प्रतीकात्मक फोटो
चंडीगढ़:
नाबार्ड ने 843.75 किलोमीटर जलमार्ग बनाने और पानी को साफ करने के लिए रिवर्स ऑस्मोसिस (आरओ) संयंत्र की 176.68 करोड़ रुपए का ऋण आवंटित किया है।
जलमार्ग बनने से किसानों को जलापूर्ति हो सकेगी
राष्ट्रीय कृषि एवं ग्रामीण विकास बैंक (नाबार्ड) द्वारा यहां जारी आधिकारिक विज्ञप्ति में कहा गया कि नाबार्ड ने मुक्तसर जिले में नहरों के मुख्य जलमार्ग बनाने और 546 गांवों में 555 आरओ संयंत्र स्थापित करने के लिए 176.68 करोड़ रुपए का ऋण आवंटित किया है। जलमार्ग बनने से किसानों को जलापूर्ति हो सकेगी।
46,420 हेक्टेयर कृषि भूमि का फायदा होगा
नाबार्ड ने कहा कि 46,420 हेक्टेयर कृषि भूमि का फायदा होगा। इसके अलावा 555 आरओ संयंत्र की स्थापना से सुरक्षित पेय जल की आपूर्ति हो सकेगी जिससे यूरेनियम, कैडमियम, सेलेनियम जैसे अन्य तरह के खतरनाक धातुओं के मिश्रण से निजात मिलेगी। 70 साल और इससे ऊपर के अकेले रहने वाले बुजुर्गों को पानी की आपूर्ति मुफ्त की जाएगी।
(हेडलाइन के अलावा, इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है, यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
जलमार्ग बनने से किसानों को जलापूर्ति हो सकेगी
राष्ट्रीय कृषि एवं ग्रामीण विकास बैंक (नाबार्ड) द्वारा यहां जारी आधिकारिक विज्ञप्ति में कहा गया कि नाबार्ड ने मुक्तसर जिले में नहरों के मुख्य जलमार्ग बनाने और 546 गांवों में 555 आरओ संयंत्र स्थापित करने के लिए 176.68 करोड़ रुपए का ऋण आवंटित किया है। जलमार्ग बनने से किसानों को जलापूर्ति हो सकेगी।
46,420 हेक्टेयर कृषि भूमि का फायदा होगा
नाबार्ड ने कहा कि 46,420 हेक्टेयर कृषि भूमि का फायदा होगा। इसके अलावा 555 आरओ संयंत्र की स्थापना से सुरक्षित पेय जल की आपूर्ति हो सकेगी जिससे यूरेनियम, कैडमियम, सेलेनियम जैसे अन्य तरह के खतरनाक धातुओं के मिश्रण से निजात मिलेगी। 70 साल और इससे ऊपर के अकेले रहने वाले बुजुर्गों को पानी की आपूर्ति मुफ्त की जाएगी।
(हेडलाइन के अलावा, इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है, यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)