
UP Board Class 10th and 12th Result 2025: यूपी बोर्ड 10वीं और 12वीं की परीक्षाएं 12 मार्च को खत्म हो चुकी हैं और प्रदेश के 54 लाख से अधिक छात्रों को अब अपने बोर्ड रिजल्ट 2025 का इंतजार है. पास्ट ट्रेंड के हिसाब से यूपी बोर्ड 10वीं और 12वीं का रिजल्ट अप्रैल में घोषित किया जाएगा.बोर्ड जल्द ही यूपी बोर्ड हाईस्कूल और इंटरमीडिएट रिजल्ट की डेट और टाइम जारी करेगा. आपको बता दें कि यूपी बोर्ड कक्षा 10वीं, 12वीं परीक्षा 2025 में पास होने के लिए छात्रों को प्रत्येक विषय में न्यूनतम 33% अंक हासिल करने होंगे. यह अंक थ्योरी और प्रैक्टिकल दोनों परीक्षाओं के लिए अलग-अलग तय किए गए हैं. थ्योरी परीक्षा में पास होने के लिए छात्रों को 70 में से कम से कम 23 अंक, जबकि प्रैक्टिकल परीक्षा में पास होने के लिए 30 अंक में 10 अंक लाने होंगे. हालांकि जिन छात्रों को उम्मीद से कम अंक मिलेंगे, उन्हें यह जान लेना चाहिए कि कम अंक आने का मतलब यह नहीं है कि आपके शैक्षणिक या करियर के अवसर खत्म हो गए हैं.
यूपी बोर्ड यानी उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षा परिषद (UPMSP) छात्रों को अपने स्कोर को बेहतर बनाने या पढ़ाई जारी रखने के लिए कई ऑप्शन देता है. इनमें स्क्रूटनी या री-इवैएल्यूएशन, कंपार्टमेंट परीक्षा, ग्रेस मार्क्स प्रोविजन, रीअप्रियर इन नेक्सट एग्जाम साइकल आदि शामिल हैं. आइये इन ऑप्शन को डिटेल में समझते हैं-
स्क्रूटनी या पुनर्मूल्यांकन के लिए आवेदन करें (Scrutiny Or Re-evaluation)
यदि किसी छात्र को लगता है कि उसे किसी विषय में अपेक्षा से कम अंक मिले हैं, या उसे मूल्यांकन में कोई त्रुटि है, तो वह स्क्रूटनी के लिए आवेदन कर सकता है. इस प्रक्रिया में, उत्तर पुस्तिका यानी आंसर शीट की दोबारा जांच की जाती है ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि कोई उत्तर बिना जांचे नहीं छोड़ा गया है, अंकों का सही योग किया गया है, और मूल्यांकन निष्पक्ष था. बोर्ड आमतौर पर स्क्रूटनी के लिए प्रति विषय लगभग 500 रुपये लेता है. बोर्ड द्वारा रिजल्ट जारी होने के कुछ दिनों बाद स्क्रूटनी या पुनर्मूल्यांकन के लिए आवेदन प्रक्रिया शुरू की जाती है.
MP Board Result 2025: एमपी बोर्ड 10वीं को लेकर जानें क्या है अपडेट, कहां तक पहुंचा रिजल्ट का काम
कंपार्टमेंट परीक्षा (Compartment Exam)
जो छात्र यूपी बोर्ड 10वीं या 12वीं की बोर्ड परीक्षा के एक या दो विषयों में फेल होते हैं, वे कम्पार्टमेंट परीक्षा में बैठ सकते हैं. बोर्ड द्वारा कंपार्टमेंट परीक्षा रिजल्ट जारी होने के कुछ महीने बाद आयोजित की जाती है. छात्र केवल उन्हीं विषयों में फिर से उपस्थित हो सकते हैं, जिनमें वे फेल हुए थे. यदि वे कंपार्टमेंट परीक्षा पास कर लेते हैं, तो उन्हें उसी शैक्षणिक वर्ष के लिए पास माना जाता है. इससे छात्रों को एक वर्ष की बचत होती है और वे बिना किसी देरी के अपनी पढ़ाई जारी रख सकते हैं.
ग्रेस मार्क्स प्रावधान (Grace Marks Provision)
यूपी बोर्ड उन छात्रों को ग्रेस मार्क्स दे सकता है, जो पास होने से कुछ ही अंकों से चूक जाते हैं. उदाहरण के लिए, यदि पास होने के लिए 33 अंक चाहिए और छात्र को 31 या 32 अंक मिलते हैं, तो बोर्ड उन्हें पास होने में मदद करने के लिए अतिरिक्त अंक दे सकता है. यह बोर्ड के नियमों और नीतियों के अनुसार सीमा रेखा वाले मामलों का समर्थन करने के लिए किया जाता है.
अगले साल की परीक्षा (Reappear In Next Exam Cycle)
यूपी बोर्ड 10वीं या 12वीं का कोई छात्र कई विषयों में फेल हो गया है या अपने रिजल्ट से संतुष्ट नहीं है, तो वह अगले शैक्षणिक सत्र में फिर से उपस्थित हो सकता है. इसे सुधार या री एग्जाम के रूप में भी जाना जाता है. यह छात्रों को फिर से तैयारी करने और उच्च अंक प्राप्त करने का अवसर प्रदान करता है.
फरवरी से मार्च तक चली थी बोर्ड परीक्षा
इस साल, यूपी बोर्ड ने 24 फरवरी से 12 मार्च, 2025 के बीच हाईस्कूल और इंटरमीडिएट की परीक्षाएं आयोजित की थीं. इस साल यूपी बोर्ड 10वीं और 12वीं बोर्ड परीक्षा में लगभग 55 लाख छात्र शामिल हुए. बोर्ड द्वारा परीक्षा का आयोजन प्रदेश के 75 जिलों में 8,140 केंद्रों पर किया गया.
NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं