पाकिस्तानी धरती पर चल रहे आतंकी शिविरों के खिलाफ मंगलवार को की गई भारत की कार्रवाई की जहां चारों तरफ प्रशंसा हुई है, वहीं माकपा की केरल इकाई की सोच इससे अलग है. माकपा के राज्य सचिव कोदियेरी बालाकृष्णन ने कहा कि भारत द्वारा किया गया हवाई हमला आम चुनाव की प्रक्रिया को पटरी से उतारने के लिए भारतीय जनता पार्टी-राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ गठजोड़ की एक चाल है.
बालाकृष्णन ने कहा, "आज (मंगलवार) के हमले को आम चुनाव से पहले पाकिस्तान के साथ युद्ध भड़काने की भाजपा-आरएसएस गठजोड़ की एक चाल के रूप में देखा जा सकता है, ताकि चुनाव को टाला जा सके."उन्होंने आगे कहा कि नरेंद्र मोदी सरकार कश्मीर मुद्दे को सुलझाने के बदले कश्मीर के लोगों को दुश्मन बनाने की कोशिश कर रही है.बालाकृष्णन ने कहा, "इस समय मुस्लिम विरोधी भावना को बढ़ावा देकर एक सांप्रदायिक विभाजन पैदा करने की कोशिश की जा रही है. चुनाव में पराजय की आशंका से भाजपा लोगों के दिमाग में भय पैदा करने और युद्ध के हालात पैदा करने की कोशिश कर रही है. "
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चुनाव कार्यक्रम पर आयोग का बयान
पुलवामा में हुए आतंकी हमले और जवाब में भारत की सर्जिकल स्ट्राइक की घटना के बाद सरहद पर तनाव तेज है. सवाल उठ रहा है कि इस संवेदनशी हालात में क्या भारत में चुनाव के संभावित कार्यक्रमों पर असर पड़ेगा. क्या चुनाव देरी से होंगे. इस सवाल पर अब भारत निर्वाचन आयोग की तरफ से जवाब आया है. मुंबई में इस बाबत जवाब देते हुए चुनाव आयुक्त अशोक ने कहा वे अपने कर्तव्यों के निर्वहन के लिए संवैधानिक रूप से बंधे हैं. हालांकि 14 फरवरी को हुई पुलवामा की घटना के बाद से आयोग लगातार हालात पर नजर बनाए हुए है.
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मुंबई में पत्रकारों को संबोधित करते हुए अशोक लवासा ने कहा- चुनाव आयोग हर घटनाक्रम पर बारीकी से नजर रखे हुए है. लवासा महाराष्ट्र में चुनाव तैयारियों की समीक्षा करने के लिए दो दिवसीय दौरे पर आए थे. उन्होंने कहा-हमने दो दिनों तक महाराष्ट्र में चुनावी तैयारियों की समीक्षा की.हमने सभी राजनीतिक दलों के साथ मीटिंग की. इसके अलावा महाराष्ट्र के मुख्य निर्वाचन अधिकारी और पुलिस सहित चुनाव में सहयोग करने वालीं नोडल एजेंसियों से भी मीटिंग की. फर्जी मतदाताओं के सवाल पर बोले कि एक पार्टी ने यह मुद्दा उठाया है, हम 15 दिन में इसे सॉल्व करेंगे. महाराष्ट्र में कुल 95,473 पोलिंग स्टेशन हैं. उन्होंने कहा कि पहली बार महाराष्ट्र में सभी ईवीएम से वीवीपैट जुड़ीं रहेंगी.
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