Final Year Exams 2020: कोरोनावायरस काल में यूनिवर्सिटी और कॉलेजों के अंतिम वर्ष के छात्रों की परीक्षाएं आयोजित कराना एक बड़ा मसला बना हुआ है. सितंबर के अंत तक देश भर के विश्वविद्यालयों में फाइनल ईयर परीक्षा (Final Year Exams) करवाने वाले यूजीसी (UGC) के निर्णय को चुनौती देने वाली याचिका पर सुप्रीम कोर्ट में आज एक बार फिर से सुनवाई होने वाली है. उम्मीद की जा रही है कि आज इस मसले पर सुप्रीम कोर्ट अपना कोई अहम निर्णय दे सकता है. देशभर के तमाम अंतिम वर्ष के स्टूडेंट्स की निगाहें इसी बात पर टिकी हैं कि आखिरी सुप्रीम कोर्ट परीक्षाओं को लेकर क्या निर्णय लेता है.
वहीं, फाइनल ईयर की परीक्षाओं के लिए हुई पिछली सुनवाई में सुप्नीम कोर्ट ने केंद्र से कहा था कि गृह मंत्रालय को इस विषय पर अपना रूख साफ करना चाहिए. इसके साथ ही पीठ ने इस मामले को 10 अगस्त के लिये सूचीबद्ध कर दिया था. आज इस मसले पर सुप्रीम कोर्ट में एक बार फिर सुनवाई होगी.
वहीं, पिछली सुनवाई में केंद्र और यूजीसी की ओर से सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने पीठ को सूचित किया था कि गृह मंत्रालय के दृष्टिकोण से वह न्यायालय को अवगत करायेंगे. मेहता ने यह भी कहा था कि वे अंतिम वर्ष की परीक्षाओं को लेकर चिंतित हैं, क्योंकि देश में 800 से ज्यादा विश्वविद्यालयों में से 209 ने परीक्षा प्रक्रिया पूरी कर ली हैं. उन्होंने कहा था कि इस समय करीब 390 विश्वविद्यालय अंतिम वर्ष की परीक्षायें आयोजित करने की तैयारी कर रहे हैं.
इसके अलावा तुषार मेहता ने कहा था, ‘‘किसी को भी इस गफलत में नहीं रहना चाहिए कि चूंकि यह न्यायालय इस मामले पर विचार कर रहा है तो इस पर रोक लगा दी जायेगी. छात्रों को अपनी पढ़ाई जारी रखनी चाहिए.''
बता दें कि सुप्रीम कोर्ट में दायर याचिकाओं में कोरोना को लेकर छात्रों के स्वास्थ्य के मद्देनजर परीक्षा आयोजित न करने की अपील की गई है. युवा सेना की तरफ से कहा गया है कि देश में कोरोना के कारण स्थिति बिगड़ रही है और यह परीक्षा आयोजित करने के लिए अनुकूल नहीं है. इसके साथ ही याचिकाओं में 6 जुलाई को जारी किए गए यूजीसी के दिशा निर्देशों को रद्द करने के लिए सुप्रीम कोर्ट से निर्देश जारी करने की मांग की गई है. 6 जुलाई को जारी हुए यूजीसी ( UGC)) के दिशानिर्देशों में सभी विश्वविद्यालयों और कॉलेजों को 30 सितंबर तक अंतिम वर्ष की परीक्षाएं आयोजित करने का निर्देश दिया गया था.
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