'भारत में विदेशी निवेश'

- 123 न्यूज़ रिजल्ट्स
  • India | Edited by: पवन पांडे |सोमवार अप्रैल 20, 2020 04:50 PM IST
    FDI Rules: चीन ने की भारत के नए प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (FDI) नियमों की आलोचना की. चीन ने सोमवार को कहा कि ये विश्व व्यापार संगठन (WTO)के सिद्धांतों के विरूद्ध है और मुक्त एवं निष्पक्ष व्यापार के खिलाफ है.
  • India | Reported by: भाषा |रविवार जनवरी 19, 2020 11:19 PM IST
    जेएलएल इंडिया के मुख्य कार्यकारी अधिकारी और भारत में प्रमुख रमेश नायर ने कहा, ''भारत के तेजी से बढ़ते शहरों के प्रति विदेशी निवेशक खासी रुचि दिखा रहे हैं. बुनियादी ढांचे और नीति के मोर्चे पर सरकार की ओर से किए गए सुधारों का असर दिख रहा है. अर्थव्यवस्था में सुस्ती के बावजूद इन सुधारों की वजह से बाजार में पारदर्शिता आई है, जिससे रियल एस्टेट क्षेत्र में निवेश बढ़ेगा.'' 
  • Blogs | रवीश कुमार |गुरुवार सितम्बर 19, 2019 04:55 PM IST
    2014 में नरेंद्र मोदी के प्रधानमंत्री बनते ही विदेशी निवेशकों ने भरोसा दिखाना शुरू कर दिया था, जिसके कारण भारत में 45 अरब डॉलर का विदेशी निवेश आया. अब वह भरोसा डगमगाता नज़र आ रहा है. जून महीने के बाद से निवेशकों ने 4.5 अरब डॉलर भारतीय बाज़ार से निकाल लिए हैं. 
  • India | Reported by: हिमांशु शेखर मिश्र |मंगलवार सितम्बर 17, 2019 12:10 AM IST
    अमेरिका और चीन के बीच ट्रेड वार का सबसे ज़्यादा असर इलेक्ट्रॉनिक्स व्यापार पर पड़ रहा है. चीन में जैसे जैसे इलेक्ट्रॉनिक इक्विपमेन्ट्स की मैन्यूफैक्चरिंग करना महंगा हो रहा है. वहां सक्रीय कंपनियां अब नया बाज़ार तलाश रही हैं. इस माहौल में सरकार ने भारत को इलेक्ट्रॉनिक्स के क्षेत्र में ग्लोबल मैन्यूफैक्चरिंग हब बनाने की कवायद शुरू कर दी है.
  • Blogs | विराग गुप्ता |शनिवार अगस्त 31, 2019 06:53 PM IST
    कई साल पहले दिल्ली में अनेक शॉपिंग मॉल तो बन गए, पर उनमें दुकानदारों और ग्राहकों की भारी कमी थी. मॉल के बिल्डरों की शक्तिशाली लॉबी ने राजनेताओं और जजों के बच्चों को अपना पार्टनर बना लिया. उसके बाद अदालती फैसले के नाम पर दिल्ली में सीलिंग का सिलसिला शुरू हो गया. तीर निशाने पर लगा और मॉल्स में दुकानदार और ग्राहक दोनों आ गए. अब वक्त बदल गया है. देश के असंगठित क्षेत्र और छोटे उद्योगों के सामने डिजिटल कंपनियों की पावरफुल लॉबी है.
  • Blogs | रवीश कुमार |शनिवार अगस्त 31, 2019 12:48 AM IST
    सड़क पर बेरोज़गारों की फौज पुकार रही है कि काम नहीं है, दुकानदारों की फौज कह रही है कि मांग रही है और उद्योग जगत की फौज पुकार रही है कि न पूंजी है, न मांग है और न काम है. नेशनल स्टैस्टिकल ऑफिस के आंकड़ों ने बता दिया कि स्थिति बेहद ख़राब है. छह साल में भारत की जीडीपी इतना नीचे नहीं आई थी. तिमाही के हिसाब से 25 तिमाही में यह सबसे ख़राब रिपोर्ट है.
  • India | Reported by: हिमांशु शेखर मिश्र |गुरुवार अगस्त 29, 2019 02:58 AM IST
    कैबिनेट ने एक अहम फैसले में सिंगल ब्रांड रिटेल के साथ-साथ कोल माइनिंग, कॉन्ट्रैक्ट मैन्युफैक्चरिंग और डिजिटल मीडिया में एफडीआई के नियमों को सरल बनाने के प्रस्ताव को मंज़ूरी दे दी है.
  • India | Reported by: हिमांशु शेखर मिश्र, Edited by: सूर्यकांत पाठक |बुधवार अगस्त 28, 2019 07:57 PM IST
    केंद्र सरकार कोल माइनिंग और उसके सेल के लिए 100 फीसदी एफडीआई को अनुमति देगी. साथ ही उससे जुड़े कामों, जैसे कोयला की ढुलाई आदि में भी 100 फीसदी की एफडीआई को इजाजत दे दी जाएगी. मोदी सरकार की कैबिनेट की बुधवार को हुई बैठक के बाद यह जानकारी रेल और वाणिज्य मंत्री पीयूष गोयल (Piyush Goyal) ने दी. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट बैठक (Cabinet Meeting) के बाद प्रेस कॉन्फ्रेंस में पीयूष गोयल ने कहा कि सबसे पहला बदलाव करते हुए कॉन्ट्रैक्ट मैन्यूफैक्चरिंग में 100 फीसदी एफडीआई की मंजूरी दी गई है. अब बाहर के लोग भारत में आकर अपना सामान बनवा सकते हैं. उन्होंने कहा कि कैबिनेट ने डिजिटल मीडिया में सरकार की स्वीकृति के साथ 26 फीसदी एफडीआई मंजूर की है. उन्होंने बताया कि मंत्रिमंडल ने सिंगल ब्रांड रिटेल सेक्टर में 30 प्रतिशत लोकल सोर्सिंग के नियमों को सरल करने का फैसला किया है.
  • India | ख़बर न्यूज़ डेस्क |शुक्रवार जुलाई 5, 2019 01:52 PM IST
    'गांव, गरीब और किसान' तथा प्रत्येक नागरिक के जीवन को ‘‘अधिक सरल’’ बनाने के लक्ष्य के साथ पेश किए गये नरेन्द्र मोदी सरकार के दूसरे कार्यकाल के पहले आम बजट में अर्थव्यवस्था को गति देने के लिए मीडिया, विमानन, बीमा और एकल ब्रांड खुदरा क्षेत्र में प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (एफडीआई) के नियमों को उदार करने का प्रस्ताव किया गया है. बजट में बुनियादी आर्थिक और सामाजिक ढांच के विस्तार, पेंशन और वीमा योजाओं को आम लोगों की पहुंच के दायरे में ले जाने के विभिन्न प्रस्ताव किए गए है. वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण द्वारा शुक्रवार को लोकसभा में पेश किए गए वित्त वर्ष 2019-20 के अपने बजट भाषण में कहा कि हालिया चुनाव में एक आकर्षक और मजबूत भारत की उम्मीदें लहरा रही थीं और लोगों ने एक ऐसी सरकार को चुना जिसने काम कर के दिखाया. उन्होंने कहा कि राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) ने अपने पहले कार्यकाल में ‘न्यू इंडिया’ के लिए काम शुरू कर दिया था. अब इन कार्यों की रफ्तार बढ़ाई जाएगी और आगे चलकर लालफीताशाही को और कम किया जाएगा. उन्होंने कहा कि मोदी सरकार ने पहले कार्यकाल में काम को पूरा कर के दिखाया. आम चुनाव में मतदाताओं ने काम करने वाली सरकार के पक्ष में मत दिया.
  • India | ख़बर न्यूज़ डेस्क |शनिवार नवम्बर 17, 2018 07:57 AM IST
    जानकारों के अनुसार अगर ऐसा होता है तो यह जहां एक तरफ आरबीआई (RBI) और केंद्र सरकार के बीच तनातनी को और बढ़ाएगा वहीं भारत जैसी तेजी से बढ़ती अर्थव्यवस्था में निवेशकों के विश्वास को भी कम कर सकता है. केंद्र सरकार (Central Government)  ने सिफारिश की है कि आरबीआई बोर्ड के मसौदे के नियम वित्तीय स्थिरता, मौद्रिक नीति संचरण और विदेशी मुद्रा प्रबंधन सहित अन्य कार्यों की निगरानी के लिए पैनल स्थापित करने में सक्षम हैं.
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