "मैं अपने चीन में बने फोन से एक सप्ताह के भीतर निजात पाने ला रहा हूं और एक साल में उन सभी चीजों को,जो चीन में बनी हैं, को अपनी जिंदगी से निकाल बाहर करूंगा " उन्होंने हर नागरिक से इस संदेश को 100 अन्‍य लोगों तक पहुंचाने की अपील की है.

'3 ईडियट' फिल्‍म के लिए प्रेरणा बने सोनम वांगचुक ने चीन को सुनाई खरी-खोटी, देश के लोगों से की खास अपील, VIDEO

सोनम वांगचुक ने चीन में बने अपने सामान के बहिष्‍कार की अपील की है

नई दिल्‍ली:

इनोवेटर (अन्‍वेषक) सोनम वांगचुक ने पिछले कुछ सप्‍ताह से लद्दाख से लगी सीमा पर चीनी सेना के आक्रामक रुख के जवाब में चीन में बने सामान का बहिष्‍कार करने की अपील देश के लोगों से की है. सोनम बांगचुक वही शख्‍स है जिनके चरित्र पर सुपरहिट फिल्‍म ''थ्री ईडियट्स" केंद्रित है. बांगचुक ने कहा, 'एक सप्‍ताह में चीन के सभी सॉफ्टवेयर को छोड़ें और एक साल में चीन के सभी हार्डवेयर को.' उन्‍होंने कहा कि वे एक सप्‍ताह में अपने चाइना मेड फोन को छोड़ने वाली हैं, यही नहीं, उन्‍होंने इसके पीछे का कारण भी बताया. सोनम ने कहा, 'एक तरफ हमारे सैनिक उनके खिलाफ लड़ रहे हैं और दूसरी तरफ, हम चीनी हार्डवेयर खरीदते हैं और टिकटॉक जैसे सॉफ़्टवेयर का उपयोग करते हैं, हम उन्हें करोड़ों रुपये का बिजनेस देते है ता‍कि वे हमारे खिलाफ लड़ने के लिए अपने सैनिकों को सौंप सकें.'' सोनम का यह वीडियो लद्दाख में ही शूट किया गया है जिसके बैकग्राउंड में हिमालय और सिंधु नदी दिखाई दे रहे है. वीडियो को सोशल मीडिया पर काफी शेयर किया जा रहा है, इसमें 53 वर्षीय यह इनोवेटर पूछता है "भारत-चीन सीमा तनाव के इस समय एक नागरिक के रूप में आपकी क्या जिम्मेदारी है.' 

वांगचुक कहते हैं, "मैं अपने चीन में बने फोन से एक सप्ताह के भीतर निजात पाने ला रहा हूं और एक साल में उन सभी चीजों को,जो चीन में बनी हैं, को अपनी जिंदगी से निकाल बाहर करूंगा " उन्होंने हर नागरिक से इस संदेश को 100 अन्‍य लोगों तक पहुंचाने की अपील की है. उन्‍होंने कहा, "तनाव बढ़ रहा है ... हजारों सैनिक तैनात किए जा रहे हैं. आम तौर पर, जब सीमा पार तनाव होता है तो हम रात को सोते हैं, यह सोचकर सैनिक जवाब देंगे, लेकिन आज मैं कहना चाहता हूं कि इस बारे में लोगों/नागरिकों की प्रतिक्रिया भी होनी चाहिए. दिल्ली, मुंबई, बेंगलुरु में आप जैसे नागरिकों की.." वांगचुक ने कहा कि न केवल सीमा पर, बल्कि दक्षिण चीन सागर में भी कदम आंतरिक संकट और लोगों के गुस्‍से को बढ़ाने वाले हैं.

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प्रतिष्ठित मैगसेसे अवार्ड हासिल कर चुके वांगचुक ने कहा, चीन को सबसे बड़ा डर आज अपनी ही 140 करोड़ की आबादी से है जिससे मानवाधिकारों का उल्‍लंघन करते हुए बंधुआ मजदूरों की तरह व्यवहार किया जाता है और जो अपने श्रम से सरकार को समृद्ध बनाती है. कोरोनोवायरस के बाद कारखाने बंद हो गए हैं, निर्यात पर मार पड़ी है, बेरोजगारी बढ़ी है और लोग गुस्से में हैं." उन्‍होंने कहा"अगर हमारे देश के 130 करोड़ लोग 'मेड इन चाइना'सामानों का बहिष्कार करते हैं और एक आंदोलन शुरू करते हैंतो इसका दुनिया भर में प्रभाव होगा. यह हमारे स्वयं के उद्योग और हमारे श्रमिकों के लिए भी मददगार होगा."