
Parenting Tips: माता-पिता के लिए दुनिया की सबसे मधुर धुन बच्चे की हंसी होती है. बच्चा खिलखिलाकर हंस देता है तो माता-पिता के चेहरे पर भी मुस्कुराहट आ जाती है. इसी हंसी-ठिठोली के लिए पैरेंट्स अक्सर ही छोटे बच्चे को गुदगुदी (Tickling) करने लगते हैं. लेकिन, क्या बच्चे को गुदगुदी करनी चाहिए? इस गुदगुदी का बच्चे पर या उसकी सेहत पर क्या प्रभाव पड़ता है यह बता रहे हैं डॉक्टर मानव वोरा. डॉक्टर ने बताया कि बच्चे को गुदगुदी की जाती है तो इससे बच्चे की सेहत किस-किस तरह से प्रभावित होती है. आप भी जानिए इस बारे में.
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बच्चे को गुदगुदी करनी चाहिए या नहीं | Is It Okay To Tickle A Baby
डॉक्टर का कहना है कि जब आप एक छोटे बच्चे को गुदगुदी करते हो तो शायद बच्चा हंसने लगता है, लेकिन यह हंसी हमेशा खुशी के चलते नहीं होती है. यह बस एक रिफ्लेक्स होता है. अंदर से बच्चे का शरीर डरा हुआ हो सकता है.
छोटे बच्चे को गुदगुदी की जाए तो एक सेकंड के लिए उसकी सांस रुक सकती है, दिल तेजी से धड़कने लगता है, मसल्स टाइट हो जाती हैं, स्ट्रेस हार्मोन बढ़ जाता है, दिमाग मस्ती और पैनिक के बीच कंफ्यूज हो जाता है. ऐसे में चाहे बच्चा गुदगुदी (Gudgudi) किए जाने पर हंस ही क्यों ना रहा हो, इसका मतलब यह नहीं है कि उसे मजा आ रहा है. इसीलिए डॉक्टर का कहना है कि अगर आप बच्चे को गुदगुदी कर भी रहे हैं तो बेहद प्यार से करें, ज्यादा देर तक ना करें और बच्चा किसी भी तरह का डिस्कम्फर्ट दिखाए तो तुरंत रुक जाएं.
ये दिक्कतें भी हो सकती हैं
- अगर बड़े बच्चे को गुदगुदी की जाए तो उसके लिए यह एक ट्रॉमेटिक एक्सपीरियंस भी हो सकता है.
- गुदगुदी बच्चे के लिए शर्मिंदगी की वजह बन सकती है. बहुत से बच्चों को इससे खासा परेशानी महसूस होती है.
- बच्चे में ट्रस्ट इशूज (Trust Issues) आने लगते हैं. इससे बच्चे की पर्सनैलिटी पर भी असर पड़ता है.
- कई बार बच्चे गुदगुदी के कारण रोने भी लगते हैं.
- जोर से गुदगुदी की जाए तो बच्चे की सेंसिटिव स्किन को नुकसान हो सकता है.