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15 से 18 साल के हैं बच्चे तो जरूर सिखाएं पेरेंटिंग कोच की बताई ये 3 बातें, जीवन में कभी नहीं भटकेंगे रास्ता

Parenting Tips for Teenagers: टीनएज के दौरान अगर बच्चे को सही मार्गदर्शन ने मिले और गलते रास्ते या संगत में चले जाए तो जीवन बर्बाद होने तक की स्थिति भी बन सकती हैं. ऐसे में बच्चों के पैरेंट्स को उनको जीवन का पाठ और कुछ महत्वपूर्ण बात जरूर सिखानी चाहिए.

15 से 18 साल के हैं बच्चे तो जरूर सिखाएं पेरेंटिंग कोच की बताई ये 3 बातें, जीवन में कभी नहीं भटकेंगे रास्ता
Parenting Tips

Parenting Tips: हर उम्र पर इंसान नई-नई चीजें सीखता है. 15 से 18 साल की उम्र का सबसे नाजुक दौर माना जाता है. इस समय बच्चों का दुनिया को देखने का नजरिया धीरे-धीरे बदलता है और वे आजादी की मांग करते हैं. इस वक्त अगर बच्चे को सही मार्गदर्शन ने मिले और गलते रास्ते या संगत में चले जाए तो जीवन बर्बाद होने तक की स्थिति भी बन सकती हैं. ऐसे में बच्चों के पैरेंट्स को उनको जीवन का पाठ और कुछ महत्वपूर्ण बात जरूर सिखानी चाहिए. इसी पर पेरेंटिंग कोच (Parenting Coach)  पुष्पा शर्मा ने अपने इंस्टाग्राम वीडियो पर 3 बातें बताई है जिन्हें पैरेंट्स को बच्चों को जरूर सिखाना चाहिए. इससे बच्चे जीवन में कभी गलत रास्ते पर नहीं जाएंगे और खूब सफलता हासिल करेंगे. इसके अलावा बच्चे अपने जीवन में हर चुनौती का डटकर सामना करना और सही निर्णया लेना सिखेंगे..

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1. सही दिशा में मेहनत और इंतजार

पैरेंटिंग कोच और एनएलपी प्रैक्टिशनर पुष्पा शर्मा बताती हैं कि बच्चों को ये समझाएं कि अभी पूरा जीवन उनके सामने है, जो कि बहुत ही शानदार हो सकती है. बस बच्चों को सही दिशा का चयन कर खूब मेहनत करनी होगी और अच्छे रिजल्ट का इंतजार करें. 

2. दोस्ती कैसे करें?

एक्सपर्ट कहती हैं कि पैरेंट्स को बच्चों को दोस्ती के बारे में सिखाना चाहिए. वह कहती हैं कि दोस्त लाइफ में मददगार भी हो सकते हैं साथ ही जीवन में बाधा भी बन सकते हैं. ऐसे में दोस्ती बहुत समझदारी से करनी चाहिए. ये भी कहा जा सकता है कि बच्चों को अगर गलत दोस्त मिल जाएं तो जीवन खराब भी हो सकता है. ऐसे में सही दोस्त की पहचान करनाबहुत जरूरी होता है.

3. मां से करें हर एक बात शेयर

एक्सपर्ट बताती हैं कि बच्चे सबसे ज्यादा जिसपर भरोसा कर सकते हैं वह उनकी मां होती है. बच्चों को अपनी मां से हर बात शेयर करनी चाहिए, चाहे वह कैसी भी बात हो. दरअसल, बच्चे के पालन पोषण में मां की भूमिका सबसे बड़ी होती है. इसी वजह से एक्सपर्ट कहते हैं कि बच्चों को अपनी मां पर सबसे ज्यादा भरोसा करना सिखाया जाना चाहिए. 

अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है. यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें. एनडीटीवी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है.

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