
Commonwealth Games: राष्ट्रमंडल खेलों का 23वां संस्करण 23 जुलाई से 2 अगस्त, 2026 तक ग्लासगो में आयोजित किया जाएगा.इसमें हॉकी, क्रिकेट, कुश्ती, टेबल टेनिस, बैडमिंटन और स्क्वैश को छोड़कर केवल 10 खेल शामिल किए गए हैं. शूटिंग, जिसे बर्मिंघम 2022 राष्ट्रमंडल खेलों के कार्यक्रम से हटा दिया गया था और यह अभी भी बाहर है. 2014 में जब ग्लासगो ने राष्ट्रमंडल खेलों की मेजबानी की थी, तब कार्यक्रम में 19 खेल शामिल थे. बर्मिंघम में जिन खेलों को गेम्स से बाहर रखा गया है, उनमें से अधिकांश में भारत ने कई मेडल जीते हैं. भारत ने खेलों के पिछले संस्करण में 22 गोल्ड सहित 61 मेडल जीते थे. उनके कुल मेडलों में से 12 कुश्ती, 7-7 मुक्केबाजी और टेबल टेनिस, बैडमिंटन में 6, हॉकी और स्क्वैश में 2-2, जबकि एक क्रिकेट से आया था. यह आंकड़े कुल मेडलों के आधे से अधिक हैं यानि भारत को काफी नुकसान उठाना पड़ा है.
खेल कार्यक्रम में की गई कटौती
बता दें कि ग्लास्गो ने कॉमनवेल्थ गेम्स की मेजबानी आपात स्थिति में स्वीकार किया है. य़ही कारण है कि खेल कार्यक्रम में कटौती की गई है. पहले ये गेम्स ऑस्ट्रेलिया के शहर गोल्ड कोस्ट को कराने थे लेकिन ऑस्ट्रेलिया ने मेजबानी जीतने के बाद अचानक से अपने कदम पीछे खींच लिया था. बजट ज्यादा होने के कारण ही ऑस्ट्रेलिया ने कॉमनवेल्थ गेम्स की मेजबानी करने का फैसला बदल लिया था. ऑस्ट्रेलियाई शहर गोल्ड कोस्ट के इंकार के बाद फिर जल्दबाजी में ग्लास्गो को कॉमनवेल्थ गेम्स की मेजबानी कराने का फैसला किया. बता दें कि ग्लास्गो 2014 में भी कॉमनवेल्थ गेम्स की मेजबानी कर चुका है.
भारत पर इसका क्या असर पड़ेगा
क्रिकेट..हॉकी और बाकी खेलों के न शामिल होने से यकीनन भारत को झटका लगा है. दरअसल, जिन खेलों को बाहर किया गया है उन खेलों में भारत के खिलाड़ियों का परफॉर्मेंस शानदार रहा है. भारत ने खेलों के पिछले संस्करण में 22 गोल्ड सहित 61 मेडल जीते थे. उनके कुल मेडलों में से 12 कुश्ती, 7-7 मुक्केबाजी और टेबल टेनिस, बैडमिंटन में 6, हॉकी और स्क्वैश में 2-2, जबकि एक क्रिकेट से आया था. यह आंकड़े कुल मेडलों के आधे से अधिक हैं यानि भारत को काफी नुकसान उठाना पड़ेगा .
क्यों किया गया खेलों की कटौती
केवल 10 खेलों को शामिल करने का निर्णय अधिक पारंपरिक प्रारूप की वापसी को दर्शाता है, क्योंकि राष्ट्रमंडल खेलों में आमतौर पर अपने पूरे इतिहास में लगभग 10 खेल शामिल होते रहे हैं. हालांकि 1998 के बाद से इस आयोजन का विस्तार करके इसमें 15-20 खेल शामिल कर लिए गए थे, लेकिन भविष्य के मेजबानों को वित्तीय बाधाओं को देखते हुए यह फैसला किया गया है.
खेलों के लिए चयन प्रक्रिया क्या है
खेल कार्यक्रम की सिफारिश मेजबान देश द्वारा की जाती है, जिसमें CGF द्वारा अनिवार्य दो खेल शामिल हैं: एथलेटिक्स और पैरा एथलेटिक्स, तथा तैराकी और पैरा तैराकी. अतिरिक्त खेलों का चयन CGF विनियमन 6 में विभिन्न मानदंडों के आधार पर किया जाता है, जो परिचालन व्यवहार्यता और आर्थिक मूल्य पर विचार करता है.
वेन्यू का चयन
खेलों के लिए केवल चार वेन्यू चुने गए हैं, जिनमें शामिल हैं:
- स्कॉट्सटाउन स्टेडियम
- टोलक्रॉस इंटरनेशनल स्विमिंग सेंटर
- कॉमनवेल्थ एरिना/सर क्रिस होय वेलोड्रोम
- स्कॉटिश इवेंट्स कैंपस (एसईसी)
ग्लासगो 2026 में चयनित खेलों की लिस्ट
- एथलेटिक्स और पैरा एथलेटिक्स (ट्रैक और फील्ड)
- तैराकी और पैरा तैराकी
- कलात्मक जिमनास्टिक
- ट्रैक साइकिलिंग और पैरा ट्रैक साइकिलिंग
- नेटबॉल
- भारोत्तोलन और पैरा पावरलिफ्टिंग
- मुक्केबाजी
- जूडो
- बाउल्स और पैरा बाउल्स
- 3x3 बास्केटबॉल और 3x3 व्हीलचेयर बास्केटबॉल
इस सूची में क्रिकेट, टेबल टेनिस, स्क्वैश और रोड रेसिंग जैसे खेलो को शामिल नहीं किया गया है. इस कटौती का उद्देश्य वित्तीय. आर्थिक और परिचालन संबंधी विचारों के साथ इस आयोजन के बहु-खेल अनुभव को संतुलित करना है.
क्रिकेट और हॉकी को क्यों हटाया गया
कॉमनवेल्थ गेम्स में मेजबान को यह अधिकार होता है कि वह कुछ खेलों को हटा या शामिल कर सके. इसके लिए मेजबान को कम से कम 3 देशों से सहमति लेने की जरूरत पड़ती है. ज्यादातर मेजबान उन खेलों को हटाने के बारे में सोचता है जो ज्यादा लोकप्रिय नहीं होते हैं. क्रिकेट और हॉकी को हटाना एक ब़ड़ा फैसला था. स्कॉटलैंड भी क्रिकेट को खेल रहा है लेकिन उसकी टीम कभी भी कोई मेडल नहीं जीत सकी है. इसी कारण क्रिकेट को मेजबान ने गेम्स को हटाने का फैसला किया है. हॉकी 1958 से कॉमनवेल्थ गेम्स का हिस्सा रही है और भारत खेलों के इतिहास में दूसरी सर्वश्रेष्ठ टीम रही है, जिसमें पुरुष और महिला वर्ग में छह मेडल हासिल किए थे.
सरकार ने कड़ा विरोध दर्ज कराया था
पिछले महीने सीजीएफ अध्यक्ष क्रिस जेनकिंस और सीजीएफ की सीईओ कैटी सैडलेयर की भारत यात्रा के दौरान सरकार ने ग्लासगो खेलों के कार्यक्रम से प्रमुख खेलों को बाहर रखने के प्रस्ताव पर कड़ा विरोध दर्ज कराया था.
राष्ट्रमंडल खेल महासंघ को मुआवजा के तौर पर देने पड़े 25 करोड़ US डॉलर
विक्टोरिया ने 2026 राष्ट्रमंडल खेलों के रद्द होने से संबंधित विवादों को निपटाने के लिए 380 मिलियन ऑस्ट्रेलियाई डॉलर का भुगतान देना पड़ा था. विक्टोरिया ने 2026 राष्ट्रमंडल खेलों के लिए 380 मिलियन ऑस्ट्रेलियाई डॉलर के समझौते पर अपनी सहमति जताई थी.
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