Supreme Court On Section 144
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धारा-144 लगाने से पहले अब सरकारों को सुप्रीम कोर्ट की इस टिप्पणी का भी रखना होगा ध्यान
- Friday January 10, 2020
- Reported by: आशीष भार्गव, Edited by: मानस मिश्रा
जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटाए जाने के बाद जारी पाबंदियों के खिलाफ दी गई याचिकाओं पर सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने एक अहम टिप्पणी की है. कोर्ट ने कहा है कि मजिस्ट्रेट को धारा 144 के तहत पाबंदियों के आदेश देते समय नागरिकों की स्वतंत्रता और सुरक्षा को खतरे की अनुपातिका को देखकर विवेक का इस्तेमाल करना चाहिए.
- ndtv.in
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अयोध्या पर SC का फैसला: दिल्ली में धारा-144 लागू, जामा मस्जिद इलाके में बढ़ाई गई सुरक्षा
- Saturday November 9, 2019
- Reported by: भाषा
पुलिस ने एक परामर्श में कहा, ‘‘ दिल्ली पुलिस शरारती तत्वों या कानून एवं व्यवस्था को नुकसान पहुंचाने वाली गतिविधियों में लिप्त पाए जाने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करेगी.’ उसने कहा, ‘‘ सोशल मीडिया गतिविधियों पर नजर है और दिल्ली पुलिस ने उपयोगकर्ताओं से ऐसे मंचों का उपयोग विवेकपूर्ण तरीके से करने तथा किसी भी तरह की घृणा या शत्रुता फैलाने से बचने की अपील की है.’’
- ndtv.in
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SC/ST एक्ट के विरोध में सवर्णों का आज भारत बंद, बिहार में कई जगह ट्रेनें रोकी गईं, पटना में BJP कार्यालय के बाहर प्रदर्शन
- Thursday September 6, 2018
- Reported by: अनुराग द्वारी, मनीष कुमार
Bharat Bandh Live Updates: केंद्र की मोदी सरकार (Modi Government) द्वारा एससी-एसटी एक्ट (SC/ST Act) में संशोधन कर उसे मूल स्वरूप में बहाल करने के विरोध में सवर्ण समुदाय के संगठनों ने आज यानी 6 सितंबर को भारत बंद (Bharat Bandh) बुलाया है. देश के कई इलाकों से सवर्ण संगठनों के भारत बंद के मद्देनजर एहतियातन कदम उठाए गये हैं. मध्य प्रदेश के ग्वालियर में जहां स्कूलों-कॉलेजों को बंद रखने के आदेश दिये गये हैं, वहीं, मध्य प्रदेश के ही तीन जिलों मुरैना, भिंड एवं शिवपुरी में एहतियात के तौर पर धारा 144 (Section 144 Imposed) लगा दी गई है. धारा 144 भारत बंद के अगले दिन यानी 7 सितंबर तक प्रभावी रहेगी. इसके अलावा, मध्य प्रदेश में कई जगहों पर पेट्रोल पंप को भी बंद रखने का फैसला किया गया है. गौरतलब है कि पिछली बार 2 अप्रैल को भारत बंद एससी/एसटी एक्ट (SC/ST Amendment Bill) पर सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) के फैसले के विरोध में दलित संगठनों ने बुलाया था. तब सबसे ज्यादा हिंसा मध्य प्रदेश के ग्वालियर और चंबल संभाग में हुई थी. इस वजह से इस बार मध्य प्रदेश प्रशासन इस बार भारत बंद को देखते हुए पूरी तरह सतर्क है. हालांकि, दलितों के बंद के विरोध में उस वक्त भी कुछ दिन बाद ही सवर्णों ने बंद का आह्वान किया था.
- ndtv.in
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धारा-144 लगाने से पहले अब सरकारों को सुप्रीम कोर्ट की इस टिप्पणी का भी रखना होगा ध्यान
- Friday January 10, 2020
- Reported by: आशीष भार्गव, Edited by: मानस मिश्रा
जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटाए जाने के बाद जारी पाबंदियों के खिलाफ दी गई याचिकाओं पर सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने एक अहम टिप्पणी की है. कोर्ट ने कहा है कि मजिस्ट्रेट को धारा 144 के तहत पाबंदियों के आदेश देते समय नागरिकों की स्वतंत्रता और सुरक्षा को खतरे की अनुपातिका को देखकर विवेक का इस्तेमाल करना चाहिए.
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अयोध्या पर SC का फैसला: दिल्ली में धारा-144 लागू, जामा मस्जिद इलाके में बढ़ाई गई सुरक्षा
- Saturday November 9, 2019
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पुलिस ने एक परामर्श में कहा, ‘‘ दिल्ली पुलिस शरारती तत्वों या कानून एवं व्यवस्था को नुकसान पहुंचाने वाली गतिविधियों में लिप्त पाए जाने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करेगी.’ उसने कहा, ‘‘ सोशल मीडिया गतिविधियों पर नजर है और दिल्ली पुलिस ने उपयोगकर्ताओं से ऐसे मंचों का उपयोग विवेकपूर्ण तरीके से करने तथा किसी भी तरह की घृणा या शत्रुता फैलाने से बचने की अपील की है.’’
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SC/ST एक्ट के विरोध में सवर्णों का आज भारत बंद, बिहार में कई जगह ट्रेनें रोकी गईं, पटना में BJP कार्यालय के बाहर प्रदर्शन
- Thursday September 6, 2018
- Reported by: अनुराग द्वारी, मनीष कुमार
Bharat Bandh Live Updates: केंद्र की मोदी सरकार (Modi Government) द्वारा एससी-एसटी एक्ट (SC/ST Act) में संशोधन कर उसे मूल स्वरूप में बहाल करने के विरोध में सवर्ण समुदाय के संगठनों ने आज यानी 6 सितंबर को भारत बंद (Bharat Bandh) बुलाया है. देश के कई इलाकों से सवर्ण संगठनों के भारत बंद के मद्देनजर एहतियातन कदम उठाए गये हैं. मध्य प्रदेश के ग्वालियर में जहां स्कूलों-कॉलेजों को बंद रखने के आदेश दिये गये हैं, वहीं, मध्य प्रदेश के ही तीन जिलों मुरैना, भिंड एवं शिवपुरी में एहतियात के तौर पर धारा 144 (Section 144 Imposed) लगा दी गई है. धारा 144 भारत बंद के अगले दिन यानी 7 सितंबर तक प्रभावी रहेगी. इसके अलावा, मध्य प्रदेश में कई जगहों पर पेट्रोल पंप को भी बंद रखने का फैसला किया गया है. गौरतलब है कि पिछली बार 2 अप्रैल को भारत बंद एससी/एसटी एक्ट (SC/ST Amendment Bill) पर सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) के फैसले के विरोध में दलित संगठनों ने बुलाया था. तब सबसे ज्यादा हिंसा मध्य प्रदेश के ग्वालियर और चंबल संभाग में हुई थी. इस वजह से इस बार मध्य प्रदेश प्रशासन इस बार भारत बंद को देखते हुए पूरी तरह सतर्क है. हालांकि, दलितों के बंद के विरोध में उस वक्त भी कुछ दिन बाद ही सवर्णों ने बंद का आह्वान किया था.
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