
दो सॉफ्टवेयर इंजीनियरों ने वायरल वीडियो के सच को उजागर करने के लिए एक वेबसाइट तैयार की है
नई दिल्ली:
इंटरनेट के आज के इस दौर में अक्सर वीडियो वायरल हो जाते हैं, लेकिन कई बार पता चलता है कि वीडियो सही नहीं हैं और ये लोगों को भड़काने के मकसद से कांटछांट कर बनाए गए हैं. दो सॉफ्टवेयर इंजीनियरों ने वायरल वीडियो के सच को उजागर करने के लिए एक वेबसाइट तैयार की है जहां आप सोशल मीडिया पर वायरल तस्वीर या वीडियो का सच जान सकते हैं.
Check4spam.com नामक वेबसाइट के बारे में काफी कम लोगों को पता है, लेकिन इस वेबसाइट के जरिए सोशल मीडिया में फैलाई जाने वाली अफवाहों पर लगाम जरुर लगेगी. बालकिशन बिडला औ रशममास ओलियाथ, दोनों इंजीनियर पिछले डेढ़ साल से ऐसा डेटाबेस तैयार करे में लगे हैं, जिसके जरिए आप गूगल सर्च की तरह वायरल वीडियो और तस्वीरों के साथ-साथ अफवाहों को सर्च कर उनकी सच्चाई जान सकेंगे.
चैक4स्पैम डॉट कॉम के संस्थापक बालकिशन बिडला ने बताया कि फिलहाल वे डेटाबैंक तैयार कर रहे हैं, जिसके जरिए एक ऐसा प्लेटफार्म बनाना चाहते हैं, जो आपको वीडियो या तस्वीर के पीछे का सच बताएगा.
उदाहरण देते हुए बालकिशन ने बताया कि एक वीडियो वायरल हुआ जिसमें एक अध्यापक को छोटे-छोटे बच्चों की बुरी तरह से पिटाई करते हुए दिखाया गया और उसे यह कहकर प्रचारित किया जा रहा था कि यह वीडियो पंजाब के एक स्कूल का है. जब इसके पीछे की सच्चाई खोजी गई तो पता चला कि वीडियो इजिप्ट का है. इसी तरह इन्होंने दो हज़ार के नोट में चिप की अफवाह को भी लोगों के सामने रखा.
वेबसाइट के अन्य संस्थापक शममास ओलियाथ ने बताया कि उनकी वेबसाइट पर रोजना बड़ी संख्या में लोग जुड़ रहे हैं और वायरल वीडियो का सच जानने की कोशिश करते हैं.
Check4spam.com नामक वेबसाइट के बारे में काफी कम लोगों को पता है, लेकिन इस वेबसाइट के जरिए सोशल मीडिया में फैलाई जाने वाली अफवाहों पर लगाम जरुर लगेगी. बालकिशन बिडला औ रशममास ओलियाथ, दोनों इंजीनियर पिछले डेढ़ साल से ऐसा डेटाबेस तैयार करे में लगे हैं, जिसके जरिए आप गूगल सर्च की तरह वायरल वीडियो और तस्वीरों के साथ-साथ अफवाहों को सर्च कर उनकी सच्चाई जान सकेंगे.
चैक4स्पैम डॉट कॉम के संस्थापक बालकिशन बिडला ने बताया कि फिलहाल वे डेटाबैंक तैयार कर रहे हैं, जिसके जरिए एक ऐसा प्लेटफार्म बनाना चाहते हैं, जो आपको वीडियो या तस्वीर के पीछे का सच बताएगा.
उदाहरण देते हुए बालकिशन ने बताया कि एक वीडियो वायरल हुआ जिसमें एक अध्यापक को छोटे-छोटे बच्चों की बुरी तरह से पिटाई करते हुए दिखाया गया और उसे यह कहकर प्रचारित किया जा रहा था कि यह वीडियो पंजाब के एक स्कूल का है. जब इसके पीछे की सच्चाई खोजी गई तो पता चला कि वीडियो इजिप्ट का है. इसी तरह इन्होंने दो हज़ार के नोट में चिप की अफवाह को भी लोगों के सामने रखा.
वेबसाइट के अन्य संस्थापक शममास ओलियाथ ने बताया कि उनकी वेबसाइट पर रोजना बड़ी संख्या में लोग जुड़ रहे हैं और वायरल वीडियो का सच जानने की कोशिश करते हैं.
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