India | Reported by: शरद शर्मा |गुरुवार मई 26, 2022 02:03 PM IST अखबार ने एक कोच के हवाले से लिखा, 'हम पहले दूधिया रोशनी में रात करीब आठ से साढ़े 8 बजे तक ट्रेनिंग करते थे लेकिन अब हमें शाम सात बजे मैदान छोड़ने को कहा जाता है ताकि ऑफिसर अपने कुत्ते को घुमा सकें, इससे हमारी ट्रेनिंग-प्रैक्टिस बाधित हो रही है.'