
हाल पूछा है मेरा, पोंछे हैं आंसू मेरे,
शुक्रिया तुमने मेरे दर्द में शिरकत की है
हर्षित को अभी होश नहीं आया है, लेकिन अब वेंटिलेटर हट गया है, थोड़ा इंफेक्शन है हालांकि डॉक्टर उम्मीद कर रहे हैं वो जल्द होश में आएगा। लेकिन, हर्षित के पिता मृत्युंजय का भरोसा लौटा है, क्योंकि उनके साथ पूरा समाज खड़ा हो गया है।
मृत्युंजय ने बताया कि NDTV इंडिया पर ख़बर दिखाए जाने के बाद देश ही नहीं दुनियाभर से उन्हें फोन आए और लोगों ने दिल खोलकर मदद की। नेपाल से नारायण अग्रवाल ने 50 हज़ार, दुबई से हबीदुल्ला ने 50 हज़ार भेजे। मेलबर्न से श्रीमती मौलवी ने दस हज़ार, यूके से मयंग गुप्ता और पिंकल महाजन ने 31 और 32 हज़ार रुपये की मदद भेजी।
दिल्ली के कुछ लोग तो हर्षित को देखने अस्पताल भी पहुंच गए। अस्पताल आने वालों में गोल्डी, तनय कुमार भाल, राकेश कुमार, नवीन कुमार, अशोक उप्पल थे और आदिल तो पूरे परिवार समेत हर्षित को दुआ देने आए।
माफ़ी चाहते हैं लेकिन सबके नाम बताना हमारे लिए संभव नहीं है।
मृत्युंजय को अब तक करीब 60 लाख रुपये मिल गए हैं जिसकी बदौलत ही वो अस्पताल की नौवीं किश्त दो लाख रुपये का बिल चुका पाए हैं। फिलहाल ये रकम हर्षित के इलाज के लिए काफी है अब आप मदद रोक सकते हैं।
NDTV इंडिया की पूरी टीम अपने दर्शकों की तहे दिल से शुक्रगुज़ार है।
पूछने वाले शुक्रिया तेरा
दर्द तो अब भी है, मगर कम है
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