कांग्रेस (Congress) नेता अजय माकन (Ajay Makan) ने आज कहा कि पेट्रोल-डीजल (Petrol-Diesel) और रसोई गैस (LPG) का खेल ध्यान से समझिए. एक ओर अंतरराष्ट्रीय बाजार में क्रूड ऑयल के दाम कम होते जा रहे हैं, वहीं भाजपा सरकार पेट्रोल व डीजल के दामों में लगातार बढ़ोतरी कर रही है. अब तो पेट्रोल व डीजल के दाम देश में शीर्ष पर पहुंच गए हैं, जिसका सीधा असर किसान, आम जनता व ट्रांसपोर्टरों पर पड़ रहा है और महंगाई चरम पर पहुंच गई है.
कांग्रेस बनाम भाजपा की मोदी सरकार- एक तुलना
माकन ने कहा कि 26 मई 2014 को जब भाजपा ने केंद्र में सत्ता संभाली थी, तब भारत की तेल कंपनियों को कच्चा तेल 108 अमेरिकी डॉलर प्रति बैरल मिल रहा था, जबकि पेट्रोल-डीजल और एलपीजी मई 2014 में दिल्ली में पेट्रोल, 71.51 रुपये प्रति लीटर, डीजल 57.28 रुपये प्रति लीटर तथा एलपीजी 414 रुपये प्रति सिलेंडर पर उपलब्ध था. 22 जनवरी 2021 को कच्चे तेल का अंतरराष्ट्रीय भाव 55.52 अमेरिकी डॉलर प्रति बैरल रहा, परंतु दिल्ली में पेट्रोल के दाम आज तक के सबसे ज्यादा रिकार्ड 85.70 रुपये, डीजल के दाम 75.88 रुपये और रसोई गैस का घरेलू सिलेंडर 694 रुपये हो गया है.
एक्साइज़ शुल्क से लगभग 19 लाख करोड़ रुपया कमाया
उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार द्वारा पिछले 6 सालों में पेट्रोल पर एक्साइज़ शुल्क में 23.78 रुपये प्रति लीटर एवं डीजल पर 28.37 रुपये प्रति लीटर की अतिरिक्त बढ़ोत्तरी की गई है. पेट्रोल पर एक्साइज़ शुल्क में 258 प्रतिशत वृद्धि तथा डीज़ल के एक्साइज़ शुल्क में 820 प्रतिशत की वृद्धि हुई, जिससे इन 6 सालों में केंद्र सरकार ने पेट्रोल एवं डीज़ल पर एक्साइज़ शुल्क से लगभग 20 लाख करोड़ यानी 200 खरब रुपया कमाया है.
एलपीजी गैस सब्सिडी लगभग ख़त्म कर दी
अजय माकन ने कहा कि मोदी सरकार ने तो एलपीजी गैस सिलेंडरों के दाम बढ़ाकर और सब्सिडी घटाकर महिलाओं का रसोई बजट भी बिगाड़ दिया है. कांग्रेस सरकार में जहां बिना सब्सिडी का गैस सिलेंडर 414 रुपये में उपलब्ध था, आज दिल्ली में यह सिलेंडर 694 रुपये में मिल रहा है और सब्सिडी लगभग ख़त्म कर दी है.
उन्होंने कहा कि बढ़ाया गया पेट्रोल एवं डीजल पर एक्साइज़ शुल्क वापस करें, 61.92 रुपये और 47.51 रुपये हो सकता है. आज मोदी सरकार अपने द्वारा बढ़ाए गए पेट्रोल एवं डीजल पर एक्साइज़ शुल्क में 23.78 रुपये प्रति लीटर और 28.37 रुपये प्रति लीटर वापस कर ले तो पेट्रोल एवं डीजल 85.70 रुपये और 75.88 रुपये की बजाय 61.92 रुपये और 47.51 रुपये हो सकता है.
मूल प्रश्न- 20 लाख करोड़ गए कहां?
माकन ने कहा कि सरकार द्वारा कमाए यह 20 लाख करोड़ गए कहां? आज सेना के जवान एवं सरकारी कर्मचारियों के DA में कटौती हो रही है. आज छोटा कारोबारी पिस रहा है, किसान आत्महत्या पर मजबूर हैं, बेरोजगारी चरम सीमा पर है, परंतु अपने मित्र पूंजीपतियों को फायदा पहुंचाने हेतु जनता की जेबों पर डाका डाला जा रहा है.
उन्होंने कहा कि जय श्रीराम के नारे पर किसी को कोई आपत्ति नहीं होनी चाहिए लेकिन जिस तरह से ममता बनर्जी के बोलने के समय कुछ लोगों ने उनको हूट करने की कोशिश की, पीएम को हस्तक्षेप करना चाहिए था.
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