कोरोनावायरस (Coronavirus) महामारी के चलते आधुनिक जीवनशैली में काफी बदलाव आ गए हैं. लोग साफ-सफाई के प्रति ज्यादा सतर्क हो गए हैं. मास्क और हैंड सैनिटाइजर की महत्ता लोगों को समझ आने लगी है. यही कारण है कि अब देश के कई राज्यों के स्कूलों में भी मास्क पहनना स्टूडेंट्स के लिए अनिवार्य हो सकता है. दरअसल, बीते दिन केरल के स्वास्थ्य मंत्री केके शैलजा ने एक बयान में कहा कि स्कूल जाने वाले बच्चों को राज्य में अगले शैक्षणिक सत्र में मास्क पहनना पड़ सकता है. उन्होंने आगे कहा कि कई देशों में स्कूलों में मास्क पहनना स्टूडेंट्स के लिए अहम नियम बन गया है.
मंत्री के अनुसार, कोरोनावायरस संक्रमण के खिलाफ एहतियात के रूप में बच्चों को अगले शैक्षणिक सत्र में मास्क पहनने की आवश्यकता हो सकती है. मंत्री ने कहा, "ये एक अच्छा कल्चर है. हमें इसे केरल में भी अपनाना होगा, अगर स्कूल दोबारा खुलने तक कोविड-19 का खतरा रहता है. मास्क ने कोविड 19 के खतरे को कम करने में मदद की है. केरल इस बीमारी से जूझ रहा है और अच्छे रिजल्ट ला रहा है. "
रिपोर्ट्स के मुताबिक, केरल के स्कूलों में गर्मियों की छुट्टिया कर दी गई हैं और स्कूल मई के अंत तक बंद रहेंगे. स्कूल एडमिनिस्ट्रेशन स्कूल खोलने की नई तारीख और अकेडमिक कैलेंडर पर काम कर रहा है.
वहीं, हाल ही में मानव संसधान विकास मंत्रालय के अधिकारियों ने समाचार एजेंसी पीटीआई को बताया है कि स्कूलों के लिए नई गाइडलाइन्स तैयार की जा रही हैं. लॉकडाउन के बाद जब स्कूल खुलेंगे तो स्कूलों में इन गाइडलान्स का पालन किया जाएगा. अधिकारियों के मुताबिक स्कूली शिक्षा और साक्षरता विभाग द्वारा गाइडलाइन्स बनाई जा रही हैं. मानव संसाधन विकास मंत्री रमेश पोखरियाल 'निशंक' ने पिछले सप्ताह राज्य के शिक्षा मंत्रियों के साथ हुई बैठक में सुरक्षा दिशा-निर्देशों के मुद्दे पर विचार-विमर्श किया था.
अधिकारियों ने कहा कि स्टूडेंट्स के स्वास्थ्य और सुरक्षा के लिए स्कूलों में सोशल डिस्टेंसिंग का पालन किया जाएगा. यानी लॉकडाउन के बाद जब भी स्कूल और कॉलेज खोले जाएंगे तो सोशल डिस्टेंसिंग का पूरी तरह से पालन किया जाएगा. मंत्रालय क्लास में स्टूडेंट्स के बैठने की व्यवस्था और सुरक्षा को लेकर गाइडलाइन्स जल्द जारी कर सकता है, जो सोशल डिस्टेंसिंग के लिए बेहद अहम हैं.
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