केंद्रीय मंत्री जयराम रमेश ने आज बेहद ही रूखा बयान देते हुए कहा कि कांग्रेस के शीर्ष नेता और पार्टी यूपीए के शासनकाल को भ्रष्ट के तौर पर पेश करने के बीजेपी के प्रचार अभियान का आक्रामक तरीके से जवाब देने में अक्षम रही।
रमेश ने स्वीकार किया कि 10 साल तक सत्ता में रहने के बाद कांग्रेस को सत्ता विरोधी लहर से मुकाबला करना है। रमेश ने कहा, 'हम राजनीतिक संवाद कायम करने में सफल नहीं रहे। राजनीतिक संवाद आखिरी समय में नहीं होता। आपको लंबे समय तक राजनीतिक संवाद करना होता है। मेरा मानना है कि कांग्रेस को इससे चोट पहुंची है।'
भ्रष्टाचार के मुद्दों पर सरकार के खिलाफ विपक्ष के हमलों पर उन्होंने माना कि 2 जी, राष्ट्रमंडल खेल और अन्य घोटालों ने निश्चित तौर पर कांग्रेस की संभावनाओं को चोट पहुंचाया है।
रमेश ने कहा, 'मेरा हमेशा से मानना है कि राजनीति की बुनियाद में से एक है संवाद और बेहद शीर्ष स्तर से संवाद ----अकेले ‘शेरपाओं’ द्वारा। इसलिए, राजनैतिक संवाद काफी अहम है, लेकिन दुर्भाग्य से हममें इसका अभाव रहा।' उन्होंने कहा, 'कैग और बेहद सक्रिय न्यायपालिका के कारण भाजपा ने बेहद आक्रामक अभियान चलाया और समाज भी उसके समर्थन में कूद गया और मेरा मानना है कि उस अवधि में हमने (कांग्रेस) उस तरह की आक्रामकता नहीं दिखाई जैसा हमें दिखाना चाहिए था।'
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