रोहित वेमुला... (फाइल फोटो)
हैदराबाद:
इस जनवरी में होस्टल में अपने कमरे में आत्महत्या करने वाले हैदराबाद सेंट्रल यूनिवर्सिटी के छात्र ने अपनी मौत से कुछ दिन पहले एक वीडियो में कहा था कि मेरा नाम रोहित वेमुला है, और मैं गुंटूर का दलित हूं.
- रोहित वेमुला के दोस्तों ने यह वीडियो सार्वजनिक किया है ताकि केंद्र द्रवारा गठित समिति की जांच रिपोर्ट का विरोध किया जा सके. रिपोर्ट में रोहित वेमुला के दलित होने पर सवाल उठाए हैं और उसकी आत्महत्या के पीछे निजी कारण बताए हैं और इस रिपोर्ट में रोहित से किसी प्रकार के भेदभाव का खंडन किया गया है.
- 26 वर्षीय रोहित वेमुला ने तब आत्महत्या कर ली थी जब उसे और उसके चार दोस्तों को यूनिवर्सिटी से निलंबित कर दिया गया था और हॉस्टल से बाहर कर दिया गया था. अपनी मौत से पहले उसने यूनिवर्सिटी वीसी अप्पा राव को एक पत्र लिखा था और कहा था यूनिवर्सिटी में दलित छात्रों के साथ भेदभाव होता है और उन्हें एक रस्सी दे दी जानी चाहिए ताकि वे फांसी लगा सकें.
- जस्टिस रूपनवाल आयोग ने इस महीने के आरंभ में अपनी रिपोर्ट दी है. इसमें कहा गया है कि कोई सबूत नहीं है जो यह बताता है कि रोहित वेमूला की मां वी राधिका 'मला' समुदाय की है. मला समुदाय दलित श्रेणी में आता है. रोहित भी खुद को इस समुदाय का बताता था.
- रोहित ने वीडियो में कहा कि मैं एक डेली वेज लेबर का बेटा हूं और मेरी मां ने हमें बड़ा किया है. उन्होंने वीडियो में कहा कि उसके रिसर्च फैलोशिप की वजह से यूनिवर्सिटी के सोशल साइंस स्कूल में जनरल कैटेगरी में दाखिला मिला. प्रशांत ने कहा कि संभव है रोहित ने दलित छात्रों को मिलने वाली सोशल वेल्फेयर ग्रांट ली हो.
- रोहित ने यह भी कहा कि एबीवीपी के लोगों से उसकी लड़ाई नई नहीं है. कथित तौर पर बीजेपी की छात्र इकाई एबीवीपी के साथ किसी मुद्दे पर लड़ाई की वजह से ही यूनिवर्सिटी प्रशासन ने रोहित वेमुला और उसके दोस्तों के खिलाफ कार्रवाई की थी.
- वीडियो में रोहित ने कहा कि हाल ही में यूनिवर्सिटी ने पांच दलित छात्रों को हॉस्टल से बर्खास्त किया है और नोटिस में यूनिवर्सिटी ने कहा है कि यूनिवर्सिटी के हॉस्टल, सार्वजनिक स्थल और प्रशासनिक स्थल पर हमारी मौजूदगी क्रिमिनल एक्ट के रूप में ली जाएगी.
- रोहित की आत्महत्या के बाद कई महीनों चले विरोध प्रदर्शन में उसके साथियों ने केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी और बीजेपी नेता बंडारू दत्तात्रेय पर आरोप लगाया कि उन्होंने यूनिवर्सिटी पर छात्रों को सजा देने का दबाव बनाया.
- जांच आयोग ने अपनी रिपोर्ट में यूनिवर्सिटी और मंत्रियों को आरोप से बरी किया और कहा कि मामले में कोई राजनीतिक दबाव नहीं था.
- रोहित के परिवार और विपक्षी दलों का आरोप है कि आयोग की रिपोर्ट उन लोगों की बचाने की कोशिश है, जिन्होंने उसे आत्महत्या करने पर मजबूर किया. रोहित की मां ने कहा कि यह रिपोर्ट दोषियों को बचाने के लिए है. वे उसकी जाति के पीछे गए ताकि हमें गलत साबित किया जा सके.
- रोहित वेमुला के दोस्तों ने एनडीटीवी को बताया कि उन्होंने यह वीडियो अभी इसलिए रिलीज किया है क्योंकि उन्हें यह वीडियो उस लैपटॉप से मिला है, जिसे विरोध प्रदर्शन के दौरान पुलिस ने इन लोगों को गिरफ्तार करते समय कब्जे में ले लिया था.