
नाइट शिफ्ट में काम करने से महिलाओं में कैंसर का खतरा
- नाइफ शिफ्ट सेहत के लिए खतरनाक
- महिलाओं में कैंसर का खतरा
- त्वचा कैंसर का खतरा 41 फीसदी बढ़ता है
क्या हमारी AI समरी आपके लिए उपयोगी रही?
हमें बताएं।
नई दिल्ली:
आज की भागमभाग भरी लाइफ में हम काम और नौकरी को बहुत अहमियत देते हैं. करियर बनाना सबका पहला लक्ष्य है. और काम के दौरान काम के घंटों और समय पर भी हम ध्यान नहीं देते. अगर आप भी नाइफ शिफ्ट में काम करती हैं तो आपको कैंसर का खतरा हो सकता है. ये बात हाल ही में हुई एक रिसर्च में सामने आई है. इसके मुताबिक 'अनियमित घंटों की लगातार शिफ्ट से महिलाओं में सामान्य कैंसर होने का जोखिम बढ़ जाता है. शोधकर्ताओं ने पाया कि कुल मिलाकर लंबे समय तक नाइट शिफ्ट करने से महिलाओं में कैंसर होने की संभावना 19 फीसदी तक बढ़ जाती है'
सभी पेशों के विश्लेषण करने के बाद शोधकर्ताओं ने पाया कि लंबे समय तक नाइट शिफ्ट करने से स्तन कैंसर होने का खतरा बढ़ जाता है'
चीन के चेंगदु स्थित सिचुआन विश्वविद्यालय के वेस्ट चाइना मेडिकल सेंटर में शोध के सह-लेखक शुईलेई मा ने बताया, "हमारे शोध से पता चलता है कि कार्यस्थल पर नाइट शिफ्ट में काम करने से महिलाओं में कैंसर का जोखिम बढ़ जाता है"
यह अध्ययन कैंसर एपिडेमियोलॉजी, बॉयोमार्कर एंड प्रीवेंसन पत्रिका में प्रकाशित किया गया है.
शोध में पाया गया कि जो महिलाएं नाइट शिफ्ट में काम करती हैं, उनमें नाइट शिफ्ट में काम नहीं करनेवाली महिलाओं की तुलना में त्वचा कैंसर का खतरा 41 फीसदी, स्तन कैंसर का खतरा 32 फीसदी और गैस्ट्रोइंटेस्टाइनल कैंसर का खतरा 18 फीसदी बढ़ जाता है.
Input - IANS
(हेडलाइन के अलावा, इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है, यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
सभी पेशों के विश्लेषण करने के बाद शोधकर्ताओं ने पाया कि लंबे समय तक नाइट शिफ्ट करने से स्तन कैंसर होने का खतरा बढ़ जाता है'
चीन के चेंगदु स्थित सिचुआन विश्वविद्यालय के वेस्ट चाइना मेडिकल सेंटर में शोध के सह-लेखक शुईलेई मा ने बताया, "हमारे शोध से पता चलता है कि कार्यस्थल पर नाइट शिफ्ट में काम करने से महिलाओं में कैंसर का जोखिम बढ़ जाता है"
यह अध्ययन कैंसर एपिडेमियोलॉजी, बॉयोमार्कर एंड प्रीवेंसन पत्रिका में प्रकाशित किया गया है.
शोध में पाया गया कि जो महिलाएं नाइट शिफ्ट में काम करती हैं, उनमें नाइट शिफ्ट में काम नहीं करनेवाली महिलाओं की तुलना में त्वचा कैंसर का खतरा 41 फीसदी, स्तन कैंसर का खतरा 32 फीसदी और गैस्ट्रोइंटेस्टाइनल कैंसर का खतरा 18 फीसदी बढ़ जाता है.
Input - IANS
(हेडलाइन के अलावा, इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है, यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं