मुंबई:
विदेशमंत्री सुषमा स्वराज ने माइक्रो-ब्लॉगिंग वेबसाइट ट्विटर पर एक ब्रिटिश दंपति की समस्या को उठाया है, लेकिन साथ ही केंद्र सरकार द्वारा हाल ही में लाए 'कड़े' सरोगेसी नियंत्रक विधेयक की आलोचना करने वालों से 'जवाब भी तलब' किया है.
क्रिस तथा मिशेल न्यूमैन मेडिकल वीसा लेकर मुंबई आए थे, जहां उन्होंने सरोगेसी के ज़रिये एक बच्ची हासिल की, लेकिन अब वे उसे अनाथालय में छोड़ने के लिए मजबूर होते दिख रहे हैं, क्योंकि उन्हें अब तक बच्ची के लिए ब्रिटिश पासपोर्ट हासिल नहीं हुआ है.
इसी दंपति की समस्या के बारे में बताते हुए विदेशमंत्री ने ट्वीट में सवाल किया, "क्या किसी सरोगेट बेबी के भाग्य में अनाथालय ही बदा होना चाहिए...?"
क्रिस तथा मिशेल न्यूमैन का मेडिकल वीसा एक्सटेंड किया जा चुका है, लेकिन उसके बावजूद वह 7 अक्टूबर को एक्सपायर होने जा रहा है. उधर, मिली जानकारी के मुताबिक, मुंबई स्थित ब्रिटिश वाणिज्य दूतावास ने चेताया है कि उनकी तीन महीने की बेटी लिली को यात्रा के लिए ज़रूरी दस्तावेज़ उससे पहले (7 अक्टूबर से पहले) नहीं मिल पाने की भी आशंका है.
इंग्लैंड के सरे में पहने वाले दंपति ने change.org पर एक पेटिशन में लिखा, "हम यकीन नहीं कर पा रहे हैं कि हमें ऐसा कुछ करने के लिए मजबूर होना पड़ेगा, जो हमने ख्वाब में भी नहीं सोचा था, और अपने बच्चे को यहां भारत में छोड़कर जाना पड़ेगा..."
विदेशमंत्री सुषमा स्वराज ने अपने ट्वीट में ब्रिटिश अधिकारियों से तो सवाल किया ही है, उन लोगों को भी कठघरे में खड़ा किया है, जो हाल ही में नरेंद्र मोदी सरकार द्वारा लाए गए कड़े सरोगेसी कानून की आलोचना करते रहे हैं.
उन्होंने लिखा, "ब्रिटेन में कमर्शियल सरोगेसी पर प्रतिबंध है... क्या ब्रिटिश सरकार इस सरोगेट बच्ची को ब्रिटिश पासपोर्ट देगी...?" सुषमा स्वराज ने अगले ट्वीट में यह भी लिखा, "कमर्शियल सरोगेसी की वकालत करने वाले अब इस मसले का कोई हल सुझा सकते हैं, और इस बच्ची की मदद कर सकते हैं...?"
न्यूमैन दंपति उन आखिरी दंपतियों में शामिल हैं, जो भारत में सरोगेसी के ज़रिये बच्चा हासिल करने में कामयाब रहे हैं, क्योंकि पिछले ही महीने सरकार ने समर्शियल सरोगेसी पर पाबंदी लागू करने का फैसला करते हुए तय किया था कि सिर्फ नज़दीकी रिश्तेदार ही सरोगेट के रूप में इस्तेमाल किए जा सकेंगे.
न्यूमैन दंपति की बेटी लिली की पासपोर्ट अर्ज़ी यूके के गृहमंत्रालय के पास 3 जून से पहुंची हुई है. बीबीसी ने क्रिस न्यूमैन के हवाले से कहा, "मुझे कुछ ऐसा करना पड़ा, जो किसी पिता को नहीं करना पड़ा होगा... मैं रात को 3 बजे मुंबई शहर में अनाथालय तलाश करने के लिए भागा-दौड़ा फिर रहा हूं..."
यूके के गृह मंत्रालय ने कथित रूप से कहा है कि बच्ची का पासपोर्ट इस बात की जांच के बाद ही जारी किया जाएगा कि 'उसके हित सुरक्षित हैं,' और ब्रिटिश नागरिकता पर उसका दावा जायज़ है.
न्यूमैन दंपति की पेटिशन में लिखा गया है, "हमें विदेश तथा कल्याण विभाग द्वारा दो बार बताया जा चुका है कि हमें लिली को छोड़ देने के लिए तैयार हो जाना चाहिए... यह पागलपन है कि ब्रिटिश सरकार पासपार्ट की अर्ज़ी देने वाली बच्ची के हितों की रक्षा के लिए इतनी पाबंद है, यह जांचने के लिए कि उसे कहीं तस्करी का शिकार तो नहीं बनाया जा रहा है कि वह बच्ची को उसके माता-पिता के बिना एक दूसरे देश में नितांत अजनबी व्यक्तियों के पास छोड़ने के लिए तैयार है... मैं भी समझता हूं कि नियम भी होते हैं, लेकिन उम्मीद है कि समझदारी की जीत होगी, क्योंकि एक मामूली डीएनए टेस्ट से साबित हो सकता है कि बच्ची का जैविक पिता दरअसल क्रिस ही है..."
क्रिस तथा मिशेल न्यूमैन मेडिकल वीसा लेकर मुंबई आए थे, जहां उन्होंने सरोगेसी के ज़रिये एक बच्ची हासिल की, लेकिन अब वे उसे अनाथालय में छोड़ने के लिए मजबूर होते दिख रहे हैं, क्योंकि उन्हें अब तक बच्ची के लिए ब्रिटिश पासपोर्ट हासिल नहीं हुआ है.
इसी दंपति की समस्या के बारे में बताते हुए विदेशमंत्री ने ट्वीट में सवाल किया, "क्या किसी सरोगेट बेबी के भाग्य में अनाथालय ही बदा होना चाहिए...?"
क्रिस तथा मिशेल न्यूमैन का मेडिकल वीसा एक्सटेंड किया जा चुका है, लेकिन उसके बावजूद वह 7 अक्टूबर को एक्सपायर होने जा रहा है. उधर, मिली जानकारी के मुताबिक, मुंबई स्थित ब्रिटिश वाणिज्य दूतावास ने चेताया है कि उनकी तीन महीने की बेटी लिली को यात्रा के लिए ज़रूरी दस्तावेज़ उससे पहले (7 अक्टूबर से पहले) नहीं मिल पाने की भी आशंका है.
इंग्लैंड के सरे में पहने वाले दंपति ने change.org पर एक पेटिशन में लिखा, "हम यकीन नहीं कर पा रहे हैं कि हमें ऐसा कुछ करने के लिए मजबूर होना पड़ेगा, जो हमने ख्वाब में भी नहीं सोचा था, और अपने बच्चे को यहां भारत में छोड़कर जाना पड़ेगा..."
विदेशमंत्री सुषमा स्वराज ने अपने ट्वीट में ब्रिटिश अधिकारियों से तो सवाल किया ही है, उन लोगों को भी कठघरे में खड़ा किया है, जो हाल ही में नरेंद्र मोदी सरकार द्वारा लाए गए कड़े सरोगेसी कानून की आलोचना करते रहे हैं.
उन्होंने लिखा, "ब्रिटेन में कमर्शियल सरोगेसी पर प्रतिबंध है... क्या ब्रिटिश सरकार इस सरोगेट बच्ची को ब्रिटिश पासपोर्ट देगी...?" सुषमा स्वराज ने अगले ट्वीट में यह भी लिखा, "कमर्शियल सरोगेसी की वकालत करने वाले अब इस मसले का कोई हल सुझा सकते हैं, और इस बच्ची की मदद कर सकते हैं...?"
Commercial surrogacy is banned in Britain. Will British Government give a British passport to this surrogate Baby ? https://t.co/TNVa7IrG54
— Sushma Swaraj (@SushmaSwaraj) September 13, 2016
Will the advocates of commercial surrogacy suggest a solution and help this Baby ? Pl RThttps://t.co/OCVyNSSs4Y
— Sushma Swaraj (@SushmaSwaraj) September 13, 2016
न्यूमैन दंपति उन आखिरी दंपतियों में शामिल हैं, जो भारत में सरोगेसी के ज़रिये बच्चा हासिल करने में कामयाब रहे हैं, क्योंकि पिछले ही महीने सरकार ने समर्शियल सरोगेसी पर पाबंदी लागू करने का फैसला करते हुए तय किया था कि सिर्फ नज़दीकी रिश्तेदार ही सरोगेट के रूप में इस्तेमाल किए जा सकेंगे.
न्यूमैन दंपति की बेटी लिली की पासपोर्ट अर्ज़ी यूके के गृहमंत्रालय के पास 3 जून से पहुंची हुई है. बीबीसी ने क्रिस न्यूमैन के हवाले से कहा, "मुझे कुछ ऐसा करना पड़ा, जो किसी पिता को नहीं करना पड़ा होगा... मैं रात को 3 बजे मुंबई शहर में अनाथालय तलाश करने के लिए भागा-दौड़ा फिर रहा हूं..."
यूके के गृह मंत्रालय ने कथित रूप से कहा है कि बच्ची का पासपोर्ट इस बात की जांच के बाद ही जारी किया जाएगा कि 'उसके हित सुरक्षित हैं,' और ब्रिटिश नागरिकता पर उसका दावा जायज़ है.
न्यूमैन दंपति की पेटिशन में लिखा गया है, "हमें विदेश तथा कल्याण विभाग द्वारा दो बार बताया जा चुका है कि हमें लिली को छोड़ देने के लिए तैयार हो जाना चाहिए... यह पागलपन है कि ब्रिटिश सरकार पासपार्ट की अर्ज़ी देने वाली बच्ची के हितों की रक्षा के लिए इतनी पाबंद है, यह जांचने के लिए कि उसे कहीं तस्करी का शिकार तो नहीं बनाया जा रहा है कि वह बच्ची को उसके माता-पिता के बिना एक दूसरे देश में नितांत अजनबी व्यक्तियों के पास छोड़ने के लिए तैयार है... मैं भी समझता हूं कि नियम भी होते हैं, लेकिन उम्मीद है कि समझदारी की जीत होगी, क्योंकि एक मामूली डीएनए टेस्ट से साबित हो सकता है कि बच्ची का जैविक पिता दरअसल क्रिस ही है..."
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